Rajya Sabha By Election 2024: राज्यसभा की 12 सीटों के लिए BJP ने कहां-कहां से उतारे उम्मीदवार, जानें जीत के बाद उच्च सदन में क्या हो जाएगा समीकरण

Rajya Sabha By Elections: 12 राज्यसभा सीटों पर उपचुनाव होना है. इनमें से NDA ने कुल 11 सीटों पर अपने प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतारे हैं, जिसमें BJP के 9 उम्मीदवार हैं. बीजेपी ने चुनावी राज्य हरियाणा में किरण चौधरी को उम्मीदवार बनाया है तो वहीं महाराष्ट्र से धैर्यशील पाटिल पर भरोसा जताया है.

Rajya Sabha (File Photo:PTI) 
मिथिलेश कुमार सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 22 अगस्त 2024,
  • अपडेटेड 10:37 PM IST
  • नामांकन वापस लेने की अंतिम तारीख है 27 अगस्त 2024 
  • चुनाव आयोग मतदान के दिन ही करेगा परिणाम की घोषणा 

भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने राज्यसभा उपचुनाव 2024 (Rajya Sabha By Election 2024) के लिए अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है. 9 राज्यों की 12 सीटों पर राज्यसभा उपचुनाव होना है. बीजेपी ने 9 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारे हैं.

नामांकन वापस लेने की अंतिम तारीख 27 अगस्त 2024 है. 3 सितंबर 2024 को चुनाव होंगे. इसी दिन चुनाव आयोग (Election Commission) परिणाम की घोषणा करेगा. आइए जानते हैं बीजेपी ने किस राज्य से किसको अपना उम्मीदवार बनाया है.

किस राज्य में और क्यों खाली हुईं थीं सीटें 
बिहार, महाराष्ट्र और असम में दो-दो राज्यसभा सीटें खाली हुई थीं. इसके अलावा मध्य प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान, ओडिशा, तेलंगाना और त्रिपुरा में एक-एक सीटें खाली हुई थीं. इस तरह से कुल 12 सीटें खाली हुईं हैं. इनमें से 10 सीटें राज्यसभा के सदस्यों के लोकसभा चुनाव में जीतने के बाद खाली हुईं है.

उधर, ओडिसा और तेलंगाना से एक-एक राज्यसभा सदस्यों ने अपनी पार्टी से इस्तीफा देकर दूसरी पार्टी का दामन थाम लिया था और राज्यसभा से भी इस्तीफा दे दिया था. ओडिशा में बीजू जनता दल (बीजेडी) की सांसद ममता मोहंता बीजेपी से जुड़ गई हैं. तेलंगाना में केशव राव ने भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) छोड़कर कांग्रेस का हाथ थामने के कारण राज्यसभा सदस्यता छोड़ दी थी.

बीजेपी ने इन सीटों पर उतारे हैं अपने उम्मीदवार
12 राज्यसभा सीटों में से एनडीए (NDA) ने कुल 11 सीटों पर अपने प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतारे हैं. बीजेपी के उम्मीदवार इनमें से 9 सीटों पर हैं. भारतीय जनता पार्टी ने असम से मिशन रंजन दास और रामेश्वर तेली, बिहार से मनन कुमार मिश्रा, मध्य प्रदेश से जॉर्ज कुरियन, हरियाणा से किरण चौधरी को उम्मीदवार बनाया है.

बीजेपी ने ओडिशा से ममता मोहंता, महाराष्ट्र से धैर्यशील पाटिल, राजस्थान से सरदार रवनीत सिंह बिट्टू और त्रिपुरा से राजीव भट्टाचार्जी को टिकट दिया है. एनडीए की तरफ से बिहार से उपेंद्र कुशवाहा और महाराष्ट्र से एनसीपी उम्मीदवार नितिन पाटिल ने नामंकन दाखिल किया है. ओडिशा से निर्दलीय और बीजेपी समर्थित जगन्नाथ प्रधान ने भी पर्चा दाखिल किया है. तेलंगाना से कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने नामांकन किया है. 

चुनावी राज्य हरियाणा और महाराष्ट्र में इसलिए बनाया इनको उम्मीदवार
बीजेपी ने चुनावी राज्य हरियाणा में किरण चौधरी को उम्मीदवार बनाया है तो उसके पीछे भी अपना गणित है. हरियाणा में गैर जाट की सियासत पर फोकस करने वाली बीजेपी की नजर इस बार किरण चौधरी के चेहरे पर बंसीलाल की विरासत का फायदा उठाने की है. बीजेपी की रणनीति इस बार जाट वोटबैंक में सेंधमारी करने की है. महाराष्ट्र में कुछ महीनों में विधानसभा चुनाव होने हैं. यहां से बीजेपी ने धैर्यशील पाटिल पर दांव लगाया है.

धैर्यशील पाटिल मराठा समाज से आते हैं. बीजेपी को हालिया आम चुनाव में महाराष्ट्र में सीटों का नुकसान उठाना पड़ा था. ऐसे में विधानसभा चुनाव को लेकर सतर्क बीजेपी मराठा समाज की नाराजगी को कम से कम करने की कोशिश में है. इसी रणनीति के तहत पार्टी ने मराठा कार्ड चल दिया है. धैर्यशील पिछले ही साल पीडब्ल्यूपी छोड़ बीजेपी में आए थे. पार्टी ने पहले अशोक चव्हाण और अब धैर्यशील पाटिल, दूसरे दलों से आए नेत को राज्यसभा भेजकर दूसरे दलों के नेताओं को ये संदेश दिया है कि पार्टी में बाहर से आने वालों का भी पूरा सम्मान है.

12 राज्यसभा सीटों पर पहले क्या थी स्थिति
उपचुनाव होने वाले इन 12 राज्यसभा सीटों की पहले की स्थिति के बारे में बात करें तो बीजेपी के पास सबसे अधिक सात सीटें थीं. बीजेपी महाराष्ट्र की दोनों सीटों पर काबिज थी. असम की दोनों ही सीटों पर भाजपा ने जीत दर्ज की थी. बिहार में एक सीट पर भाजपा तो एक सीट पर लालू की पार्टी आरजेडी का कब्जा था.

एमपी की एक सीट पर बीजेपी, त्रिपुरा की एक सीट पर बीजेपी ने जीत दर्ज की थी. हरियाणा की एक सीट और राजस्थान की एक सीट पर कांग्रेस ने जीत दर्ज की थी. तेलंगाना में के.केशव राव ने बीआरएस छोड़ दिया था. ओडिशा में बीजद की सांसद ममता मोहंता ने राज्यसभा सीट छोड़ दी थी.

...तो राज्यसभा में एनडीए को मिल जाएगा बहुमत
12 सीटों पर होने वाले राज्यसभा उपचुनाव में सभी उम्मीदवार निर्विरोध निर्वाचित होंगे क्योंकि नामांकन के अंतिम दिन किसी भी राज्य में अतिरिक्त उम्मीदवार ने नामांकन नहीं किया. इसका मतलब है कि नतीजे आने के बाद राज्यसभा में एनडीए को बहुमत मिल जाएगा. आपको मालूम हो कि अभी राज्यसभा की 20 सीटें खाली हैं. 12 सीटों पर उपचुनाव के बाद राज्यसभा में सदस्यों की कुल संख्या 237 हो जाएगी. इसके अलावा विधानसभा चुनाव नहीं होने के कारण जम्मू कश्मीर की 4 सीटें रिक्त हैं, जबकि इतनी ही सीटों पर सदस्यों का मनोनयन नहीं हुआ है.

राज्यसभा में कुल सांसदों की संख्या 245 है. अभी बीजेपी के पास 87 सांसद हैं. एनडीए का पास 101 सांसद हैं. एनडीए को 6 मनोनीत और निर्दलीय सांसद का भी समर्थन प्राप्त है. उपचुनाव के नतीजे के बाद भाजपा के सदस्यों की संख्या 87 से बढ़ कर 97 हो जाएगी. इस तरह से मनोनीत और निर्दलयी को मिलाकर राजग की संख्या 119 हो जाएगी. उपचुनाव के बाद राज्यसभा में बहुमत का आंकड़ा 117 होगा. चुनाव के बाद एनडीए राज्यसभा में बहुमत की शर्त को पूरी कर लेगा. ऐसी स्थिति में बीजेपी की अगुवाई वाली केंद्र सरकार के लिए किसी भी बिल को राज्यसभा में भी पास कराना मुश्किल नहीं होगा.


 

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