आए दिन कई ब्रेस्ट कैंसर के मामले देखने को मिल रहे हैं. जब ब्रेस्ट कैंसर फैलता है, तो यह अक्सर रीढ़ को निशाना बनाता है. अब वैज्ञानिकों ने आखिरकार इसका पता लगा लिया है. न्यूयॉर्क शहर में वेइल कॉर्नेल मेडिसिन के रोगविज्ञानी मैथ्यू ग्रीनब्लाट और उनके सहयोगियों ने इसको लेकर स्टडी की है. उन्होंने एक नए प्रकार की स्टेम सेल खोजी है जो कैंसर सेल्स को रीढ़ की हड्डी तक ले जाती है.
कैसे पहुंचता है कैंसर रीढ़ की हड्डी तक
इन वैज्ञानिकों ने एक नए प्रकार की स्टेम सेल खोजी है जो ब्रेस्ट कैंसर फैलने पर कैंसर सेल को रीढ़ की हड्डियों तक निर्देशित करती हैं. दरअसल, ऐसा अक्सर देखा जाता है कि कैंसर जहां से बनना शुरू होता है उस स्थान से दूर क्यों चला जाता है, और ये खून के माध्यम से आगे बढ़ते हुए फिर रीढ़ की हड्डी में सेटल हो जाता है. बस स्टडी अब इसी को समझने में मदद करेगी कि आखिर ऐसा क्यों होता है.
70% लोगों को होता है ऐसा अनुभव
जब ब्रेस्ट कैंसर फैलता है, तो इस कैंसर से पीड़ित लगभग 70% लोगों को बाद में हड्डी के कैंसर का अनुभव होता है, और ये कैंसर सेल्स आमतौर पर vertebrae (रीढ़ की हड्डी में हड्डियों) को टारगेट करती हैं. जब रीढ़ की हड्डी में कैंसर के ट्यूमर बढ़ते हैं, तो वे रीढ़ की हड्डी पर दबाव डाल सकते हैं, जो शरीर की सेंसेशन और मूवमेंट को प्रभावित करता है. इससे लोगों को चलना, मूत्राशय और आंतों पर नियंत्रण करना मुश्किल हो सकता है.
अभी तक नहीं जानते थे इसका कारण
हालांकि, वैज्ञानिक लंबे समय से जानते हैं कि कुछ कैंसर रीढ़ की हड्डी तक जाते हैं, लेकिन वे इसका कारण नहीं जाते थे. लेकिन अब जो इसका कारण समझ आया है वह है स्टेम सेल्स. वैज्ञानिकों ने इस स्टडी में पाया कि रीढ़ की हड्डी की हड्डियों में मौजूद स्टेम सेल हाथ और पैर जैसी दूसरी हड्डियों की सेल से अलग होती हैं. ये स्टेम सेल जीन को एक्टिव कर देती हैं जिससे शरीर काफी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है. इस खोज से पता चला कि स्पाइनल स्टेम सेल कैंसर सहित रीढ़ की बीमारियों में भूमिका निभा सकती हैं.