बिहार में महागठबंधन की सरकार बनते ही शपथ लेने के बाद पहली बार कैमूर पहुंचे बिहार सरकार के कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने किसानों के लिए बहुत बड़ा ऐलान किया. उन्होंने बिहार को सूखाग्रस्त घोषित करने और जिन किसानों की खेती नहीं हुई है. उन्हें एक मुस्त मुआवजा देने और जिन की खेती हुई है और पानी के अभाव में फसलें मर रही है. उनके क्षतिपूर्ति का मुआवजा देने की बात कही है.
'अकाल के बीच कार्यभार संभाले हैं'
सुधाकर सिंह ने कहा कि मैं इतिहास के उस दौर में मंत्री पद का शपथ लिया हूं, जब सैकड़ों साल में एक बार अकाल आता है. उस भयानक अकाल में हम कार्यभार बीच दौर में संभाले हैं. कैसे बिहार के किसानों को जिन्होंने खेती में पूंजी लगाया है, वह वापस आ जाए. हम उस चुनौती को स्वीकार करते हैं और जहां परती खेत है पानी के अभाव में खेती नहीं हुई है. वहां आपदा के जरिए किसानों तक राहत का काम करेंगे.
उन्होंने कहा कि यह संपूर्ण मानवता के लिए संकट है. इंसानों के साथ जीव जंतु सबके लिए संकट की स्थिति है. पीने के लिए पानी, पशुओं के लिए चारा के लिए घोर अभाव होने जा रहा है, हमारी खेती को भी बचाना है. इन सारी स्थिति को फॉलो करते हुए हमें आगे बढ़ना है.
खेती नहीं होने पर मिलेगी एकमुश्त राशि
सिंह ने कहा कि हम किसानों को दो स्तर में राहत देने जा रहे हैं. जिनकी खेती नहीं हुई है, उनको हम एकमुश्त पैसा देने जा रहे हैं और जो खेती कर लिए हैं और उनका जो नुकसान हुआ है. उसका हम भरपाई करेंगे. दोनों स्तर पर हम काम करेंगे और तीसरा काम होगा कि अगले फसल के लिए बीज से लेकर खाद तक अलग से मुहैया कराएंगे.
उन्होंने कहा कि अकाल की स्थिति को देखते हुए देश और राज्य स्तर पर हम वैज्ञानिकों को बुलाएंगे कि हम लोगों को सही सलाह दें कि आगे क्या करना चाहिए. उन्होंने कहा कि इस अकाल की स्थिति को देखते हुए सभी वैज्ञानिकों को इसी सप्ताह तुरंत बुलाया जाएगा.
सुधाकर सिंह ने कहा कि मैं किसान हूं, किसान का बेटा हूं. जो इस कुर्सी तक पहुंचा है, स्वभाविक है कि किसानों के पक्ष में फैसला लेंगे. जिस दिन लगेगा कि मैं किसानों के हक में फैसला लेने में असमर्थ हूं उस दिन इस कुर्सी पर नहीं रहूंगा.
(इनपुट- रंजन कुमार त्रिगुण)