सोमवार को एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल 'हेलीना' (Helina) का फ्लाइट टेस्ट किया गया है. हेलीकॉप्टर से लांच किया गया ये फ्लाइट टेस्ट पूरी तरह से सफल रहा है. 11 अप्रैल को हेलिना का फ्लाइट टेस्ट संयुक्त रूप से रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO), भारतीय सेना और भारतीय वायु सेना (IAF) के वैज्ञानिकों की टीमों ने मिलकर किया है.
दुनिया की सबसे अच्छी एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल में से एक है हेलिना
बता दें, ये फ्लाइट ट्रायल एडवांस लाइट हेलीकॉप्टर से किया गया था, वहीं मिसाइल से एक टैंक को टारगेट किया गया था. बता दें, हेलिना दुनिया में मौजूद सभी एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल में से एक है. ये फ्लाइट टेस्ट राजस्थान के पोखरण में सेना के वरिष्ठ कमांडरों और डीआरडीओ के वरिष्ठ वैज्ञानिकों की देखरेख में किया गया है.
रक्षा मंत्री ने दी बधाई
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस उपलब्धि के लिए डीआरडीओ और भारतीय सेना को बधाई दी है. डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ जी सतीश रेड्डी ने भी कठिन परिस्थितियों में किए गए इस सराहनीय कार्य के लिए टीमों को बधाई दी है. हर तरह की खूबियों से लैस एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल हेलिना का परीक्षण पूरी तरह सफल रहा और अब यह सेना में शामिल होने के लिए तैयार है.
पूरी तरह से स्वदेशी है मिसाइल
आपको बता दें, ये मिसाइल पूरी तरह से स्वदेशी है, जिसे डीआरडीओ ने विकसित किया है. इसकी मारक क्षमता सात किलोमीटर है. हेलिना 'फायर एंड फॉरगेट' मोड यानि दागो और भूल जाओ की थ्योरी पर काम करती है. ये अपनी रेंज में आने वाले दुश्मन के हर तरह के टैंक को आसानी से तबाह कर सकती है.
किसी भी तरह के टारगेट को तबाह करने की रखती है ताकत
इसकी सबसे खास बात ये है कि हेलिना मिसाइल हर तरह के मौसम में काम करती है. ये दिन और रात नहीं देखती है और अपने टारगेट को तबाह करने की क्षमता रखती है. दुश्मन को आसानी से इस मिसाइल से हिट किया जा सकता है. ये आसमान से भी हमला करने के काबिल है. इसके एयरफोर्स वर्जन को धुव्रास्त्र का नाम दिया गया है.