बसंत पंचमी और होली के बीच आता है फुलेरा दूज और फुलेरा दूज से होली के बीच होलाष्टक आता है. आज हम होलाष्टक की बात करेंगे. होलाष्टक यानी 8 दिन कोई भी शुभ काम नहीं होंगे. फाल्गुन शुक्ल अष्टमी से लेकर होलिका दहन तक की इस अवधि में होली के अलग अलग रंग फिजाओं में खुलेंगे. होलाष्टक क्या है? इसका महत्त्व क्या है और होलाष्टक से जुड़ी पौराणिक कथा क्या हैं. चलिए सबसे पहले आपको इसी के बारे में बता देते हैं.