महाराष्ट्र की सियासत में कई दिनों से शह-मात का खेल जारी है. एक तरफ महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे सरकार पर संकट बना हुआ है तो वहीं, दूसरी तरफ बागी नेता एकनाथ शिंदे भी पीछे नहीं हट रहे हैं. सियासी उठापटक के बीच तनाव बढ़ता देख अब मुंबई पुलिस ने भी मुंबई में धारा 144 लागू कर दी है. साथ ही ठाणे में शिंदे के आवास पर सुरक्षा बढ़ा दी गई है.
बताया जा रहा है कि शिंदे इस समय असम के गुवाहाटी के रैडिसन ब्लू होटल में राज्य के अन्य बागी विधायकों के साथ ठहरे हुए हैं. वहीं, मुंबई में हालात एकदम गर्माए हुए हैं. यहां लगातार बैठकों का दौर जारी है. हालांकि, इन सबके बीच महाराष्ट्र के डिप्टी स्पीकर नरहरि जिरवाल ने शिंदे खेमे द्वारा उनके खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव को खारिज कर उन्हें बड़ा झटका दिया है.
कहां पहुंचा है शह-मात का खेल
कभी उद्धव ठाकरे के सबसे करीबी माने जाने वाले शिंदे ने ही आज उनकी नाक में दम कर दिया है. यहां पल-पल राजनीति बदलती हुई नजर आ रही है.
महाराष्ट्र में राजनीतिक खींचतान के बीच ठाकरे सरकार गिर जाने की आशंका जताई जा रही है. एनसीपी के मंत्री दत्तात्रय भरणे का बड़ा बयान सामने आया है. उन्होंने कहा कि "आज हो या कल, मंत्री पद से हटने का समय है, किसी के लिए यह 5 साल बाद आता है, हमारे लिए ढाई साल बाद आया है".
महाराष्ट्र में शिवसेना कार्यकर्ताओं ने पार्टी के बागी विधायकों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया और खारघर में पार्टी कार्यालय के बाहर पुतला फूंका. यहां लगातार प्रदर्शन किए जा रहे हैं.
वहीं, इस बीच बागी विधायकों के अलग-अलग बयान सामने आ रहे हैं. पूर्व गृह राज्य मंत्री और बागी विधायक दीपक केसरकर ने कहा कि एकनाथ शिंदे खेमे द्वारा 'शिवसेना बालासाहेब' नया समूह गठित किया गया है.
महाराष्ट्र विधानसभा के डिप्टी स्पीकर ने असम के असम के गुवाहाटी में रह रहे एकनाथ शिंदे खेमे के 16 बागी शिवसेना विधायकों को नोटिस जारी कर दिया है. 27 जून का इन्हें जवाब देने का आदेश जारी किया गया है.
शिंदे कैंप के विधायकों की मीटिंग
शिंदे भी बैठक करने में पीछे नहीं दिख रहे हैं. माना जा रहा है कि आज गुवाहाटी के रेडिसन ब्लू होटल में मौजूद शिवसेना के बागी विधायक भी बैठक करने वाले हैं. बागी नेता शिंदे ने ही यह मीटिंग बुलाई है. इस बैठक को काफी अहम माना जा रहा है. यहां तक की शिंदे की ओर से जारी किए गए पत्र में सभी 38 विधायकों के हस्ताक्षर भी हैं, जिसके बाद महाराष्ट्र सरकार के सामने और चिंता बढ़ गई है.
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