सीरियाई राष्ट्रपति बशर अल-असद की पत्नी और फर्स्ट लेडी अस्मा अल-असद माइलॉयड ल्यूकेमियाकी चपेट में आ गई हैं. अस्मा अल-असद का कुछ समय पहले ब्रैस्ट कैंसर का भी ट्रीटमेंट हुआ था. अब डॉक्टर्स ने उन्हें सेकंड कैंसर से जुड़े प्रोटोकॉल का पालन करने वाली हैं.
साल 2000 में बशर असद से शादी करने वाली अस्मा अल-असद पहले इन्वेस्टमेंट बैंकर थीं. 2018 में, उन्हें ब्रैस्ट कैंसर का पता चला था. एक साल के इलाज के बाद उनकी ये बीमारी पूरी तरह से ठीक हो गई थी. लेकिन अब इस सेकंड कैंसर के पता चलने के बाद उनका सफर और मुश्किल हो गया है.
एक्यूट माइलॉयड ल्यूकेमिया क्या है ?
एक्यूट माइलॉयड ल्यूकेमिया (AML) एक प्रकार का कैंसर है जो खून और बोन मेरो को प्रभावित करता है. इस बीमारी में शरीर में असामान्य मात्रा में वाइट ब्लड सेल्स बनने लगती हैं. ये वाइट ब्लड सेल बोन मेरो में जमा हो जाती हैं और नार्मल ब्लड सेल्स के उत्पादन में बाधा डालती हैं. एएमएल काफो तेजी से बढ़ सकता है. इसके ट्रीटमेंट के रूप में अक्सर कीमोथेरेपी और कभी-कभी बोन मेरो रिप्लेसमेंट किया जाता है.
कैंसर का दोबारा होना काफी चुनौती भरा होता है
कैंसर दोबारा तब हो सकता है जब कुछ कैंसर सेल्स शरीर में कुछ समय के लिए निष्क्रिय रहती हैं और अचानक से एक्टिव हो जाती हैं. इसकी वजह से सेकंड कैंसर होता है. ये ऐसे व्यक्ति में होता है जिसे पहले कैंसर हो चुका है. यह पहले हुए कैंसर से अलग होता है. सेकंड प्राइमरी कैंसर एक ही अंग या शरीर के अलग-अलग हिस्से में हो सकता है.
सेकेंड कैंसर होने की वजह
इसकी कई वजह हो सकती हैं-
-पिछला कैंसर ट्रीटमेंट: कुछ ट्रीटमेंट, जैसे कुछ प्रकार की कीमोथेरेपी और रेडिएशन, जोखिम को बढ़ा सकते हैं.
-जेनेटिक: जिन लोगों के परिवार में किसी प्रकार के कैंसर का इतिहास रहा हो, उन्हें अधिक खतरा हो सकता है.
-खराब लाइफस्टाइल: स्मोकिंग, ज्यादा शराब का सेवन और खराब डाइट कैंसर के खतरे को बढ़ा देती है.
कैंसर के दोबारा होने और सेकंड कैंसर को रोकना
हालांकि सेकंड प्राइमरी कैंसर को रोकना हमेशा संभव नहीं होता है, लेकिन कुछ उपाय इसके जोखिम को कम करने में मदद कर सकते हैं-
-नियमित मेडिकल जांच: नियमित जांच करवाते रहें. इससे कैंसर का शुरुआती स्टेज में ही पता चल जाता है.
-हेल्दी लाइफस्टाइल: हेल्दी डाइट बनाए रखें, हर दिन व्यायाम करें, तंबाकू से परहेज करना और शराब को सीमित करना कैंसर के खतरे को कम कर सकता है.
गौरतलब है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, कैंसर दुनिया भर में मौत का दूसरा प्रमुख कारण है. इसके घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं. हालांकि, मेडिकल की दुनिया में हो रहे नए-नए एक्सपेरिमेंट की वजह से कई प्रकार के कैंसर को ठीक किया जा सकता है, लेकिन चुनौतियां अभी भी बनी हुई हैं.