वित्त वर्ष 23 की पहली तिमाही मतलब 30 जून 2022 तक के 3 महीनों में भारत का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) 13.5% रहा. लेकिन ये आरबीआई के 16.2 फीसदी के अनुमान से कम है. वित्त वर्ष 2022 में भारत की जीडीपी वृद्धि 20.1% थी. राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, भारत की अर्थव्यवस्था ने अप्रैल-जून तिमाही में एक साल में सबसे तेज वार्षिक वृद्धि दर्ज की है.
आइए समझते हैं जीडीपी क्या होती है और इसका आकलन किस आधार पर किया जाता है.
जीडीपी क्या होती है
किसी देश की सीमा में एक निर्धारित समय के भीतर तैयार सभी वस्तुओं और सेवाओं के कुल मौद्रिक या बाजार मूल्य को सकल घरेलू उत्पाद (GDP) कहते हैं. आसान भाषा में समझें तो देश की सीमा के अंतर्गत आपने कितना उत्पादन किया इसे जीडीपी या सकल घरेलू उत्पाद कहा जाता है. जीडीपी निकालते हुए सीमा का ध्यान रखा जाता है. जीडीपी किसी वस्तु के अंतिम मूल्य पर निर्धारित किया जाता है. अंतिम मूल्य यानी आपके द्वारा खरीदी हुई किसी के लिए चुकाए हुए रुपये. जीडीपी हमारी अर्थव्यवस्था की समग्र गतिविधियों के स्तर को दिखाता है और इससे यह पता चलता है कि किन सेक्टरों की वजह से इसमें तेजी या गिरावट आई है. यह हमें यह भी बताता है कि दुनिया भर की अन्य अर्थव्यवस्थाओं के मुकाबले अमेरिका कैसा प्रदर्शन कर रहा है.
जीडीपी का आकलन किस आधार पर?
सेंट्रल स्टैटिस्टिक्स ऑफिस (CSO) साल में चार बार जीडीपी का आकलन करता है. पूरे देश से आंकड़े इकट्ठा करता है और उनकी कैलकुलेशन कर जीडीपी का आंकड़ा जारी करता है. जीडीपी को अक्सर प्रतिशत के रूप में रिपोर्ट किया जाता है. रिपोर्ट की गई दरें आम तौर पर "वास्तविक जीडीपी" पर आधारित होती हैं, वास्तविक जीडीपी को ही हम आमतौर पर अर्थव्यवस्था की ग्रोथ के तौर पर मानते हैं.
देश की जीडीपी ग्रोथ में तेजी से क्या कुछ बदलेगा
जीडीपी से हमें पता चलता है कि हमारे देश में किसी चीज का उत्पादन कितना हो रहा है. अगर जीडीपी ज्यादा होगी तो इसका अर्थ है देश में उत्पादन ज्यादा हो रहा है. अगर उत्पादन ज्यादा होगा तो लोगों को रोजगार मिलेगा, और सरकार को इससे टैक्स मिलेगा. जब देश अर्थव्यवस्था अच्छा प्रदर्शन करेगी, तो विदेशी कारोबारी ज्यादा पैसा निवेश करेंगे. जीडीपी का सीधा संबंध देश की अर्थव्यवस्था से है. अगर देश जीडीपी बढ़ रही है, तो इसका मतलब यह है कि देश आर्थिक गतिविधियों के संदर्भ में अच्छा काम कर रहा है. भारत के लिए साल दर साल अधिक जीडीपी ग्रोथ हासिल करना जरूरी है.