जब भी देश से बाहर हमें ट्रिप पर जाने का मौका मिलता है तो ज्यादातर लोग थाईलैंड घूमने जाते हैं. थाईलैंड बहुत ही खूबसूरत है. लेकिन क्या आपको पता है कि थाईलैंड का भारत से बहुत गहरा रिश्ता है और यह रिश्ता रामजी के साथ जुड़ा हुआ है. दरअसल, थाईलैंड का पुराना नाम 'सियाम' है और साल 1948 में इसका नाम थाईलैंड पड़ा.
यह देश बौद्ध धर्म के लिए जाना जाता है लेकिन यहां राम भगवान की भी पूजा होती है. यहां का राजपरिवार खुद को श्रीराम के बेटे कुश के वंशज मानते हैं. थाईलैंड में अयोध्या की तरह एक एतिहासिक नगरी है जिसे अयुत्या कहा जाता है. उनके धार्मिक ग्रंथ का नाम राम कियेन है जो रामायण का थाई वर्जन है.
हालांकि, बहुत से भारतीयों को यह सब नहीं पता होगा लेकिन एक बात है जो सबको पता है और वह है यहां का टूरिज्म. थाईलैंड के एक शहर से हर कोई वाकिफ है और वह है यहां की राजधानी बैंकॉक. लेकिन आज हम बैंकॉक के बारे में ऐसा कुछ बता रहे हैं जो शायद आपने कभी नहीं सुना होगा.
1767 में थाईलैंड की राजधानी बना यह शहर
बैंकॉक थाईलैंड की राजधानी है. यह 10 मिलियन से ज्यादा लोगों का घर है. बैंकॉक देश का एकमात्र प्रमुख शहर है. थाईलैंड ज्यादातर छोटे शहरों और गांवों से बना है. बैंकॉक 1767 में थाईलैंड की राजधानी बना.
तब से यह देश का सांस्कृतिक और ऐतिहासिक केंद्र रहा है। यह चाओ फ्राया के किनारे बसा है, जो दक्षिणपूर्वी एशिया की सबसे महत्वपूर्ण नदियों में से एक है. बैंकॉक, थाईलैंड के कॉमर्स का भी एक प्रमुख केंद्र है. पिछले कई सौ वर्षों में यह एक बड़े आधुनिक शहर के रूप में विकसित हो गया है.
गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में नाम शामिल
आपको शायद यह न पता हो कि बहुत ही अनोखी बात के लिए बैंकॉक का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में शामिल है. गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स के अनुसार, बैंकॉक शहर के पूर्ण औपचारिक नाम का एक छोटा वर्जन है. तो फिर इस शहर का पूरा नाम क्या है?
बैंकाक का पूरा नाम है, 'क्रुंग देवमहानगर अमररत्नकोसिन्द्र महिन्द्रायुध्या महातिलकभव नवरत्नराजधानी पुरीरम्य उत्तमराजनिवेशन महास्थान अमरविमान अवतारस्थित्य शक्रदत्तिय विष्णुकर्मप्रसिद्धि.' यह नाम संस्कृत और पाली भाषा से मिलकर बना है. बैंकॉक नाम अंग्रेजी भाषा का नाम है. इसलिए इस शहर के नाम किसी स्थान के सबसे लंबे नाम का विश्व रिकॉर्ड है. यह नाम इतना बड़ा है कि आप इसे ठीक से बोल भी नहीं पाएंगे.