किसानों को मालामाल कर रही सड़ी-गली लकड़ी में उगने वाली गैनोडर्मा मशरूम, इसकी खेती से आप भी कर सकते हैं मोटी कमाई

उत्तराखंड में कई किसानों ने गैनोडर्मा मशरूम की खेती कर अच्छा मुनाफा कमाया. यह किसानों के लिए आय का एक बड़ा साधन बन रहा है. साथ ही गैनोडर्मा ल्यूसिडम प्रजाति में काफी औषधीय गुण हैं.

गैनोडर्मा मशरूम
तनुजा जोशी
  • नई दिल्ली,
  • 14 मई 2022,
  • अपडेटेड 9:02 AM IST
  • गैनोडर्मा ल्यूसिडम प्रजाति में काफी औषधीय गुण हैं
  • गैनोडर्मा मशरूम की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा रहे किसान

बेहद कम लोग ही गैनोडर्मा मशरूम की खेती के बारे में जानते हैं. गैनोडर्मा मशरूम कई औषधीय गुणों से भरपूर होता है. पहाड़ी इलाकों में इसकी सबसे ज्यादा खेती की जाती है, क्योंकि इसके लिए तापमान 25 से 30 डीगरी होना चाहिए. उत्तराखंड और हिमाचल में गैनोडर्मा मशरूम किसानों की आय का एक बड़ी साधन बना है. इससे किसानों की आय के साथ ही आस-पास के लोगों में भी कृषि क्षेत्र में रुची बढ़ी. 

मशरूम की गैनोडर्मा ल्यूसिडम प्रजाति में काफी औषधीय गुण हैं. यह जंगलों में प्राकृतिक रूप से लकड़ियों पर उगता है. यही कारण है कि उत्तराखंड में इसे निजी कंपनियों तक पहुंचाने के लिए चेन भी तैयारी की जा रही है. यहां इसका इस्तेमाल दवाइयां बनाने में किया जाता है. 

कृषि की तरफ आर्कषित हो रहे लोग 

GNT Digital ने कृषि विज्ञान केंद्र पिथौरागढ़ के विशेषज्ञ डॉ. अलंकार सिंह से इस बारे में बात की. अलंकार बताते हैं कि गैनोडर्मा मशरूम से कई किसान कृषि की तरफ आर्कषित हुए हैं. इससे लोगों को नए अवसर भी मिले हैं. इसके अलावा उत्तराखंड में इस समय जैविक खेती को लेकर भी लोगों को जागरूक किया जा रहा है. कई लोग कृषि की तरफ बढ़ रहे हैं और इसी में अपना करियर बना रहे हैं. 

अनिल 9000 हजार लोगों को दे चुके हैं ट्रेनिंग 

नैनीताल जिले के हल्द्वानी शहर में रहने वाले अनिल पांड ने बताया कि अब पहाड़ के लोग भी खेती की तरह बढ़ने लगे हैं. उनकी पहचान में भी कई लोग ऐसे हैं, जिन्होंने गैनोडर्मा मशरूम की खेती की और अच्छा मुनाफा कमाया. अनिल पिछले 18 सालों से ऑर्गेनिक खेती कर रहे हैं और हजारों किसानों को जैविक खेती के लिए जागरूक भी कर चुके हैं.

अनिल अपनी मेहनत से कृषि के क्षेत्र में विश्व में अपनी अलग पहचान बना चुके हैं. वह प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना के तहत नैनीताल जनपद के किसानों को जैविक खेती की ट्रेनिंग भी दे रहे हैं. इसके अलावा वह कई एनजीओ के अलावा लगभग 600 कार्यशाला का भी आयोजन कर चुके हैं. 

90 वर्ग मीटर भूमि पर उगने वाला गैनोडर्मा मशरूम करीब तीन लाख 30 हजार रुपये प्रतिवर्ष की आय दे सकता है. इसकी खेती कर लाखों किसान अच्छी खासी आमदनी कमा सकते हैं. उत्तराखंड में कई ऐसे किसान हैं, जिन्होंने लॉकडाउन के दौरान खेती का काम शुरू किया और आज वह एक सफल कृषि के तौर पर काम कर रहे हैं. 

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