साल का सबसे छोटा दिन उत्तरी गोलार्ध (Northern Hemisphere) में हर साल 21 या 22 दिसंबर को पड़ता है. इस साल शीतकालीन संक्रांति (Winter solstice) 22 दिसंबर 2022 को पड़ रही है. यह साल का सबसे छोटा दिन होगा या फिर कहें कि साल की सबसे लंबी रात आज होगी.
आपको बता दें कि आज का दिन 10 घंटे 41 मिनट का होगा और रात 13 घंटे 19 मिनट की रहेगी. हालांकि, यह पूरी दुनिया में नहीं होता है. यह सिर्फ नॉर्थन हेमिस्फेयर में होगा जबकि साउथर्न हेमिस्फेयर (Southern Hemisphere) में इसका उल्टा होगा. जी हां, आज का दिन साउथर्न हेमिस्फेयर में साल का सबसे लम्बा दिन होगा.
क्यों होता है ऐसा
अब सवाल है कि ऐसा क्यों होता है. दरअसल, पृथ्वी सूर्य के सापेक्ष लगभग 23.5 डिग्री के कोण पर झुकी हुई है. सूर्य सीधे मकर रेखा पर है. झुकाव का मतलब है कि उत्तरी और दक्षिणी गोलार्ध को पूरे वर्ष अलग-अलग मात्रा में सूर्य का प्रकाश प्राप्त होता है क्योंकि पृथ्वी सूर्य के चारों ओर घूमती है. यही कारण है कि हमारे यहां चार ऋतुएं होती हैं.
उत्तरी गोलार्ध को साल के अंत में कम धूप मिलती है जबकि दक्षिणी गोलार्ध में इन महीनों के दौरान ज्यादा गर्मी होती है. बात आज के दिन यानी 22 दिसंबर की करें तो 22 दिसंबर के दिन सूर्य, मकर रेखा (Tropic of Capricon) के सीध में होता है और इस कारण पृथ्वी के नॉर्थेर्न हेमिस्फेयर के देशों तक लम्बे समय सूरज का प्रकाश नहीं पहुंच पाता है. यहीं कारण होता है कि नॉर्थेर्न हेमिस्फेयर के देशों में 22 दिसंबर को सबसे छोटा दिन होता है.
सर्दी-गर्मी की शुरुआत का प्रतीक
उत्तरी गोलार्ध में 22 दिसंबर और दक्षिणी गोलार्ध में 21 जून, सर्दियों की शुरुआत का प्रतीक हैं. 22 दिसंबर के बाद उत्तरी गोलार्ध में दिन बड़े और रातें छोटी होने लगेंगी. दिल्ली में आज सूर्योदय का समय 7 बजकर 11 मिनट पर है तो वहीं सूर्यास्त शाम 5 बज कर 29 मिनट पर होगा.
आपको बता दें कि आज के दिन को विंटर सॉल्सटिस (Winter solstice) भी कहते है. सॉल्सटिस शब्द लैटिन के सोल्स्टिम (Sōlstitium) से लिया गया है. लैटिन भाषा में सोल (sōl) का अर्थ होता है सूरज और सेस्टेयर (sistere) का अर्थ है स्थिर खड़ा रहना. इन दोनों शब्दों को मिलाकर बनता है सॉल्सटिस जिसका अर्थ होता है सूर्य का स्थिर रहना.