Bandra Versova Sea Link: 8 लेन, 17 किमी की दूरी, 30 मिनट में पूरा होगा सफर... जानिए बांद्रा वर्सोवा सी लिंक के बारे में सबकुछ

Veer Savarkar Setu: बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक मुंबई का दूसरा सी लिंक है. इस प्रोजेक्ट का 7 फीसदी काम पूरा हो चुका है. 17 किलोमीटर लंबे इस प्रोजेक्ट को साल 2026 तक पूरा होने की उम्मीद है. इस प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद बांद्रा से वर्सोवा के बीच की दूरी आधे घंटे मे तय की जा सकेगी.

बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक का 7 फीसदी काम पूरा हो गया है (प्रतिकात्मक तस्वीर)
शशिकांत सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 29 मई 2023,
  • अपडेटेड 10:25 AM IST

मुंबई में ट्रैफिक जाम की समस्या से निजात दिलाने के लिए बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक बनाया जा रहा है. 17 किलोमीटर लंबे सी लिंक का निर्माण कार्य साल 2018 से चल रहा है. लेकिन इसका काम धीमी गति से चल रहा है. अब तक इस ब्रिज का 7 फीसदी काम ही पूरा हो पाया है. इस प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद डेढ़ घंटे का सफर सिर्फ आधे घंटे में तय होगा. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने इसका ऐलान किया है कि क्रांतिकारी दामोदर सावरकर के नाम पर इस सी लिंक का नाम 'वीर सावरकर सेतु' रखा जाएगा. चलिए आपको इस सी लिंक के बारे में बताते हैं.

क्या है बांद्रा वर्सोवा सी लिंक-
बांद्रा वर्सोवा सी लिंक मुंबई का दूसरा सी लिंक है. यहा अंधेरी के वर्सोवा से शुरू होगा और कार्टर रोड, जुहू होते हुए बांद्रा तक जाएगा. ये बांद्रा में बांद्रा वर्ली सी लिंक से जुड़ेगा. यह दूरी 17.17 किलोमीटर की है. ये सी लिंक 8 लेन का होगा. अभी इस दूरी को तय करने में डेढ़ घंटे का समय लगता है. लेकिन जब ये सी लिंक तैयार हो जाएगा तो ये दूरी आंधे घंटे में तय हो जाएगी.

इस प्रोजेक्ट पर कितना होगा खर्च-
साल 2018 में फाइनेंशियल एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के मुताबिक बांद्रा वर्सोवा सी लिंक प्रोजेक्ट के निर्माण में 11 हजार 332 करोड़ रुपए खर्च होंगे. हालांकि इस परियोजना को 2023 में पूरा होना था. लेकिन अब इस परियोजना में देरी हो रही है और समय पर इसके पूरा होने की उम्मीद नहीं है. अब इस प्रोजेक्ट के 2026 तक पूरा होने की उम्मीद जताई जा रही है.

8 लेन का होगा सी लिंक-
समंदर के रास्ते बांद्रा को वर्सोवा से जोड़ने के लिए इस सी लिंक का निर्माण किया जा रहा है. ये सी लिंक 8 लेन का होगा. पूरे समंदर में इस सी लिंक के लिए 5000 बेस पिलर बनाने हैं. इस बेस पिलर की मदद से सागर में 1000 मेन पिलर खड़े किए जाएंगे. इसपर रोड का निर्माण होगा.

किस कंपनी को मिला है प्रोजेक्ट-
बांद्रा वर्सोवा सी लिंक प्रोजेक्ट को बनाने का काम एक भारतीय कंपनी रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर को दिया गया था. जो एक इटली की कंपनी के साथ मिलकर इस प्रोजेक्ट को पूरा करने वाली थी. लेकिन समय पर काम नहीं कर पाने की वजह से भारतीय कंपनी ने अपना हाथ पीछे खींच लिया और अपने शेयर इटली की कंपनी को दे दिए. अब इटली की कंपनी दूसरी भारतीय कंपनी के साथ मिलकर इस प्रोजेक्ट पर काम कर रही है.

कम समय में सफर होगा तय-
समंदर के जरिए बांद्रा और वर्सोवा को जोड़ने वाले इस प्रोजेक्ट के पूरा होने पर कई दिक्कतों से छुटकारा मिलेगा. बांद्रा, वर्सोवा और वर्ली के बीच सड़क पर ट्रैफिक जाम से छुटकारा मिलेगा. इस पूरे कॉरिडोर से रोजाना 4 से 5 लाख गाड़ियों की आवाजाही होगी. इसके अलावा सफर के दौरान समय की भी बचत होगी. इस सफर को तय करने में अभी डेढ़ घंटे का समय लगता है. लेकिन इस प्रोजेक्ट के पूरे होने पर ये समय 30 मिनट तक हो जाएगा.

सी लिंक पर कनेक्टर-
बांद्रा वर्सोवा सी लिंक को शहर को कई जगहों से जोड़ा जाएगा. इन जगहों से इस सी लिंक पर चढ़ा या उतरा जा सकता है. इस सी लिंक पर ऑटर्स क्लब, जुहू लिंक रोड और नाना-नानी पार्क से चढ़ना-उतरना हो सकेगा. बांद्रा, कार्टर रोड, जुहू-कोलीवाड़ा और नाना-नानी पार्क में टोल प्लाजा होगा.

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