भुगतान करने के लिए क्रेडिट कार्ड या फोन लेकर जाने का झंझट खत्म, अब चेहरा देखकर होगी पेमेंट

अब आप केवल कैमरा देखकर,अपनी पहचान प्रमाणित कर सकते हैं और फिर लेन-देन भी आसानी से कर सकते हैं. सुनने में ये आपको कुछ अजीब जरूर लग सकता है,मगर अब ऐसा संभव है. चेहरे की पहचान भुगतान प्रणाली ( facial recognition payment systems)का विचार कोविड -19 महामारी के दौरान आया.

Contactless payments helped consumers keep safe during pandemic. Photo- (Vision Labs)s
सुरभि शुक्ला
  • नई दिल्ली,
  • 26 अक्टूबर 2021,
  • अपडेटेड 10:25 AM IST
  • चेहरे की पहचान से होगा भुगतान
  • पिन नंबर भी दर्ज करने की जरूरत नहीं 

सोच कर देखिए,आप सुपर्मार्केट शॉपिंग करने गए हैं, लेकिन अपना फोन और क्रेडिट कार्ड घर पर ही भूल गए. ऐसे में आप क्या करेंगे? आप या तो घर वापस आ जाएंगे या फिर कहीं से भी पैसे का इंतजाम करने की बात सोचेंगे. मगर क्या आपने कभी सोचा है कि अगर आपका भुगतान बिना किसी झंझट के आपका चेहरा देखकर ही हो जाए, तो कैसा होगा? टेक्नोलॉजी बहुत आगे बढ़ चुकी है और हम कैशलेस से डिजिटल हो गए हैं. अब इसी में एक कदम और आगे बढ़कर हम और स्मार्टनेस की ओर बढ़ रहे हैं. 

अब आप केवल कैमरा देखकर,अपनी पहचान प्रमाणित कर सकते हैं और फिर लेन-देन भी आसानी से कर सकते हैं. सुनने में ये आपको कुछ अजीब जरूर लग सकता है,मगर अब ऐसा संभव है.

चेहरे की पहचान से होगा भुगतान
चेहरे की पहचान भुगतान प्रणाली ( facial recognition payment systems)का विचार कोविड -19 महामारी के दौरान आया. कोरोना महामारी के बाद से बायोमेट्रिक संपर्क रहित भुगतान में तेजी आई. जुनिपर रिसर्च की एक बाजार रिपोर्ट के अनुसार, इस प्रकार के भुगतान करने के मामले में 2020 के सिर्फ 671 मिलियन लोगों की तुलना में 2025 तक वैश्विक स्तर पर इस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करने वाले लोगों की संख्या 1.4 बिलियन से अधिक होगी. यहां चेहरे की पहचान के माध्यम से भुगतान हो जाएगा. 

पिन नंबर भी दर्ज करने की जरूरत नहीं 
संपर्क रहित भुगतान ने कंज्यूमर को कोरोनावायरस महामारी के दौरान सुरक्षित रखने में मदद की. जैसे-जैसे इस तरह के पेमेंट्स पर लोगों को बढ़ावा मिल रहा है इसके बाद से आपको स्मार्टफोन, बैंक कार्ड या किसी भी प्रकार की पहचान करने की कोई आवश्यकता नहीं होगी. यहां तक ​​आपको ​​पिन नंबर भी दर्ज करने की जरूरत नहीं पड़ेगी. 

कैसे करेगा काम?
संपर्क रहित और चेहरे की पहचान आधारित भुगतान को संभव बनाने के लिए,नीदरलैंड की विजनलैब्स नामक एक कंपनी ने हाल ही में एक बायोमेट्रिक भुगतान हार्डवेयर - द विज़नलैब्स LUNA POS टर्मिनल (the VisionLabs LUNA POS Terminal) को लॉन्च करने की घोषणा की.

यह भुगतान टर्मिनल ठीक उसी तरह चेहरे को स्कैन करता है, जिस तरह स्मार्टफोन को अनलॉक करने के लिए चेहरे की पहचान की जाती है. मिलीसेकेंड में चेहरे की टेम्पलेट को पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर या बैंक को पहचान के लिए भेज दिया जाता है. एक एल्गोरिथ्म तब पहचान करता है कि जो लेनदेन कर रहा है वो ग्राहक कौन है? इसी हिसाब से ट्राजेक्शन सफल या विफल होगा. चेहरे की पहचान करने के लिए इस प्रणाली में कुछ एंड प्वाइंट्स बनाए गए हैं, जो किसी व्यक्ति के चेहरे के कुछ चर को मापने में सक्षम होंगे. इसमें व्यक्ति की नाक की चौड़ाई या लंबाई, आंखों के बीच की जगह और आंखों के सॉकेट की गहराई, चीकबोन्स का कंटूर (contour) जैसी चीजों को शामिल किया गया है. इस डेटा का उपयोग करके एक फेसप्रिंट तैयार किया गया है.

स्कैन के बाद अपने आप कट जाएंगे पैसे

फेसप्रिंट का उपयोग करके भुगतान करने के लिए प्रत्येक चेहरे को अपने बैंक खातों से जोड़ना होगा. इसके बाद इस डेटा को प्रमाणीकरण के लिए भुगतान टर्मिनल द्वारा मिलान किया जाता है.अब नकद या यूपीआई ऐप के माध्यम से भुगतान करने के बजाए उपभोक्ता भुगतान टर्मिनल पर लगे स्क्रीन पर अपने चेहरे को स्कैन कर सकते हैं और उनके लिंक किए गए खातों से स्वचालित रूप से पैसे काट लिए जाएंगे. 

लोगों ने अपेक्षा से ऊपर जाकर अपनाया
विज़नलैब्स के ग्लोबल बिजनेस डेवलपमेंट डायरेक्टर एंटोन नज़रकिन ने कहा,“हमने 2019 में बिना क्रेडिट कार्ड सपोर्ट के फर्स्ट जेनरेशन LUNA POS को पेश किया, ताकि फेस-आधारित भुगतान प्रक्रिया को आजमाया जा सके. इस दौरान हमने पाया कि लोगों ने इस तकनीक को हमारी अपेक्षा से भी ऊपर जाकर अपनाया. हमने फेस पेमेंट में 40 प्रतिशत अधिक भुगतान देखा और इसका इस्तेमाल करने में ज्यादातर विभिन्न प्रकार के प्रमुख राष्ट्रीय बैंकों और खुदरा विक्रेता शामिल थे."

क्या ये सुरक्षित है?
फेशियल रिकग्निशन-आधारित भुगतान तकनीक की सेफ्टी को लेकर कई सवाल उठ रहे हैं कि अगर कोई इसे टैंपर कर लेता है या इसमें कोई स्कैम पाया गया तो उससे कैसे निपटा जाएगा? इस बात पर कंपनी ने अपनी सफाई दी और कहा कि इस तरह के ख्याल लाना बिल्कुल गलत है. कार्ड की प्रमाणिकता जांचना फिर भी कठिन है कि सामने खड़ा व्यक्ति कार्डहोल्डर है भी या नहीं? वहीं इसके विपरीत, चेहरे की पहचान भुगतान के साथ वास्तविक समय में भुगतानकर्ता की वास्तविक पहचान की पुष्टि की जाती है.

 

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