

राजस्थान के बांसवाड़ा की चुनावी रैली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान पर सियासी घमासान मचा है. पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस सत्ता में आई तो देश की संपत्ति उन लोगों को बांट देगी, जिनके ज्यादा बच्चे हैं. पीएम मोदी ने इस दौरान पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह के एक बयान का जिक्र किया. जिसमें पूर्व पीएम ने देश के संसाधनों पर पहला अधिकार मुसलमानों का बतया था. हालांकि बाद में पीएमओ की तरफ से पूर्व पीएम के बयान पर सफाई भी दी गई थी.
मुसलमानों पर पीएम मोदी ने क्या कहा-
लोकसभा चुनाव 2024 की चुनावी सभा में पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस का मेनिफेस्टो देख लीजिए. कांग्रेस ने मेनिफेस्टो में जो कहा है, वो चिंताजनक है, गंभीर है. ये माओवाद की सोच को धरती पर उतारने की उनकी कोशिश है. उन्होंने कहा है कि अगर कांग्रेस की सरकार बनेगी तो हर एक की प्रॉपर्टी का सर्वे किया जाएगा. हमारी बहनों के पास सोना कितना है? उसकी जांच की जाएगी. उसका हिसाब लगाया जाएगा. हमारे आदिवासी परिवारों में चांदी होती है, उसका हिसाब लगाया जाएगा. सरकारी मुलाजिमों के पास कितना जगह है, क्या है, पैसे कहां है, नौकरी कहां है, उसकी जांच की जाएगी. इतना ही नहीं, आगे क्या कहा है? जो गोल्ड है बहनों का, और जो संपत्ति है, इन सबको समान रूप से वितरित कर दी जाएगी. क्या आपको मंजूर है क्या? आपकी संपत्ति सरकार को ऐंठने का अधिकार है क्या? मेरी माताओं-बहनों की जिंदगी में सोना सिर्फ दिखावे के लिए नहीं होता है, उसकी स्वाभिमान से जुड़ा हुआ है, उसका मंगलसूत्र एक सोने की कीमत का मुद्दा नहीं है, उसकी जीवन के सपनों से जुड़ा मुद्दा है. तुम उसे छीनने की बात कर रहे हो, मेनिफेस्टो में.
पीएम मोदी ने आगे कहा कि सब ले लेंगे और सबको वितरित कर देंगे और पहले जब उनकी सरकार थी, तो उन्होंने कहा था कि देश के संपत्ति पर पहला अधिकार मुसलमानों का है. इसका मतलब ये संपत्ति इकट्ठा करके किसको बांटेंगे?... जिनके ज्यादा बच्चे हैं, उनको बांटेंगे, घुसपैठियों को बांटेंगे, क्या आपकी मेहनत की कमाई का पैसा घुसपैठियों को दिया जाएगा? आपको मंजूर है ये. ये कांग्रेस का मेनिफेस्टो कह रहा है कि माताओं-बहनों के सोने का हिसाब करेंगे और फिर उस संपत्ति को बांट देंगे. और उनको बांटेंगे, जिनको मनमोहन सिंह की सरकार ने कहा था कि संपत्ति पर पहला अधिकार मुसलमानों का है. ये अर्बन नक्सल की सोच, ये आपका मंगलसूत्र भी बचने नहीं देंगे.
कांग्रेस की अर्बन नक्सल सोच की नजर अब मेरी माताओं-बहनों के मंगलसूत्र पर है। क्या ऐसी कांग्रेस पर मेरे परिवारजन कभी भरोसा करेंगे। pic.twitter.com/sdPRObgbha
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— Narendra Modi (@narendramodi) April 21, 2024
डॉ. मनमोहन सिंह के वायरल वीडियो में क्या था-
डॉ. मनमोहन सिंह का एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें ये दावा किया गया था कि डॉ. मनमोहन सिंह ने देश के संसाधनों पर मुसलमानों का पहला हक होने की बात कही थी. डॉ. मनमोहन सिंह का ये वीडियो 9 दिसंबर 2006 को दिए गए एक भाषण का हिस्सा है. उस वीडियो क्लीप को बीजेपी ने फिर से शेयर किया है. उस वायरल वीडियो में डॉ. मनमोहन सिंह ने कहा था कि हमें यह सुनिश्चित करने के लिए नई योजनाएं बनानी होंगी कि अल्पसंख्यकों, विशेष तौर से मुस्लिम अल्पसंख्यक विकास के लाभों को समान रूप से साझा करने का अधिकार है, संसाधनों पर उनका पहला दावा होना चाहिए.
"We will have to devise innovative plans to ensure that minorities, particularly the Muslim minority, are empowered to share equitably in the fruits of development. They must have the first claim on resources."
— BJP (@BJP4India) April 21, 2024
- Dr Manmohan Singh, 9th Dec, 2006
The Congress doesn’t trust their… https://t.co/MWAf8uP23N pic.twitter.com/EDAKfasXT8
मनमोहन सिंह के बयान पर PMO ने दी थी सफाई-
मुसलमानों पर पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह के बयान पर सियासी हंगामे के बाद 10 दिसंबर 2006 को पीएमओ की तरफ से स्पष्टीकरण दिया गया. उसमें कहा गया था कि पीएम के बयान की जानबूझ कर और शरारतपूर्ण ढंग से गलत व्याख्या करके विवाद पैदा किया गया है. उस पैराग्राफ में अल्पसंख्यक सशक्तिकरण के मुद्दे का उल्लेख किया गया था. जिसमें कहा गया था कि मेरा मानना है कि हमारी सामूहिक प्राथमिकताएं स्प्ष्ट हैं- कृषि, सिंचाई-जल संसाधन, स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्रामीण बुनियादी ढांचे में महत्वपूर्ण निवेश और सामान्य बनियादी ढांचे के लिए जरूरी सार्वजनिक निवेश की जरूरतें, साथ ही अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़े वर्गों के उत्थान के लिए कार्यक्रम, अल्पसंख्यक और महिलाओं, अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के लिए योजनाओं को पुनर्जीवित करने की जरूरत है. हमें नई योजना लाकर ये सुनिश्चित करना होगा कि अल्पसंख्यकों का और खासकर मुस्लिमों का भी उत्थान हो सके, विकास का फायदा मिल सके. उन सभी का संसाधनों का पहला दावा है.
पीएमओ की तरफ से कहा गया था कि प्रधानमंत्री का संसाधनों पर पहले दावे का मतलब सभी प्राथमिकता क्षेत्रों को संदर्भित करना है, जिसमें एससी, एसटी, ओबीसी, महिलाओं, बच्चों और अल्पसंख्यकों के उत्थान कार्यक्रम शामिल हैं.
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