Covid-19 में हुई कई मौतों की वजह रहा लोगों का शराब पीना, शोध में हुआ खुलासा

वहीं अगर अगले साल की ही बात करें, तो साल 2023 तक कोरोना के कारण अगर लोग शराब पीने में कमी नहीं करते हैं तो इससे 100 अलग मौतें हो सकती हैं, साथ ही 2,800 मामले लीवर फेलियर के सामने आ सकते हैं. एक साल से अधिक समय तक शराब की खपत में लगातार बढ़ोतरी होती है तो मरने वालों की दर 19-35 प्रतिशत तक भी जा सकती है.

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gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 27 दिसंबर 2021,
  • अपडेटेड 6:37 AM IST
  • शराब पीने से जा सकती हैं कई जान
  • लोगों पर पड़ रहा है ‘लॉन्ग टर्म इफ़ेक्ट’

हाल ही में हुए शोध में सामने आया है कि कोविड-19 महामारी में ज्यादातर लोग ऐसे थे जिनकी शराब पीने के कारण मौत हुई. 'हेपेटोलॉजी जर्नल' में पब्लिश हुई इस रिसर्च में शराब के कारण हुई लिवर की बीमारी और उससे हुई मौतों की संख्या का अनुमान लगाया है. मैसाचुसेट्स जनरल अस्पताल में रिसर्च कर रही इस टीम ने अमेरिकी वयस्कों के एक राष्ट्रीय सर्वेक्षण के डेटा का उपयोग उनकी पीने की आदतों पर किया. इस रिसर्च में पाया गया कि  ज्यादा शराब पीने से कोरोना महामारी में मरने वालों की संख्या में 21 प्रतिशत की वृद्धि हुई.
 
शराब पीने से जा सकती हैं कई जान
 
वैज्ञानिकों ने सभी अमेरिकी वयस्कों में शराब पीने की आदत और उनके हो रही लिवर समस्याओं को देखते हुए ये शोध किया है. उन्होंने अनुमान लगाया है कि अगर कोविड-19 महामारी के दौरान अगले 1 साल में शराब की खपत में वृद्धि होती है तो इससे 8,000 मौतें हो सकती हैं. इसके साथ, साल 2040 तक लिवर फेलियर के 18,700 मामले और 2040 तक लिवर कैंसर के 1,000 मामले सामने आ सकते हैं.
 
वहीं अगर अगले साल की ही बात करें, तो साल 2023 तक कोरोना के कारण अगर लोग शराब पीने में कमी नहीं करते हैं तो इससे 100 अलग मौतें हो सकती हैं, साथ ही 2,800 मामले लीवर फेलियर के सामने आ सकते हैं. एक साल से अधिक समय तक शराब की खपत में लगातार बढ़ोतरी होती है तो मरने वालों की दर 19-35 प्रतिशत तक भी जा सकती है.
 
लोगों पर पड़ रहा है ‘लॉन्ग टर्म इफ़ेक्ट’
 
एमजीएच के इंस्टीट्यूट फॉर टेक्नोलॉजी के एसोसिएट डायरेक्टर, जगप्रीत छतवाल ने इसकी वजह से होने वाले प्रभाव के बारे में बात करते हुए बताया कि यह हमारे शरीर के लिए काफी नुकसानदायक है. उन्होंने कहा, "हमने बिना किसी हस्तक्षेप के कोविड-19 महामारी में हुए लोगों के बदले हुए लाइफस्टाइल पर शोध किया है. हमने इसमें बताया है कि किस तरह से शराब पीने का ऐसे अमेरिका में व्यक्तियों, परिवारों और समुदायों के स्वास्थ्य पर एक लंबा प्रभाव (लॉन्ग टर्म प्रभाव) पड़ रहा है. 
 
जॉर्ज फैमिली फाउंडेशन जॉर्जिया इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में प्रोफेसर टर्गे आयर कहते हैं, “कोविड-19 की वजह से कई पोस्ट इफेक्ट्स भी हैं. इसकी वजह से कई से प्रभाव भी लोगों को हुए हैं जिनके बारे में लोगों को को आईडिया नहीं था. हमारी ये स्टडी कोरोना काल मेंबढ़ती हुई शराब की खपत के लॉन्ग टर्म इफेक्ट्स को मापने और इसे रोकने के लिए बातचीत शुरू करने के लिए एक रूपरेखा प्रदान करती है.”

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