भारत के बेहतरीन पुलिस सिस्टम का दिखा नायाब उदाहरण, ग्रीन कॉरिडोर बनाकर बचाई दिल के मरीज़ की जान 

अस्पताल के एक अधिकारियों के मुताबिक यह दिल हरियाणा की एक 53 वर्षीय महिला के शव से निकाला गया था, जिसकी ब्रेन हैमरेज से मृत्यु हो गई थी. गुड़गांव पुलिस और दिल्ली पुलिस ने महज 37 मिनट 58 सेकेंड में उसके दिल को दूसरे अस्पताल में पहुंचा दिया.

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gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 11 दिसंबर 2021,
  • अपडेटेड 11:33 AM IST
  • महज 37 मिनट 58 सेकेंड में तय की गई दूरी 
  • हार्ट ट्रांसप्लांट ही बचा था अंतिम उपाय

भारत के बेहतरीन पुलिस सिस्टम का एक और सबूत हाल ही में देखने को मिला. गुड़गांव पुलिस और दिल्ली पुलिस ने मिलकर हार्ट ट्रांसप्लांट का इंतज़ार कर रहे व्यक्ति के लिए समय पर दिल पहुंचा कर मिसाल कायम की है. दरअसल 30 किलोमीटर के एक ग्रीन कॉरिडोर के जरिए एक ब्रेन-डेड मरीज के दिल को गुड़गांव के एक निजी अस्पताल से दिल्ली के एक अस्पताल तक पहुंचाया गया. 

महज 37 मिनट 58 सेकेंड में तय की गई दूरी 

अस्पताल के एक अधिकारियों के मुताबिक हरियाणा की एक 53 वर्षीय महिला के शव से निकाला गया था, जिसकी ब्रेन हैमरेज से मृत्यु हो गई थी. गुड़गांव पुलिस और दिल्ली पुलिस ने 30 किलोमीटर का एक ग्रीन कॉरिडोर बनाया और महज 37 मिनट 58 सेकेंड में 30 किलोमीटर की दूरी तय करके उसके दिल को दूसरे अस्पताल में पहुंचा दिया. मैक्स हेल्थकेयर ने एक बयान में कहा कि दिल को बीएलके-मैक्स सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल, दिल्ली ले जाया गया, जहां एक 50 वर्षीय व्यक्ति के शरीर में वह हार्ट ट्रांसप्लांट किया गया.

हार्ट ट्रांसप्लांट ही बचा था अंतिम उपाय

अस्पताल में इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजी के सीनियर डिरेक्टर डॉ नरेश गोयल, जो दिल का इंतजार कर रहे व्यक्ति का इलाज कर रहे थे, ने कहा, "मरीज कुछ समय से दिल की बीमारियों से पीड़ित थे, और 2016 से दो बार स्टेंटिंग से गुजर चुके हैं. वह पिछले छह महीनों में बार-बार अस्पताल में भर्ती हो रहे थे और अपनी जिंदगी से जूझ रहे थे. उनकी जिंदगी बचाने का ट्रांसप्लांट ही अंतिम उपाय बचा था जिसकी हमने सलाह दी."


 

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