सरकार ला रही New Wage Code! जानिए नौकरीपेशा पर क्या होगा असर

New Wage Code: लंबे समय से नया वेतन कोड लागू होने का कर्मचारियों को इंतजार था. अब इस बात की संभावना है कि 1 जून 2022 से इसे लागू किया जा सकता है. आइए जानते हैं कि इससे नौकरीपेशा पर कैसे असर पड़ने वाला है.

New Wage Code/सांकेतिक तस्वीर
केतन कुंदन
  • नई दिल्ली,
  • 10 जून 2022,
  • अपडेटेड 2:13 AM IST
  • नया वेतन कोड आने से कर्मचारियों को मिलेंगे कई फायदे
  • 1 जुलाई, 2022 से किया जा सकता है लागू
  • सरकार ला रही नया वेतन कोड! जानिए नौकरीपेशा पर क्या होगा असर

भारत में हर सरकारी और गैर सरकारी क्षेत्रों में काम करने वाले लोगों के लिए एक अच्छी खबर है. इस बात की उम्मीद जताई जा रही है कि श्रम और रोजगार मंत्रालय 1 जुलाई, 2022 से कर्मचारियों के लिए नया वेतन कोड (New Wage Code) लागू कर सकती है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार 28 राज्यों में से 23 राज्यों ने ड्राफ्ट तैयार कर केंद्र सरकार को भेज दिया है. नया वेतन कोड आ जाने के बाद से कर्मचारियों को कई तरह के फायदे होने वाले हैं. ऐसे में आपके मन में कई सवाल आ रहे होंगे कि यह नया वेतन कोड क्या है और इसके क्या फायदे होने वाले हैं. तो चलिए आपको इसके बारे में विस्तार से बताते हैं.

क्या है नया वेतन कोड (What is New Wage Code)

केंद्र सरकार ने अलग-अलग 29 श्रम कानूनों को मिलाकर 4 नए वेतन कोड को तैयार किया है. 2019 में ही इसे संसद में पारित कर दिया गया था. उसके बाद राज्यों की तरफ से हो रही देरी के कारण इसे अब तक लागू नहीं किया जा सका. हालांकि केंद्र पिछले एक साल से इसके लिए तैयारी कर रही है. आखिरकार अब यह उम्मीद जताई जा रही है कि वित्त वर्ष 2022-23 में इसे लागू कर दिया जाएगा. 

कर्मचारियों को मिलेंगे ये फायदे-

नया वेतन कोड आने के बाद से कर्मचारियों के न सिर्फ सैलरी स्ट्रक्चर में बदलाव आएगा बल्कि और अन्य तरह के बदलाव भी देखने को मिलेंगे. जिसमें सबसे महत्वपूर्ण होगा छुट्टियों में बदलाव, ओवरटाइम में बदलाव और वर्किंग आवर में बदलाव. चलिए सबको बारी-बारी से समझते हैं.

सैलरी स्ट्रक्चर में बदलाव-

नया वेतन कोड आने के बाद से बेसिक सैलरी को सीटीसी के 50 फीसदी से कम नहीं किया जा सकता. इसको ऐसे समझिए कि पहले वाले सैलरी स्ट्रक्चर में बेसिक सैलरी कम होती थी और अन्य भत्ताओं की फीसदी ज्यादा होती थी . लेकिन अब बेसिक सैलरी को कम से कम 50 फीसदी रखना ही पड़ेगा. यानी कि अगर किसी की सैलरी 50 हजार रुपए प्रति महीना है तो पहले बेसिक सैलरी 15 से 20 हजार रुपए के आसपास रहती थी लेकिन अब कंपनी को इसे 25 हजार रखना पड़ेगा.
 
अब सवाल है कि बेसिक सैलरी 50 फीसदी करने से कर्मचारियों को कैसे फायदा मिलेगा ? तो इसका सीधा जवाब है कि अगर बेसिक सैलरी बढ़ेगी तो पीएफ में ज्यादा पैसे जमा होंगे और इन हैण्ड सैलरी पहले से कम हो जाएगी. अब आप सोच रहे होंगे कि ये तो गलत हो रहा है. तो इसका जवाब है नहीं. सरकार आपके भविष्य को और सुरक्षित करना चाहती है. इसका आसान सा मतलब है कि आप भविष्य के लिए ज्यादा बचत कर पाएंगे.

लेकिन इसके साथ ही आपको बता दें कि बेसिक सैलरी बढ़ने से उन लोगों को ज्यादा फर्क पड़ने वाला है जिनकी सैलरी ज्यादा है. बेसिक सैलरी जैसे ही बढ़ेगी उनको टैक्स ज्यादा देना पड़ेगा.  क्योंकि नया वेतन कोड आने के बाद से एचआरए और बोनस पर टैक्स बढ़ जाएगा.

छुट्टियों में बदलाव-

नया वेतन कोड आने के बाद से कर्मचारियों को पहले से ज्यादा छुट्टियां मिल सकती है. फिलहाल सरकारी कर्मचारियों को एक साल में 30 पेड लीव दिया जाता है. वहीं डिफेन्स में नौकरी करने वालों को एक साल में 60 पेड लीव दिया जाता है. लेकिन लेबर यूनियन ने छुट्टियों की संख्या 300 से बढ़ाकर 450 करने की मांग की है. इसके साथ गौर करने वाली बात ये भी है कि अलग-अलग डिपार्टमेंट अभी 240 से 300 पेड लीव दे रही है उन कर्मचारियों को जिन्होंने 20 साल उस कंपनी में काम करते हुए पूरे कर लिए हैं.  

ओवरटाइम और वर्किंग आवर में बदलाव-

सरकार अभी नया वेतन कोड में वर्किंग आवर और ओवरटाइम जैसी चीजों पर भी काम कर रही है. हालांकि खबरों की माने तो वर्किंग आवर 12 घंटे का किया जा सकता है. अब आप सोच रहे होंगे कि वर्किंग आवर कम होने के बजाय ज्यादा हो गया इसमें अच्छा तो कुछ भी नहीं है. तो बता दें कि अच्छा है. अच्छी बात ये है कि सप्ताह में मात्र 48 घंटे ही कर्मचारी से काम लिया जा सकेगा. इसका मतलब हुआ कि अगर कोई कर्मचारी 12 घंटे रोज काम करता है तो 4 दिन में उसका 48 घंटा पूरा हो जाएगा. ऐसे में सप्ताह में तीन दिन छुट्टी मिला करेगी. वहीं अगर ओवर टाइम की बात करें तो कर्मचारी से लगातार सिर्फ 5 घंटे ही काम लिया जा सकेगा और फिर आधे घंटे का ब्रेक देना होगा. यानी हर 5 घंटे में आधे घंटे का ब्रेक देना होगा.

 

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