बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक के दौरान केंद्रीय मंत्रिमंडल ने एक बड़ा ऐलान किया है. बैठक के दौरान भारत ब्रॉडबैंड नेटवर्क लिमिटेड (बीबीएनएल) के राज्य के स्वामित्व वाली दूरसंचार ऑपरेटर भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) में विलय को मंजूरी दे दी. विलय के साथ, BSNL के पुनरुद्धार के लिए 1.64 लाख करोड़ रुपये के पैकेज का ऐलान किया गया है. बता दें कि इस फैसले के साथ ही बीएसएनएल को अतिरिक्त 5.67 लाख किलोमीटर ऑप्टिकल फाइबर मिलेगा, जिसे यूनिवर्सल सर्विस ऑब्लिगेशन फंड (यूएसओएफ) का इस्तेमाल करके देश के अलग-अलग देश के ग्राम पंचायतों में रखा जाएगा.
इन प्रस्तावों पर भी सरकार की मुहर
कैबिनेट ने इसके साथ ही BSNL/MTNL डेट रीस्ट्रक्चरिंग प्रस्ताव को भी अपनी मंजूरी दे दी है. इसके तहत बीएसएनएल ऑप्टिकल फाइबर नेटवर्क का विस्तार करने के साथ सेवाओं में भी सुधार किया जाएगा. नए प्रस्ताव के तहत कैबिनेट ने 33,000 करोड़ रुपये के वैधानिक बकाया को इक्विटी में बदलने का फैसला किया है.
4जी सेवाएं शुरू की जा सकेंगी
इसके अलावा 4जी सेवाओं को शुरू करने के साथ वित्तीय रूप से भी मदद बेहद सक्षम होगा. वहीं अब इस फैसले के साथ बीएसएनएल सरकार की एक कार्यकारी शाखा के रूप में काम करेगी. और संपत्ति का स्वामित्व सरकार के पास रहेगा. बता दें कि बीबीएनएल के पास 200 से कम का कार्यबल है.