एक भयावह घटना ने पूरी एकेडमिक कम्युनिटी को हिलाकर रख दिया है. आंध्र प्रदेश के कृष्णा जिले में गुडलावलेरु कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग के गर्ल्स हॉस्टल के वॉशरूम में एक छिपा हुआ कैमरा मिला है. इसके बाद से ही लगातार छात्राएं विरोध प्रदर्शन कर रही हैं.
लड़कियों के वॉशरूम में छिपे हुए कैमरे का इस्तेमाल कथित तौर पर 300 से अधिक वीडियो रिकॉर्ड करने के लिए किया गया था. ये वीडियो कथित तौर पर लड़कों के हॉस्टल में छात्रों के बीच शेयर की गईं. इसे लेकर आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं.
इस घटना ने प्राइवेसी और लड़कियों की सेफ्टी को लेकर कहीं न कहीं सवाल खड़ा कर दिया है. हॉस्टल या होटल के कमरों जैसे निजी स्थानों में छिपे हुए कैमरों की मौजूदगी से व्यक्तिगत सुरक्षा और गोपनीयता को लेकर बेहद छिड़ गई है.
छिपे हुए कैमरों का पता लगाना जरूरी
ऐसे दौर में जहाँ टेक्नोलॉजी वरदान और अभिशाप दोनों साबित हुई है, व्यक्तिगत गोपनीयता एक बड़ी चुनौती बन गई है. लेकिन होटल के कमरे से लेकर किराए की प्रॉपर्टी या हॉस्टल ये कैमरे कहीं भी हो सकते हैं. लेकिन अगर थोड़ा सा सजग रहा जाए तो इनका पता आसानी से लगाया जा सकता है.
सबसे जरूरी है कि आप अपने आस-पास की जगह को जरूर देखें. कोई भी ऐसी चीज जो आपको असामान्य या बेमेल लग रही है उसकी तुरंत जांच करें. खासकर उन जगहों में जहां छिपे हुए कैमरे लगे हो सकते हैं, जैसे कि शीशा, स्मोक डिटेक्टर या बिजली के आउटलेट के पीछे. उन चीजों पर ध्यान दें जो थोड़ी बेमेल लगती हैं या जिनमें असामान्य फिटिंग होती है. आप और कई तरीकों से इनकी जांच कर सकते हैं-
1. फ्लैशलाइट से ढूंढे कैमरा
आप कैमरा ढूंढने के लिए फ्लैशलाइट का भी सहारा ले सकते हैं. कमरे के चारों ओर फ्लैशलाइट चमकाएं, अंधेरे कोनों और कम दिखाई देने वाली जगहों पर ज्यादा फोकस करें. कैमरे के लेंस दूसरी चीजों की तुलना में ज्यादा रिफ्लेक्ट होते हैं. इससे आप पहचान सकते हैं कि वहां कैमरा है या नहीं.
2. स्मार्टफ़ोन ऐप का ले सकते हैं सहारा
छिपे हुए कैमरों का पता लगाने के लिए कुछ डिजाइन किए गए स्मार्टफोन ऐप भी हैं. कमरे को स्कैन करने और एबनॉर्मल लाइट के किसी भी स्रोत की पहचान करने के लिए इन ऐप का उपयोग करें. ये ऐप विशेष रूप से उन कैमरों का पता लगाने के लिए उपयोगी हो सकते हैं.
3. आरएफ डिटेक्टर भी है कारगर
कैमरों से निकलने वाले वायरलेस सिग्नल का पता लगाने के लिए पोर्टेबल रेडियो फ़्रीक्वेंसी (RF) डिटेक्टर का उपयोग करने पर विचार करें.
4. तारों या केबलों की जांच करें
कमरे में किसी भी संदिग्ध तार या केबल की जांच करें. छिपे हुए कैमरों को अक्सर बिजली के स्रोत या रिकॉर्डिंग डिवाइस से कनेक्शन की जरूरत होती है, इसलिए किसी भी ऐसे तार की तलाश करें जो जगह से बाहर लगे हैं.
5. वाई-फाई नेटवर्क स्कैनर
अपरिचित स्थानों पर सार्वजनिक वाई-फाई नेटवर्क से कनेक्ट होने से बचें. इसके बजाय, आस-पास के सभी एक्टिव नेटवर्क की पहचान करने के लिए वाई-फाई नेटवर्क स्कैनर का उपयोग करें. यह आपको किसी भी संदिग्ध नेटवर्क को पहचानने में मदद कर सकता है जो छिपे हुए सर्विलांस डिवाइस से जुड़े हो सकते हैं.
6. खुद करें पहचान
ऐसी चीजों को टैप करें या हल्के से छुएं जो संभावित रूप से कैमरे को छिपा सकती हैं, जैसे कि दीवार पर लटकी हुई चीजें, सजावट का सामान या इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस. अगर आपको कोई खोखली आवाज आ रही है तो समझिए उसमे कैमरा है.
7. एक्सपर्ट से पूछें
अगर आपको गंभीर चिंता है या निगरानी का संदेह है, तो होटल सिक्योरिटी से सलाह लें या किसी प्रोफेशनल एक्सपर्ट से बात करें. वे कमरे की पूरी तरह से जांच कर सकते हैं और छिपे हुए सर्विलांस डिवाइस को ढूंढ सकते हैं.
सक्रिय कदम उठाकर और सतर्क रहकर, हम सभी को एक सुरक्षित माहौल दे सकते हैं.