Chardham Yatra: क्या होती है Telemedicine और कैसे होता है काम, चारधाम श्रद्धालुओं को दी जाएगी ये सुविधा

Chardham Yatra 2023: चारधाम यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं की सेहत का पूरा ख्याल रखा जाएगा. एम्स ऋषिकेश की तरफ से चारधाम तीर्थयात्रियों को टेलीमेडिसिन की सुविधा दी जाएगी, ताकि रास्ते में किसी श्रद्धालु को स्वास्थ्य संबंधी कोई दिक्कत आती है तो उसकी पूरी मदद की जा सके.

चारधाम यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं को टेलीमेडिसिन के जरिए मदद की जाएगी (फाइल फोटो)
gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 20 अप्रैल 2023,
  • अपडेटेड 12:50 PM IST

उत्तराखंड में चारधाम यात्रा 22 अप्रैल से शुरू हो रही है. इसको लेकर पूरी तैयारी की गई है. इस बार श्रद्धालुओं की सेहत का पूरा ख्याल रखने की तैयारी है. चारधाम यात्रा को लेकर स्वास्थ्य व्यवस्था को और भी बेहतर बनाया जा रहा है. एम्स ऋषिकेश की तरफ से तीर्थयात्रियों के लिए हाई एंबुलेंस की सुविधा शुरू की जा रही है. अगर यात्रा के दौरान किसी श्रद्धालु की तबीयत खराब हो जाती है तो टेलीमेडिसिन के जरिए बेहतर इलाज मुहैया कराने की कोशिश की जाएगी.

टेलीमेडिसिन की दी गई ट्रेनिंग-
एम्स ऋषिकेश की तरफ से मेडिकल अफसरों को स्पेशनल ट्रेनिंग भी दी जा रही है. कार्यशाला में कई डॉक्टर और विशेषज्ञ भी शामिल हो रहे हैं. इस दौरान ऊंचाई पर होने वाली समस्याओं के बारे में अवगत कराया गया. अमूमन देखने को मिलता है कि जैसे ही यात्री हाई एल्टीट्यूड एरिया में पहुंचते हैं तो उनका स्वास्थ्य खराब होने लगता है. कई लोगों को हार्ट अटैक की समस्या भी आती है. ऐसे में टेलिमिडिसिन की मदद से उनका इलाज किया जा सकेगा. 

क्या होती है टेलीमेडिसिन-
पहाड़ी इलाकों में मेडिकल सेवाएं फौरन उपलब्ध कराना संभव नहीं होता है. ऐसे में डॉक्टर वीडियो कॉल के जरिए चिकित्सकीय सलाह देते हैं. मरीजों को जरूरी दवाओं के साथ-साथ शारीरिक गतिविधियों के बारे में बताया जाता है. पहाड़ी इलाकों में कई तरह के जड़ी-बूटी मिलती है. वीडियो कॉल पर बीमारी से संबंधित उन जड़ी-बूटियों के बारे में बताया जाता है और उनके सेवन की सलाह दी जाती है.

पहाड़ी इलाकों में ऊंचाई पर क्या दिक्कत होती है-
चारधाम यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं को टेलीमेडिसिन के जरिए स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी. दरअसल ऊंचाई पर जाने के बाद लोगों को कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं आने लगती है. चलिए आपको बताते हैं क्या-क्या दिक्कतें आ सकती हैं.

  • फेफड़ों और दिल की बीमारी वाले मरीजों को ज्यादा दिक्कत होती है.
  • अगर कोई पहले ऊंचाई की बीमारी से पीड़ित रहा हो तो उनका ज्यादा जोखिम होता है.
  • कम ऊंचाई पर रहने वाले लोग अगर ज्यादा ऊंचाई पर जाते हैं तो उनके लिए जोखिम बढ़ जाता है.
  • गर्भवती महिलाओं के लिए ज्यादा ऊंचाई पर जाना जोखिम भरा होता है.
  • उच्च ऊंचाई फुफ्फुसीय एडिमा, उच्च ऊंचाई सेलेब्रव एडिमा, पहाड़ पर चक्कर आने वाले श्रद्धालुओं को दिक्कत आ सकती है.

क्या-क्या तैयारी करनी चाहिए-
अगर श्रद्धालु चारधाम यात्रा पर निकलते हैं तो इससे पहले उनको कुछ जरूरी तैयारी करनी चाहिए, ताकि सफर में किसी तरह की कोई दिक्कत ना हो. चलिए आपको बताते हैं क्या-क्या तैयारी रखनी चाहिए.

  • यात्रा से पहले श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य जांच करना चाहिए.
  • यात्रा से पहले पर्याप्त नींद और आराम लेना चाहिए.
  • गैर-जरूरी शारीरिक गतिविधियों से बचना चाहिए.
  • नशीले पदार्थों के सेवन से बचना चाहिए.
  • अगर आप ऊंचाई पर चढ़ रहे हैं तो धीरे-धीरे चढ़ना चाहिए.
  • अगर आप किसी भी तरह की बीमारी से पीड़ित हैं तो उसको लेकर पूरी तैयारी के साथ जाएं.

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