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Assembly Election Result: हिमाचल में 24 में से सिर्फ एक महिला जीतकर पहुंची विधानसभा, जानिए गुजरात में क्या रहा हाल

गुजरात और हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव के परिणाम आ चुके हैं. हिमाचल प्रदेश में 24 महिला प्रत्याशी मैदान में थीं. इसमें से सिर्फ एक महिला पच्छाद से भाजपा की रीना कश्यप चुनकर विधानसभा पहुंची हैं.

विजयी उम्मीदवार रीना कश्यप व रिवाबा जडेजा विजयी उम्मीदवार रीना कश्यप व रिवाबा जडेजा
हाइलाइट्स
  • गुजरात में बीजेपी की 17 में से 14 महिलाओं ने जीत हासिल की

  • हिमाचल प्रदेश में भाजपा ने छह और कांग्रेस ने दो महिलाओं को दिया था टिकट

गुजरात और हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव का परिणाम आ चुका हैं. गुजरात में जहां बीजेपी का सातवीं बार कमल का फूल खिला वहीं हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के पंजे ने जीत दर्ज कर भाजपा को पीछे धकेल दिया है. आज हम बात कर रहे हैं इन चुनावों में कितनी महिलाएं जीती हैं. हिमाचल प्रदेश में इस विधानसभा चुनाव में 412 प्रत्याशी मैदान में थे. इसमें से 24 महिला प्रत्याशी थीं. प्रदेश में इस बार सिर्फ एक महिला पच्छाद से भाजपा की रीना कश्यप चुनकर विधानसभा पहुंची हैं. भाजपा और कांग्रेस ने आठ महिला प्रत्याशियों को चुनाव मैदान में उतारा था. 

भाजपा ने छह और कांग्रेस दो को टिकट दिया था. पच्छाद विधानसभा क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी रीना कश्यप ने जीत हासिल की हैं. उन्होंने अपने प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस प्रत्याशी दयाल प्यारी को 3857 वोटों से पराजित किया है.  उल्लेखनीय है कि कांग्रेस पार्टी ने डलहौजी से आशा कुमारी, पच्छाद विधानसभा क्षेत्र से दयाल प्यारी को टिकट दिया था. जबकि भाजपा ने पच्छाद से रीना कश्यप, भोरंज से रीता धीमान, रोहडू से शशि बाला, बड़सर से माया शर्मा, शाहपुर से सरवीण चौधरी और चंबा से नीलम नैयर को प्रत्याशी बनाया था.  

दूसरी बार चुनावी मैदान में थीं रीना कश्यप
 2019 में पच्छाद में हुए उपचुनाव में रीना कश्यप को भाजपा ने पहली बार पार्टी का टिकट दिया और वह जीत दर्ज कर विधानसभा में पहुंचीं. उस समय विधायक सुरेश कश्यप लोकसभा का चुनाव जीतकर संसद में पहुंचे थे. इसके चलते यहां उपचुनाव हुए थे. 2022 के इस चुनाव में भी भाजपा ने रीना को भी पार्टी प्रत्याशी बनाया और जीत दर्ज की.चुनाव जीतने के बाद रीना कश्यप ने कहा कि पच्छाद का विकास उनकी प्राथमिकता रहेगी. पच्छाद में सड़कों, पेयजल, स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाओं के विस्तार के लिए वह भरसक प्रयास करेंगी. 

गुजरात में क्या रही भागेदारी
गुजरात में महिलाओं के सशक्तीकरण के लिए ‘बेटी बचाओ’ और ‘गौरव नारी नीति’ जैसी करीब डेढ़ दर्जन योजनाएं लंबे समय से क्रियान्वित हैं और कई क्षेत्रों में इसके सकारात्मक परिणाम भी सामने आए हैं लेकिन जब बात चुनावी राजनीति की आती है तो इस प्रदेश में महिलाएं आज भी पीछे ही हैं. इसबार अलग-अलग पार्टियों ने कुल 40 महिला उम्मीदवारो को मैदान में उतारा था. जहां बीजेपी की 17 में से 14 महिलाओं ने जीत हासिल की है. वहीं वाव सीट से कांग्रेस की उम्मीदवार गेनीबेन ठाकुर ने जीत हासिल कर ली है.कांग्रेस ने इन चुनाव में 14 महिलाओं को टिकट दी थी.

रिवाबा जडेजा
जामनगर नॉर्थ सीट से ऑल राउंडर क्रिकेटर रविंद्र जडेजा की पत्नी रिवाबा जडेजा ने चुनाव लड़ा था. इसमें उनको जीत मिली. रिवाबा जडेजा के खिलाफ कांग्रेस पार्टी से उनके ससुर अनिरुद्ध सिंह जडेजा ने चुनाव लड़ा था.अपनी जीत के बाद रिवाबा कहा कि वो केंद्र के नेतृत्व को धन्यवाद करती हैं. साथ ही उनका कहना था, जो विकास का मॉडल है उसी पर आगे बढ़ना है और मेरे साथ जो जीत कर आए है उन सब का यही मंत्र रहेगा.

डॉक्टर पायल कुकरानी
नरोदा सीट से डॉक्टर पायल कुकरानी विजयी हुई हैं. वह पेशे से डॉक्टर हैं और उन्हें मौजूदा विधायक की टिकट काट कर प्रत्याशी बनाया गया था और ये उनका पहला चुनाव था.पायल के पिता मनोज कुकरानी नारोदा पाटिया 2002 के दंगों में उम्रकैद की सजा काट रहे हैं. हालांकि इन चुनाव के दौरान वे स्वास्थ्य कारणों की वजह से जमानत पर बाहर थे.

कंचनाबेन वीनूभाई
बीजेपी की कंचनाबेन वीनूभाई ने ठक्करबपा नगर से चुनाव जीता है. गुजरात चुनाव में पाटीदार एक अहम भूमिका रखते हैं और राज्य में 13 फीसद पाटीदार वोटर हैं.वह कार्यकर्ताओं के साथ लंबे समय से जुड़ी रही हैं. हालांकि पाटीदार आंदोलन के साथ वे जुड़ी हुई नहीं दिखाईं दी लेकिन हर दल ने पाटीदार समुदाय को अहमियत दी है और ये फैक्टर उनके लिए भी काम कर गया.

दर्शना वाघेला
असरवा सीट से बीजेपी की दर्शना वाघेला ने चुनाव जीता है. ये एक आरक्षित सीट है. वह अहमदाबाद म्यूनसिपल कॉर्पोरेशन की चुनाव भी जीत चुकी हैं. बीजेपी को लेकर महिलाओं में झूकाव रहा है ऐसे में महिलाओं को वोट देना काम किया है.

गेनी बेन ठाकुर
वाव से कांग्रेस की उम्मीदवार गेनीबेन ठाकुर ने चुनाव जीता है.वे पार्टी की तेजतर्रार नेताओं में गिनी जाती हैं और पिछली बार यानी साल 2017 में इसी सीट से चुनाव जीती थीं.वाव विधानसभा क्षेत्र पर ठाकुर और चौधरी का वर्चस्व माना जाता है.