Explainer: अगर परमाणु हमला हुआ तो बचाव के क्या उपाय हैं, जानिए

लोगों को इसके लिए जागरूक किया जाए, उन्हें शिक्षित किया जाए. दरअसल, जंग के समय में कई देश, केवल बड़े नेताओं और सैन्य अफसरों को ही बचाने की तैयारी करते हैं और आम नागरिकों को उनके हाल पर छोड़ दिया जाता है. ऐसे में जरूरी है कि लोगों को सिविल डिफेंस सिखाया जाए.

Nuclear Attack
अपूर्वा सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 01 मार्च 2022,
  • अपडेटेड 10:12 AM IST
  • लोगों को इसके लिए जागरूक करें
  • दिमागी तौर पर रहें हमेशा तैयार

रूस और यूक्रेन के बीच तनातनी बनी हुई है. इसी में आगे बढ़ते हुए रूस के राष्ट्रपति पुतिन ने न्यूक्लियर फाॅर्स (Nuclear Force) को हाई अलर्ट कर दिया है. ऐसे में कुछ लोग ये कयास लगा रहे हैं कि वो यूक्रेन पर परमाणु हमला कर सकता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि अगर परमाणु हमला होता यही तो आखिर इससे कितना नुकसान होगा? या फिर इससे किस तरह से बचा जा सकता है?

आपको हिरोशिमा और नागासाकी तो याद ही होगा? जहां गिराए गए एटम बम ने न जाने कितनी जिंदगियां तबाह की और उसकी छाप अभी भी वहां की हवाओं में है. इस हादसे की यादें तो इतिहास के पन्नों में दबती जा रही हैं. लेकिन इससे मिले जख्म आज भी रिस रहे हैं. वहां गिराए गए एटम बम का असर आज की नस्लें भी झेल रही हैं.

चलिए जानते हैं कि अगर आज परमाणु हमला होता है, तो इससे हम कैसे खुद को बचा सकते हैं:

1. बंकर में छिप जाएं 

न्यूक्लियर हमले से बचने के लिए बंकर में छिपने की सलाह दी जाती है. जैसे ब्रिटेन में पिंडार के नाम का एक सुरक्षित बंकर बना हुआ है. यह किसी भी एटमी हमले से बचने के लिए बनाया गया है. आपको बता दें आज दुनिया में करीब 15 हजार एटमी हथियार हैं. रूस और अमरीका के पास इनमें से सबसे ज्यादा है.

2. रेडिएशन से करें खुद का बचाव 

अगर आप रेडिएशन की चपेट में आ जाते हैं तो तुरंत अपने कपड़ों को बदल लें और अपनी स्किन को धो लें. अपनी आंखों, नाक और मुंह को छूने से बचें. किसी भी स्किन पर गिरने वाले बालों को हटाने के लिए नहा लें या साबुन या पानी से धो लें. जो स्किन ढकी हुई नहीं थी उसे भी ढक लें. 

अगर आप उसे धो या नहा नहीं सकते हैं, एक पोंछे या साफ गीले कपड़े का इस्तेमाल करें.  अगर आपके पास एक पालतू जानवर है, तो आपको उसे भी रेडिएशन से बचाने के लिए उसे अच्छी तरह से साफ कर दें. रेडिएशन से कांटेक्ट में आने के बाद अपनी स्किन पर हैंड सैनिटाइजर और डिसइनफेक्टेंट वाइप्स का इस्तेमाल कर लें.

हिरोशिमा-नागासाकी

3.लोगों को इसके लिए जागरूक करें

सबसे ज्यादा जरूरी है कि लोगों को इसके लिए जागरूक किया जाए, उन्हें शिक्षित किया जाए. दरअसल, जंग के समय में कई देश, केवल बड़े नेताओं और सैन्य अफसरों कोही  बचाने की तैयारी करते हैं और आम नागरिकों को उनके हाल पर छोड़ दिया जाता है. ऐसे में जरूरी है कि लोगों को सिविल डिफेंस सिखाया जाए. इसके साथ इस बात का ख्याल रखना चाहिए कि हम जंग के दौरान किसी भी तरह की फेक न्यूज को न मानें. सिविल डिफेंस में लोगों को जंग के हालात में खुद को बचाने और दूसरों की मदद की ट्रेनिंग दी जाए.

4. दिमागी तौर पर रहें हमेशा तैयार 

अमेरिका के स्टीवंस इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के प्रोफेसर एलेक्स वालेरस्टाइन कहते हैं कि अगर न्यूक्लियर हमला होता है, तो सबसे जरूरी है कि आम लोग इसके लिए पहले से ही दिमागी तौर तैयार रहें. इससे एक हद तक आमजन को भारी नुकसान से बचाया जा सकता है. 

5. बुनियादी 

प्रीकॉशन्स आर बेटर देन क्योर, ऐसे न्यूक्लियर हमले से बचने के लिए हमें पहले से ही तैयार रहना चाहिए. हर देश के पास बंकर होने चाहिए, साथ ही शेल्टर हाउस भी तैयार होने चाहिए. हालांकि, दुनिया भर में बहुत जगहों पर न्यूक्लियर शेल्टर हाउस बने हुए हैं. क्योंकि अगर ऐसी स्थिति पैदा होती है, तो कोई भी संस्था या देश एकदम से बड़े पैमाने पर मदद के लिए सामने नहीं आते हैं.

6. जल्द से अंदर चले जाएं 

आपको बता दें, हाल ही में अमेरिका के गृह मंत्रालय ने भी न्यूक्लियर हमले से कैसे बचा जाए, इसपर अपनी गाइडलाइन जारी की है. इसमें कहा गया है कि जब अधिकारी विस्फोट की चेतावनी दें, तो सुरक्षित जगह पर या जल्दी से पास की इमारत में पहुंच जाएं. किसी भी जगह के अंदर रहते हुए, परमाणु विस्फोट से होने वाले विस्फोट, गर्मी और रेडिएशन से बचने के लिए खिड़कियों के बगल में न खड़े हों.

7. इमरजेंसी किट में रखें ये सामान 

गाइडलाइन के मुताबिक, परमाणु हमले के दौरान पर्याप्त आपूर्ति होनी जरूरी है. इमरजेंसी सप्लाई किट लंबे समय तक कहीं रहने पर आपके साथ ले जाने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी. इस किट में बोतलबंद पानी, पैकेज्ड खाने की चीज, दवा, बैटरी और एक हैंड-क्रैंक या बैटरी से चलने वाला रेडियो होना चाहिए ताकि आप बिजली चले जाने के समय आपको मीडिया रिपोर्ट्स मिलती रहें. 


 

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