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Lok Sabha Elections 2024: PM Modi के खिलाफ जनता में गुस्सा नहीं... BJP 370 नहीं... जीतेगी इतनी सीटें... फिर बनेगी NDA की सरकार... Prashant Kishore की भविष्यवाणी

Poll Analyst Prashant Kishor Predicts 300 Seats for BJP: पॉलिटिकल स्ट्रैटेजिस्ट प्रशांत किशोर ने कहा कि केंद्र की राजनीति में हैट्रिक लगाने की कोशिश कर रही मोदी सरकार को लेकर न तो जनता में कोई खास नाराजगी है और न ही किसी दूसरे विकल्प की कोई मांग हो रही है. एक बार फिर केंद्र में एनडीए की सरकार बनेगी.

Poll analyst Prashant Kishor Poll analyst Prashant Kishor
हाइलाइट्स
  • जन सुराज पार्टी के मुखिया प्रशांत किशोर बोले- एनडीए को नहीं होगा कोई खास नुकसान

  • मोदी और भाजपा की 10 साल की सरकार को लेकर जनता में है हल्की नाराजगी

लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Elections 2024) के लिए पांच चरणों की वोटिंग हो चुकी है. अभी दो फेज का मतदान बाकी है. चुनाव के नतीजे 4 जून 2024 को घोषित किए जाएंगे. लेकिन अभी से एनडीए (NDA) हो या इंडिया गठबंधन (India Alliance) से जुड़ी पार्टियां सभी अपनी-अपनी जीत का दावा कर रही हैं. इस बीच पॉलिटिकल स्ट्रैटेजिस्ट और जन सुराज पार्टी के मुखिया प्रशांत किशोर (Prashant Kishore) ने ऐसी भविष्यवाणी की है, जिससे केंद्र की सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (BJP) खुश हो सकती है. प्रशांत किशोर का मानना है कि इस बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) के नेतृत्व में केंद्र में एनडीए की सरकार बनेगी.

270 से कम नहीं और 370 तो बिल्कुल नहीं
प्रशांत किशोर ने इंडिया टुडे से एक्सक्लूसिव बात करते हुए कहा कि बीजेपी के लिए अपने दम पर 370 सीटें हासिल करना असंभव है. उन्होंने कहा कि जिस दिन से पीएम मोदी ने कहा कि बीजेपी को 370 सीटें मिलेंगी और एनडीए 400 का आंकड़ा पार करेगा, मैंने कहा कि यह संभव नहीं है. यह सब कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ाने के लिए नारेबाजी है. प्रशांत किशोर ने कहा कि इस लोकसभा चुनाव में बीजेपी को 270 से कम नहीं और 370 तो बिल्कुल नहीं मिलने वाली. उन्होंने कहा कि बीजेपी को लोकसभा चुनाव 2019 में 303 सीटें मिली थी, लेकिन इस बार भी उन्हें इसके आसपास ही सीट मिलेंगी, जो कि 303 सीटें या शायद उससे थोडी बेहतर है. 

प्रशांत किशोर ने कहा कि यदि बीजेपी 275 सीटें जीतती है तो उसके नेता यह नहीं कहेंगे कि हम सरकार नहीं बनाएंगे क्योंकि हमने दावा किया था कि हम 370 जीतेंगे. इसलिए हमें यह देखने की जरूरत है कि क्या उन्हें बहुमत का आंकड़ा 272 मिल रहा है. राजनीति और बकवास चलती रहेगी. जो लोग बयानबाजी कर रहे हैं, वे ऐसा करना जारी रखेंगे. लेकिन मुझे कोई रिस्क नहीं दिखता और एनडीए सत्ता में लौटता दिख रहा है.

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लोगों में अभी ऐसी धारणा नहीं है कि पीएम मोदी को हटाना है
प्रशांत किशोर ने कहा कि यदि मौजूदा सरकार और उसके नेता के खिलाफ गुस्सा है, तो संभावना है कि चाहे कोई विकल्प हो, लोग उन्हें वोट देने का फैसला कर सकते हैं. अब तक हमने ऐसा नहीं सुना है कि मोदीजी के खिलाफ व्यापक जनाक्रोश है. निराशा, अधूरी आकांक्षाएं हो सकती हैं, लेकिन हमने व्यापक आक्रोश के बारे में नहीं सुना है. मोदी और भाजपा की 10 साल की सरकार को लेकर आम जनमानस में हल्की बहुत नाराजगी जरूर है, लेकिन अबतक ऐसा खुले तौर पर नहीं देखा गया कि इसे सरकार के खिलाफ गुस्सा कहा जा सके. 

प्रशांत किशोर ने कहा कि हल्की बहुत नाराजगी के बावजूद भी लोगों में अभी ऐसी धारणा नहीं है कि मोदी को हटाना है. पीके ने सरकारों के हारने के दूसरे कारण पर जोर देते हुए कहा कि ऐसा तब होता है कि यदि कोई नया आदमी आए और लोगों के मन में उसके प्रति सकारात्म छवि हो. लोगों के मन में नए व्यक्ति को लेकर यह धारणा बन जाए कि ये आकर हमारी स्थिति मोदी जी से भी बेहतर कर देगा, तब लोग बदलाव के मूड में आते हैं. लेकिन फिलहाल जनता के मन में ऐसी स्थिति नहीं है कि उन्हें बदलाव चाहिए और न ही ऐसी इमेज सामने है कि नया व्यक्ति मोदी से बेहतर काम करेगा.

यूपी में कैसा रहेगा बीजेपी का प्रदर्शन
यूपी की 80 लोकसभा सीटों पर बीजेपी का प्रदर्शन कैसा रहेगा? इस सवाल का जवाब देते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि लोकसभा चुनाव 2014 के मुकाबले बिहार और यूपी मिलाकर भाजपा को करीब 25 सीटों का नुकसान 2019 में झेलना पड़ा था. 2019 में बसपा और सपा के साथ लड़ने से भाजपा 73 से घटकर 62 सीटों पर आ गई थी. तो ऐसे में अगर विपक्ष यह मानकर चलेगा कि इस बार भाजपा को 20 सीटों का नुकसान हो रहा है तो ऐसे में भी विपक्ष भाजपा को बहुत ज्यादा चोट नहीं पहुंचा पाएगा. क्योंकि 2019 में भाजपा हारकर भी अपना आंकड़ा बंगाल से बढ़ाने में सफल रही थी. पीके (PK) ने सुझाव दिया कि विपक्ष को जरूरत है कि वो भाजपा की 40 सीटों का नुकसान करे तब जाकर उसे फायदा होगा.

इन राज्यों में बीजेपी की बढ़ेंगी सीटें 
प्रशांत किशोर ने 300 सीटों के अनुमान पर बताते हुए कहा कि बीजोपी को लोकसभा चुनाव 2024 में उत्तर और पश्चिम क्षेत्रों में कोई भौतिकवादी नुकसान (Materialist Damage) नहीं हो रहा है, जबकि दक्षिण और पूर्व (बिहार, बंगाल, ओडिशा, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और केरल) में उसकी सीटों में वृद्धि देखी जाएगी. पीके ने कहा कि बात साल 2019 के नतीजों की जाए तो बीजेपी को 303 में से सिर्फ 250 सीटें नॉर्थ और वेस्ट से मिली हैं. ऐसे में मुख्य सवाल यह है कि क्या भारतीय जनता पार्टी को इन क्षेत्रों में जरूरी नुकसान (50 या अधिक सीटें) का सामना करना पड़ रहा है? 

वर्तमान में पूर्व और दक्षिण क्षेत्र में, भाजपा के पास लोकसभा में लगभग 50 सीटें हैं. इसलिए माना जा रहा है कि पूर्व और दक्षिण क्षेत्रों में भाजपा की हिस्सेदारी 15-20 सीटों पर बढ़ने की उम्मीद है, जबकि पार्टी को उत्तर और पश्चिम में कोई खासा नुकसान नहीं हो रहा है. प्रशांत किशोर ने कहा कि विपक्ष यह मानकर चल रहा है कि वे महाराष्ट्र में 20 से 25 सीटें जीतेंगे. ऐसे में अगर विपक्ष 25 सीटें जीत भी जाता है तो भी भाजपा को कोई नुकसान नहीं पहुंचा पाएगा. ऐसा इसलिए क्योंकि वर्तमान में महाराष्ट्र में भाजपा की 48 में से सिर्फ 23 सीटें ही हैं. ऐसे में विपक्ष की बढ़ोतरी से भी भाजपा को कोई नुकसान नहीं है.