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Nagaland Hornbill Festival Tour: त्योहारों का त्योहार है हॉर्नबिल फेस्टिवल, Tribe Culture जानने के लिए बेस्ट, कैसे करें नागालैंड के इस अनोखी दुनिया की यात्रा, जानिए सब कुछ

ऋषभ देव
  • नई दिल्ली,
  • 07 दिसंबर 2024,
  • Updated 8:02 PM IST
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भारत अनोखी जगहों और अनोखे रंगों से भरा हुआ है. देश में कई शानदार जगह हैं. यदि इस साल किसी अनोखी जगह पर जाना चाहते हैं तो हॉर्नबिल फेस्टिवल (Hornbill Festival Nagaland) का प्लान बना लीजिए. नागालैंड का हॉर्नबिल फेस्टिवल भारत के सबसे कलरफुल फेस्टिवल में से एक है.

नागालैंड को आदिवासी संस्कृति के लिए जाना जाता है. नागालैंड में एक जगह पर इस राज्य का पूरी संस्कृति देखनी हो तो हॉर्नबिल फेस्टिवल ही वो जगह है. नागालैंड का हॉर्नबिल फेस्टिवल कितने दिन तक चलता है?  हॉर्नबिल फेस्टिवल नागालैंड में कहां होता है? आइए इस बारे में अच्छे से जानते हैं.

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कब होता है फेस्टिवल?
हॉर्नबिल फेस्टिवल साल में एक बार होने वाला महोत्सव है. ये फेस्टिवल एक-दो दिन नहीं पूरे 10 दिन चलता है. फेस्टिवल में हर रोज कुछ न कुछ होता रहता है. किसी भी दिन आपको बोरियत फील नहीं होगी. हॉर्नबिल फेस्टिवल हर साल 1 दिसंबर से 10 दिसंबर तक होता है. आदिवासी संस्कृति और खानपान को जानने के लिए ये फेस्टिवल शानदार है.  

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क्यों मनाते हैं हॉर्नबिल फेस्टिवल?
नागालैंड राज्य की स्थापना 1 दिसंबर 1963 को हुई थी. नागालैंड को नागा आदिवासियों के लिए जाना जाता है. इस फेस्टिवल को एक तरह से राज्य की स्थापना के लिए मनाया जाता है. 10 दिन तक चलने वाले इस फेस्टिवल में नागा आदिवासियों के संस्कृति और परंपराओं से दुनिया को परिचित कराया जाता है.

हॉर्नबिल फेस्टिवल पहली बार 1 दिसंबर 2000 को मनाया गया था. तब से हर साल सरकार की ओर से 10 दिन का हॉर्नबिल फेस्टिवल का आयोजन किया जाता है. हाल के सालों में ये फेस्टिवल काफी फेमस हुआ है. लोग बड़ी संख्या में इस फेस्टिवल को देखने के लिए आते हैं. सिर्फ इंडिया ही नहीं विदेश से भी लोग हॉर्नबिल फेस्टिवल का हिस्सा बनने आते हैं.

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पक्षी के नाम पर फेस्टिवल
हॉर्नबिल फेस्टिवल का नाम नागालैंड के एक पक्षी (Hornbill Bird Nagaland) पर रखा गया है. नागालैंड का राष्ट्रीय पक्षी ब्लिथ ट्रैगोपेन है. राष्ट्रीय पक्षी होने के बावजूद नागालैंड का सबसे बड़ा फेस्टिवल इसके नाम पर नहीं है. नागालैंड का फेस्टिवल हॉर्नबिल पक्षी के नाम पर है.

हॉर्नबिल नागा आदिवासियों के लिए काफी पवित्र माना जाता है. इसे धनेश बर्ड भी कहा जाता है. माना जाता है कि इसे देखने भर में पैसों की बारिश होने लगती है. नागालैंड में हॉर्नबिल पक्षी देखने को मिल सकता है.

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परमिट बिना नो एंट्री
नागालैंड का हॉर्नबिल फेस्टिवल किसामा गांव में मनाया जाता है. किसामा गांव (Kisama Village Nagaland) कोहिमा से सिर्फ 10-12 किमी. दूर है. कुछ ही मिनटों में आप कोहिमा से किसामा पहुंच जाएंगे. इस फेस्टिवल में जाने के लिए इनरलाइन परमिट लेना पड़ता है.

इनर लाइन परमिट (Nagaland Permit) नागालैंड सरकार की वेबसाइट से ले सकते हैं. इसके अलावा ऑफलाइन परमिट गुवाहटी, दीमापुर और कोलकाता में डिप्टी कमिश्नर ऑफिस से ले सकते हैं. परमिट लेने के लिए फीस और पहचान पत्र देना पड़ता है. नागालैंड जाएं तो अपने पास ये परमिट और पहचान पत्र जरूर रखें.

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फेस्टिवल में क्या-क्या?
नागालैंड के इस फेस्टिवल को उत्सवों का उत्सव कहा जाता है. हर दिन इस फेस्टिवल में कई सारे फेस्टिवल होते हैं. आदिवासी लोग कई सारी कल्चरल प्रोग्राम करते हैं. इसमें नागा डांस देखने को मिलेंगे. इसके अलावा म्यूजिक, पारंपरिक खेल और युद्ध की पुरानी तकनीक भी देखने को मिलगी. 

इस फेस्टिवल में अलग ही अनुभव मिलेगा. फेस्टिवल काफी बड़ा होता है इसलिए इसमें एंट्री के 16 गेट होते हैं. इस फेस्टिवल में नागा मोरुंग्स प्रदर्शनी भी होती है. मोरुंग्स नागाओं की पारंपरिक टोपी होती है. इसे लोग यहां पर खरीद भी सकते हैं. इसके अलावा यहां की लोकल आइटम की खरीदारी भी कर सकते हैं.

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रॉक कॉन्टेस्ट
हॉर्नबिल फेस्टिवल में इंटरनेशनल रॉक कॉन्टेस्ट भी होता है. इस कॉन्टेस्ट में सबसे ज्यादा भीड़ देखने को मिलती है. देश और दुनिया से कई सारे रॉक बैंड्स आते हैं और परफॉर्म करते हैं. जो सबसले अच्छा परफॉर्म करते हैं उसे कैश प्राइज भी मिलता है. म्यूजिक लवर्स के लिए ये कॉन्टेस्ट किसी जन्नत से कम नहीं होता है.

हॉर्नबिल फेस्टिवल में ऐसे ही कई सारे कॉन्टेस्ट होते हैं. सैलानियों के लिए यहां एक कॉन्टेस्ट होता है. इसमें फेस्टिवल देखने आए लोग हिस्सा लेते हैं. उन लोगों को ज्यादा से ज्यादा तीखी मिर्च खानी होती है. बहुत सारे लोग इसमें हिस्सा लेते हैं.

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विलेज टूर
हॉर्नबिल फेस्टिवल के दौरान विलेज टूर हेरिटेज वॉक भी कराई जाती है. इस दौरान सैलानी इस गांव की सुंदरतो को देख पाते हैं. साथ में नागाओं का इतिहास और उनकी संस्कृति को भी करीब से जान पाते हैं.

इसके अलावा हॉर्नबिल फेस्टिवल अपने लोकल फूड के लिए भी जाना जाता है. इस फेस्टिवल में नागालैंड का लोकल जायका ले सकते हैं. फेस्टिवल में कई सारे फूड स्टॉल लगे होते हैं. इसमें स्मोक मीट, बंबू शूट करी और नागा चिली सॉस का स्वाद ले सकते है. 

इसके अलावा नागाओं की स्थानीय शराब भी पी सकते हैं. इसके अलावा भी इस फेस्टिवल में कई सारी चीजें होती हैं. जब आप वहां जाएंगे तो इस फेस्टिवल की सुंदरता को फील कर पाएंगे.

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कैसे पहु्ंचें?
फ्लाइट से: हॉर्नबिल फेस्टिवल में शामिल होने के लिए फ्लाइट से आने का प्लान बना रहे हैं तो सबसे नजदीक दीमापुर एयरपोर्ट है. दीमापुर से कोहिमा 70 और कासिमा गांव 82 किमी. है. एयरपोर्ट से टैक्सी लेकर कोहिमा पहुंच सकते हैं.

ट्रेन से: किसामा गांव से सबसे पास में दीमापुर रेलवे स्टेशन है. दीमापुर रेलवे स्टेशन से वाया रोड कोहिमा और फिर हॉर्नबिल फेस्टिवल के लिए किसामा गांव जा सकते हैं.

वाया रोड: नागालैंड रोड अच्छी है और कनेक्टविटी भी अच्छी है. पब्लिक ट्रांसपोर्ट से कोहिमा पहुंच सकते हैं. इसके अलावा अगर आपके पास खुद की गाड़ी हो तो उससे भी कोहिमा और किसामा आराम से पहुंच जाएंगे.