उत्तर प्रदेश के बस्ती में रहने वाले अली अहमद एक प्रगतिशील किसान हैं. हालांकि, उनके पास अपनी कोई ज्यादा जमीन नहीं है बल्कि वह जमीन लीज पर लेकर खेती कर रहे हैं और अच्छा कमा रहे हैं. हर साल अली प्रति हेक्टेयर 50 हजार सालाना में कुछ जमीन लीज पर लेते हैं.
इस जमीन पर उन्होंने खेती का कुछ ऐसा मॉडल बनाया है कि लोग सुनते हैं तो हैरान रह जाते हैं. किसी को यकीन नहीं आता कि कोई लीज की जमीन पर सालाना 10 लाख रुपए की आमदनी कैसे कर सकता है.
फल-सब्जियों के साथ मधुमक्खी पालन भी
5 हेक्टेयर की जमीन पर अली अहमद केला, टमाटर व अन्य सब्जियों की खेती के साथ मधुमक्खी पालन भी कर रहे हैं. वह खुद शहद तैयार करते हैं. उनका कहना है कि तीन कुन्तल शहद उनके फार्म से ही क्षेत्र के लोग तीन सौ रूपये किलो के रेट से खरीद लेते हैं. और केले व सब्जियों की पैदावार के लिए अली अहमद को मंडी से जहां भी अच्छा रेट मिलता है, वहीं बेच देते हैं.
लागत को किया कम तो बढ़ी आमदनी
आमदनी बढ़ाने के लिए अली ने अपनी खेती की लागत को कम करने पर ध्यान दिया. खेतों की सिंचाई का काम अली अहमद सोलर पैनल से चलने वाले मोटर से लेते हैं. अली अहमद का कहना है कि अपने आस-पड़ोस के खेत सींचकर उनकी सोलर प्लांट की लागत भी निकल चुकी है.
खेत ठीक करने के लिए उनके पास हस्त संचालित पावर ट्रैक्टर है और शहद निकालने के लिए उन्होंने अपना संयत्र लगा रखा है. खेती के लिे उन्हें जिला, राज्य और राष्ट्रीय स्तर के पुरस्कार व सम्मान मिले हैं.
(मिस्बा उस्मानी की रिपोर्ट)