जोखिम उठाने से घबराते नहीं और हार नहीं मानने का जज्बा हो तो ही बिजनेस में उतरना चाहिए. अमित कुमत भी एक ऐसा ही नाम है. इन्होंने जब पहली बार बिजनेस में हाथ डाला तो असफलता हाथ लगी. करोड़ों रुपए डूब गए. लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. एक बार फिर उन्होंने शुरुआत करने की ठान ली. अपने भाई और एक दोस्त के साथ मिलकर अमित ने स्नैक्स कारोबार में किस्मत आजमाने का फैसला किया. इस बार अमित कुमत को बड़ी सफलता मिली और आज वो करोड़ों की कंपनी प्रताप स्नैक्स लिमिटेड के फाउंडर और CEO हैं. चलिए उनकी कहानी बताते हैं.
पहली बार कारोबार में मिली असफलता-
अमित कुमत ने अमेरिका के साउथ वेस्टर्न लुइसियाना विश्वविद्यालय से साइंस में पोस्ट ग्रेजुएशन किया है. उन्होंने अपने बिजनेस करियर की शुरुआत केमिकल बनाने से किया था. लेकिन उनको इस बिजनेस में काफी नुकसान हुआ. एक साल उनपर 6 करोड़ का कर्ज हो गया. इतने बड़े नुकसान के बाद भी उन्होंने हारी नहीं मानी और एक बार फिर से बिजनेस में किस्मत आजमाने का फैसला किया. इसके लिए उनको पैसों की जरूरत थी. उन्होंने इसके लिए फैमिली को तैयार किया और फिर से मैदान में उतर गए.
स्नैक्स के कारोबार में उतरे अमित-
अमित कुमत ने साल 2002 में मध्य प्रदेश के इंदौर में स्नैक्स का कारोबार शुरू किया. इसमें अमित को उनके भाई अपूर्व कुमत और दोस्त अरविंद मेहता का साथ मिला. अमित ने इस बिजनेस के लिए फैमिली से 15 लाख रुपए लिए थे. शुरुआत में वो चीज बॉल्स बनाकर बेचते थे. इसके बाद धीरे-धीरे कारोबार को आगे बढ़ाया.
प्रताप स्नैक्स लिमिटेड की शुरुआत-
धीरे-धीरे अमित कुमत के स्नैक्स की डिमांड बढ़ने लगी. इसके बाद साल 2003 में तीनों ने मिलकर प्रताप स्नैक्स लिमिटेड की शुरुआत की. कंपनी आलू के चिप्स, नमकीन बनाना शुरू किया था. यह कंपनी येलो डायमंड ब्रांड के नाम से फेमस है.
हजारों करोड़ का खड़ा किया कारोबार-
जब इस कंपनी की शुरुआत हुई थी तो इसमें 3 कर्मचारी थे. लेकिन आज 750 कर्मचारी कंपनी से सीधे जुड़े हैं. जबकि 3000 से ज्यादा अप्रत्यक्ष तौर पर जुड़े हैं. कंपनी का डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क 24 राज्यों और एक केंद्रशासित प्रदेश में फैला है. साल 2022 वित्तीय वर्ष में प्रताप स्नैक्स का रेवेन्यू 500 करोड़ रुपए से ज्यादा था. फिलहाल कंपनी का मार्केट कैपिटल 2300 करोड़ से ज्यादा है.
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