सउदी अरब ने रेनबो कलर के खिलौनों पर लगाया बैन, जानिए क्या है इसके पीछे की वजह

समलैंगिकता सऊदी अरब में कैपिटल अपराध है, यानी कि अगर किसी की समलैंगिकता के बारे में पता चलता है तो उसे मृत्युदंड दिया जाता है. सऊदी में इस्लामिक शरिया कानून को सख्ती से पालन न करने वाले को ये दंड दिया जाता है.

सउदी अरब
gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 16 जून 2022,
  • अपडेटेड 12:43 PM IST
  • सरकार ने बैन कर दिए रेनबो कलर के खिलौने 
  • डिज्नी की फिल्म पर भी लगाई रोक

सऊदी अरब में समलैंगिकता यानी होमोसेक्सुएलिटी को कैपिटल अपराध माना जाता है. इसी के मद्देनजर सऊदी सरकार ने सभी रेनबो (Rainbow) कलर के खिलौनों और कपड़ों पर बैन लगा दिया है. दरअसल सऊदी  सरकार का मानना है कि इन रंग की चीजों से बच्चों पर गलत असर जाएगा. 

सरकार ने बैन कर दिए रेनबो कलर के खिलौने 
देश के अल-एखबरिया न्यूज चैनल ने मंगलवार शाम को एक रिपोर्ट प्रसारित की थी, जिसके अनुसार, रेनबो के रंग की बो-टाई, स्कर्ट, टोपी और पेंसिल जैसी चीजें सरकार ने बैन कर दी हैं, क्योंकि इनमें से ज्यादातर चीजों का इस्तेमाल बच्चे करते हैं. इस कैंपेन से जुड़ें कॉमर्स मिनिस्ट्री के एक अधिकारी का कहना है, ''हम उन चीजों पर गौर कर रहे हैं जो इस्लामी आस्था और सार्वजनिक नैतिकता के विपरीत हैं और युवा पीढ़ी को निशाना बनाकर समलैंगिक रंगों को बढ़ावा देते हैं.'' इस रिपोर्ट में ये भी कहा गया है कि इस तरह की चीजें बच्चों में एक बच्चों को "जहरीला संदेश" देता है.

डिज्नी की फिल्म पर भी लगाई रोक
समलैंगिकता सऊदी अरब में कैपिटल अपराध है, यानी कि अगर किसी की समलैंगिकता के बारे में पता चलता है तो उसे मृत्युदंड दिया जाता है. सऊदी में इस्लामिक शरिया कानून को सख्ती से पालन न करने वाले को ये दंड दिया जाता है. इतना ही नहीं सऊदी अरब ने अप्रैल में डिज्नी की नई फिल्म  "डॉक्टर स्ट्रेंज इन द मल्टीवर्स ऑफ मैडनेस" से एलजीबीटीक्यू रेफरेंस हटाने के लिए कहा था. हालांकि डिज्नी ने इससे इनकार कर दिया था. फिर आखिरकार सऊदी अरब ने अपने सिनेमाघरों में फिल्म की रिलीज को रोक दिया था. 

फिल्म "लाइटियर" पर भी लगा था प्रतिबंध
डिज़नी के एक करीबी सूत्र ने मंगलवार को एएफपी को बताया कि, डिज्नी की एनीमेशन फिल्म "लाइटियर" में एक सेम सेक्स किस होने के कारण सऊदी अरब और एक दर्जन से अधिक अन्य देशों में भी प्रतिबंधित कर दिया गया है. हालांकि रियाद ने उस फिल्म पर कोई टिप्पणी नहीं की है. रिपोर्ट में ये विस्तार में नहीं बताया गया है कि कॉमर्स मिनिस्ट्री के अभियान ने कितनी जगहों या फिर कितनी चीजों को अपने अभियान को निशाना बनाया है. 

 

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