ब्रिटेन ने भारत को अपने सेफ देशों की लिस्ट में शामिल किया है. इसका उद्देश्य देश के अवैध प्रवासियों के लिए शरण के अधिकार सीमित करना है. बुधवार को ब्रिटेन ने भारत को अपने सुरक्षित राज्यों की लिस्ट में जोड़ने की घोषणा की है. ब्रिटेन के मुताबिक, इस कदम से ब्रिटेन में अवैध रूप से यात्रा करने वाले भारतीयों की वापसी की प्रक्रिया तेज हो जाएगी. इतना ही नहीं बल्कि उनकी ब्रिटेन में शरण मांगने की संभावना भी खत्म हो जाएगी.
ड्राफ्ट किया है जारी
‘हाउस ऑफ कॉमंस’ में अभी इस कानून को लेकर केवल ड्राफ्ट जारी किया है. ब्रिटेन के गृह मंत्री सुएला ब्रेवरमैन ने इसे लेकर कहा, "हमें मौलिक रूप से सुरक्षित देशों से ब्रिटेन की खतरनाक और अवैध यात्रा करने वाले लोगों को रोकना चाहिए."
उन्होंने आगे कहा, “इस लिस्ट को बढ़ाने से उन लोगों को हटाने में मदद मिलेगी जिनके पास ब्रिटेन में रहने का अधिकार नहीं है. इसका मतलब है कि अगर कोई ब्रिटेन में अवैध रूप से रह रहा है तो वह नहीं रह पाएगा. हम उनके खिलाफ कड़ी नीतियां बना रहे हैं.
भारत के लिए इसका क्या मतलब है?
भारत को सुरक्षित राज्यों की लिस्ट में शामिल करने का मतलब है कि यूके सरकार भारत को आमतौर पर सुरक्षित, स्थिर और व्यापक मानवाधिकारों के हनन से मुक्त मानती है, जिससे ब्रिटेन में शरण मांगने की उनकी संभावना खारिज हो जाती है. परिणामस्वरूप, जो भारतीय अवैध रूप से ब्रिटेन की यात्रा करते हैं, उनके ब्रिटेन में शरण मांगने की संभावना कम हो जाएगी.
इस कानून की मदद से ब्रिटेन में अवैध रूप से प्रवेश करने वाले व्यक्तियों को हिरासत में लेने और शीघ्रता से सुरक्षित तीसरे देश या उनके मूल देश में वापस भेजा जा सकेगा.
कौन से देश हैं इसमें शामिल?
भारत के अलावा, यूके होम ऑफिस ने जॉर्जिया को अपनी सुरक्षित राज्यों की सूची में जोड़ने का फैसला किया है. यूके द्वारा सुरक्षित समझे जाने वाले दूसरे देशों में अल्बानिया और स्विट्जरलैंड, साथ ही यूरोपीय संघ (ईयू) और यूरोपीय आर्थिक क्षेत्र (ईईए) राज्य शामिल हैं.
हालांकि, अभी केवल इसका ड्राफ्ट जारी हुआ है. लागू होने से पहले ये संसद के दोनों सदनों में बहस से गुजरेगा.