NASA की चेतावनी! बिना नजर आए ही पृथ्वी के करीब आ सकता है एस्टेरॉयड, पहचान करना हो रहा है बड़ा मुश्किल

नासा पहले ही इस प्रकार के एस्टेरॉयड से बचने के लिए डार्ट मिशन लॉन्च कर चुकी है. इसके जरिए नासा यह देखेगा कि पृथ्वी के पास आ रहे किसी भी एस्टेरॉयड की दिशा बदली जा सकती है या नहीं. इसके लिए नासा टेस्ट भी करने वाली है.

NASA की चेतावनी
gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 18 जनवरी 2022,
  • अपडेटेड 8:05 AM IST
  • ये एस्टेरॉयड बिना नजर आए ही पृथ्वी के नजदीक आ सकता है
  • नासा पहले ही इस प्रकार के एस्टेरॉयड से बचने के लिए डार्ट मिशन लॉन्च कर चुका है

हर दिन पृथ्वी के पास से कई एस्टेरॉयड गुजरते हैं. इनमें से बेहद कम ऐसे होते हैं जो धरती के वायुमंडल में प्रवेश करते हैं. लेकिन हाल ही में नासा (NASA) के वैज्ञानिकों ने पृथ्वी से एक एस्टेरॉयड के टकराने की आशंका जताई है. नासा ने कहा है कि ये एस्टेरॉयड बिना नजर आए ही पृथ्वी के नजदीक आ सकता है.

हम नहीं देख पा रहे हैं एस्टेरॉयड की गति

नासा के वैज्ञानिकों के अनुसार, कब भी कोई वस्तु पृथ्वी की ओर पूर्व से आती है तो हमें यह स्थिर दिखाई देती है. इसका कारण पृथ्वी का सूर्य के चारों ओर चक्कर लगाना है. दरअसल, पृथ्वी जब सूर्य के चारों और घूमती है तो रात में ब्लैक स्पॉट के कारण हम हमारे ग्रह के तरह आती हुई किसी भी चीज को नहीं देख पाते हैं, वह हमें केवल स्थिर दिखाई देती है. वर्तमान में हमारे पास पृथ्वी के बाहर की चीजों को देखने के लिए जो भी तकनीक है, उसे भी एस्टेरॉयड बायपास कर सकता है और चुपके से हमारी पृथ्वी की तरफ आ सकता है.

अरबों साल पुरानी चट्टान का टुकड़ा

ये अध्ययन मानोआ में हवाई यूनिवर्सिटी के खगोलशास्त्री रिचर्ड वेन्सकोट और उनके सहयोगियों द्वारा किया गया है. बताया जा रहा है कि ये लगभग 4.6 अरब साल पुराना है. नासा के अनुसार, इसका नाम एस्टेरॉयड 7482 रखा गया है. कहा जा रहा है कि ये 18 जनवरी को पृथ्वी के बेहद पास से गुजर सकता है.

नासा ने लॉन्च किया डार्ट मिशन

हालांकि, नासा पहले ही इस प्रकार के एस्टेरॉयड से बचने के लिए डार्ट मिशन लॉन्च कर चुका है. इसके जरिए नासा यह देखेगा कि पृथ्वी के पास आ रहे किसी भी एस्टेरॉयड की दिशा बदली जा सकती है या नहीं. इसके लिए नासा टेस्ट भी करने वाली है.

टेलीस्कोप से देखना है काफी मुश्किल

दरअसल, ये अध्ययन आईकेरस जर्नल (Icarus Journal) में पब्लिश किया गया है. इसके अनुसार, जब इस एस्टेरॉयड को टेलीस्कोप से देखा जा रहा है तो ऐसा लग रहा है कि यह बहुत स्लो है. यह पृथ्वी की ओर धीरे-धीरे आ रहा है. इसलिए इसकी पहचान करना बहुत ही मुश्किल हो रहा है. ऐसा ही मामला साल 2019 में भी सामने आया था, जब एक एस्टेरॉयड पृथ्वी के एकदम पास 43 हजार मील की दूरी से गुजरा था. इस वाले एस्टेरॉयड का पता हमें केवल 24 घंटे पहले पता चला था.

 

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