Muzaffarpur Lok Sabha Seat: कांग्रेस के गढ़ में George Fernandes ने लगाई थी सेंध, पिछले दो चुनाव से खिल रहा कमल, अब हैट्रिक की तैयारी में BJP

Lok Sabha Election 2024 Muzaffarpur Seat: मुजफ्फरपुर की जनता ने अधिकतर बाहरी उम्मीदवारों पर अपना भरोसा जताया है. यहां से लोकसभा चुनाव में अभी तक 10 बार बाहर के उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की है. इस बार भारतीय जनता पार्टी ने वर्तमान सांसद अजय निषाद का टिकट काटकर डॉ. राजभूषण निषाद को अपना उम्मीदवार बनाया है. 

Muzaffarpur Lok Sabha Seat
मिथिलेश कुमार सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 01 अप्रैल 2024,
  • अपडेटेड 6:09 PM IST
  • पहली बार जेल से जॉर्ज फर्नांडीस ने दर्ज की थी जीत
  • बीजेपी ने अजय निषाद का टिकट काट डॉ.राजभूषण पर जताया है भरोसा

Bihar Politics: लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Election 2024) में जीत दर्जकर दिल्ली की कुर्सी पर कब्जा जमाने के लिए सभी पार्टियों में जंग शुरू हो चुकी है. एनडीए (NDA) हो इंडिया (INDIA) गठबंधन दोनों दलों के नेता दावों-वादों के हथियारों के साथ चुनावी दंगल में कूद चुके हैं. देश में हर तरफ चुनाव को लेकर चर्चा हो रही है. आज हम आपको बिहार की हॉट सीटों में से एक मुजफ्फरपुर का सियासी इतिहास और समीकरण बताने जा रहे हैं. यहां इस बार 5वें चरण में 20 मई को मतदान होना है. 

बीजेपी ने इस बार इन पर जताया है भरोसा
मुजफ्फरपुर की जनता ने अधिकतर बाहरी उम्मीदवारों पर अपना भरोसा जताया है. यहां से अभी तक 10 बार बाहर के उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की है. मुजफ्फरपुर के निवर्तमान सांसद अजय निषाद और उनके पिता स्व.कैप्टन जय नारायण निषाद मूल रूप से वैशाली जिले के हाजीपुर के रहने वाले हैं.

इस बार भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने अजय निषाद का टिकट काटकर डॉ.राजभूषण निषाद को अपना उम्मीदवार बनाया है. डॉ.राजभूषण निषाद समस्तीपुर से आते हैं. यदि वह मुजफ्फरपुर लोकसभा सीट से चुनाव जीतने में सफल रहे तो वह यहां से विजय पाने वाले 11वें बाहरी व्यक्ति होंगे.

सबसे अधिक बार कांग्रेस को मिली जीत 
अब तक हुए लोकसभा चुनावों में मुजफ्फरपुर सीट से सबसे अधिक बार कांग्रेस को जीत मिली है. इसके बाद जनता दल और जनता दल यूनाइटेड को विजय मिली है. जनता पार्टी और भाजपा को दो-दो बार तो राजद को एक बार सफलता मिली है. मुजफ्फरपुर लोकसभा क्षेत्र कभी कांग्रेस का गढ़ था. उसके किले में सेंध जॉर्ज फर्नाडीस ने लगाई थी.

इमरजेंसी के बाद हुए लोकसभा चुनाव 1977 में जॉर्ज फर्नाडीस ने ने जेल से जनता पार्टी के टिकट पर जीत दर्ज की थी. इस लोकसभा क्षेत्र से सबसे अधित पांच बार जॉर्ज ने प्रतिनिधित्व किया. कैप्टन जयनारायण प्रसाद निषाद को मुजफ्फरपुर की जनता ने तीन बार सांसद बनाकर दिल्ल भेजा. कैप्टन निषाद दो बार राजद और एक बार जदयू के टिकट पर जीते. अभी उनके बेटे अजय निषाद सांसद हैं. मुजफ्फरपुर लोकसभा सीट पर 1952 से 1971 तक कांग्रेस का दबदा रहा.

1977, 1980 में जनता पार्टी की जीत हुई. 1989, 1991, 1996 में जनता दल ने जीत हासिल की. 1998 में आरजेडी की जीत हुई और 1999, 2004, 2009 में जेडीयू जीती. 2009 में जेडीयू के जयनारायण प्रसाद निषाद सांसद बने. लोकसभा चुनाव 2014 और 2019 में बीजेपी उम्मीदवार अजय निषाद को जीत मिली. 

जब हुआ था पहली बार लोकसभा चुनाव 
आजादी के बाद पहली बार हुए लोकसभा चुनाव 1952 में मुजफ्फरपुर लोकसभा नाम से छह सीटें थीं. उस समय श्याम नंदन सहाय मुजफ्फरपुर मध्य, दिग्विजय नारायण सिंह मुजफ्फरपुर उत्तर-पूर्वी, अवधेश्वर प्रसाद सिंह मुजफ्फरपुर पूर्वी, सीएनपी सिंह उत्तर पश्चिमी, राजेश्वर पटेल और रामेश्वर साहू मुजफ्फरपुर सह दरभंगा से सांसद चुने गए थे.

लोकसभा चुनाव 1957 में सीटों का पुनर्गठन हुआ. मुजफ्फरपुर नाम से इकलौती सीट बची. उस समय यहां से कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार श्याम नंदन सहाय ने जीत दर्ज की थी. सहाय के निधन के बाद उपचुनाव हुआ था. इसमें अशोक मेहता ने बाजी मारी थी. 

लोकसभा चुनाव में कब और किसको मिली जीत
1957: श्याम नंदन सहाय, कांग्रेस
1957: अशोक मेहता, प्रजा सोशालिस्ट पार्टी
1962: दिग्विजय नारायण सिंह, कांग्रेस
1967: दिग्विजय नारायण सिंह, कांग्रेस
1971: नवल किशोर सिन्हा, कांग्रेस
1977: जॉर्ज फर्नांडीस, जनता पार्टी
1980: जॉर्ज फर्नांडीस, जनता पार्टी सेक्यूलर
1984: ललितेश्वर प्रसाद शाही, कांग्रेस
1989: जॉर्ज फर्नांडीस, जनता दल
1991: जॉर्ज फर्नांडीस, जनता दल
1996: कैप्टन जयनारायण प्रसाद निषाद, राजद
1998: कैप्टन जयनारायण प्रसाद निषाद, राजद
2004: जॉर्ज फर्नांडीस, जनता दल यू
2009: कैप्टन जयनारायण प्रसाद निषाद, जदयू
2014: अजय निषाद, भाजपा
2019: अजय निषाद, भाजपा

लोकसभा चुनाव 2019 में कैसा रहा जनादेश
लोकसभा चुनाव 2019 में बीजेपी उम्मीदवार अजय निषाद ने विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के उम्मीदवार को हराया था. अजय निषाद को 6,66,878 वोट मिले थे जबकि राज भूषण चौधरी को 2,56,890 मतों से संतोष करना पड़ा था. एआईएफबी के अनिरुद्ध सिंह 2,543 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर रहे थे. 9 हजार से अधिक लोगों ने NOTA का बटन दबाया था. 2019 लोकसभा चुनाव में इस सीट पर 61.71 प्रतिशत मतदान हुआ था.

मोदी लहर में बीजेपी ने खोला था खाता
मोदी लहर के दौरान लोकसभा चुनाव 2014 में मुजफ्फरपुर लोकसभा सीट से बीजेपी का खाता खुला था. इस सीट से बीजेपी के अजय निषाद ने जीत दर्ज की थी. अजय निषाद ने कांग्रेस उम्मीदवार अखिलेश प्रसाद सिंह को 2 लाख से अधिक वोटों से हराया था. अजय निषाद को 4,69,295 वोट जबकि अखिलेश प्रसाद सिंह को 2,46,873 वोट मिले थे. जेडीयू के ब्रजेंद्र चौधरी को मात्र 85,140 वोट मिले थे. 9 हजार से अधिक लोगों ने NOTA का बटन दबाया था. कुल 63.10 प्रतिशत मतदान हुआ था.

क्या है जातीय समीकरण 
मुजफ्फरपुर लोकसभा सीट में बड़ी संख्या में सवर्ण वोटर हैं. यहां सवर्ण मतदाताओं की संख्या साढ़े तीन लाख है. इसके बाद यादव पौने दो लाख, मुस्लिम दो लाख और वैश्य सवा दो लाख हैं. यहां निषाद और अन्य पिछड़े वर्ग के लोगों की भी संख्या अच्छी-खासी है. इस तरह से मुजफ्फरपुर लोकसभा क्षेत्र में मतदाताओं की कुल संख्या 18 लाख 58 हजार 538 है.

इसमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 9 लाख 80 हजार 559 है जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 8 लाख 77 हजार 887 है. यहां 18 से 19 वर्ष के मतदाताओं की संख्या 0.93 फीसदी, 20 से 29 वर्ष के वोटर्स की संख्या 20.02 फीसदी, 30 से 39 वर्ष के मतदाताओं की संख्या 30.20 फीसदी और 80 वर्ष से ऊपर के मतदाताओं की संख्या 1.72 फीसदी है.

इतनी हैं विधानसभा सीटें
मुजफ्फरपुर जिले में कुल 11 विधानसभा क्षेत्र आते हैं. इसमें से पांच विधानसभा को पड़ोसी जिले वैशाली लोकसभा क्षेत्र में रखा गया है, बाकी छह मुजफ्फरपुर में हैं. वर्तमान में छह में से दो विधानसभा में बीजेपी के विधायक हैं.

दो में आरजेडी के विधायक हैं. एक-एक विधायक जेडीयू और कांग्रेस पार्टी से हैं. इसमें गायघाट से राजद), बोचहां से राजद, कुढनी से भाजपा, औराई से भाजपा), सकरा से जदयू, मुजफ्फरपुर से कांग्रेस के विधायक हैं. बोचहां विधानसभा सीट सकरा विधानसभा सीट आरक्षित है. 


 

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