scorecardresearch

Himachal Pradesh Rajya Sabha Election: अगर बॉक्स से निकली पर्ची तो होगी हार! हिमाचल प्रदेश में इस नियम से राज्यसभा चुनाव का हुआ फैसला, लोकसभा चुनाव के लिए क्या है नियम, जानिए

Rajya Sabha Election 2024: हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव में लॉटरी के तहत विजेता का फैसला हुआ. दरअसल बीजेपी उम्मीदवार हर्ष महाजन और कांग्रेस उम्मीदवार अभिषेक मनु सिंघवी को बराबर वोट मिले थे. इसके बाद पर्ची निकाली गई. जिसमें हर्ष महाजन को जीत मिली. राज्यसभा चुनाव में पर्ची से विजेता का फैसला चुनाव संचालन नियम 1961 के रूल 75(4) के तहत होता है.

BJP candidate Harsh Mahajan celebrates after being elected as Rajya Sabha member at the Himachal Pradesh Assembly BJP candidate Harsh Mahajan celebrates after being elected as Rajya Sabha member at the Himachal Pradesh Assembly

हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा की एक सीट के लिए बीजेपी और कांग्रेस में जबरदस्त फाइट हुई. कांग्रेस ने अभिषेक मनु सिंघवी और बीजेपी ने हर्ष महाजन को मैदान में उतारा था. दोनों पार्टियों के उम्मीदवारों को 34-34 वोट मिले. इसके बाद पर्ची निकाली गई. जिसमें कांग्रेस उम्मीदवार की पर्ची निकली. लेकिन चुनाव संचालन का एक नियम है, जिसके मुताबिक बीजेपी उम्मीदवार हर्ष महाजन को जीत मिली. चलिए आपको चुनाव संचालन के इस नियम के बारे में बताते हैं.

बराबर वोट होने पर लॉटरी से फैसला-
अगर चुनाव में उम्मीदवारों को बराबर वोट मिलते हैं तो उस स्थिति में चुनाव संचालन नियम 1961 का नियम 75(4) लागू होता है. इस नियम के मुताबिक राज्यसभा सीट के लिए दो या दो से अधिक उम्मीदवारों को समान मूल्य के वोट मिलते हैं. तो सबसे कम वोटों वाले उम्मीदवार को ड्रॉ के जरिए बाहर किया जाता है. इसमें रिटर्निंग ऑफिसर उम्मीदवारों के नाम वाली पर्चियों को एक बॉक्स में रखता है. इसके बाद एक उम्मीदवार की पर्ची निकाली जाती है. जिस उम्मीदवार की पर्ची निकलती है, उसे मुकाबले से बाहर माना जाता है. ऐसे में आखिर में जिस उम्मीदवार की पर्ची बॉक्स में रह जाती है, उसे विजेता घोषित किया जाता है.

राज्यसभा और लोकसभा चुनाव में अंतर-
इस नियम के तहत राज्यसभा चुनाव और लोकसभा चुनावों में लॉटरी सिस्टम का इस्तेमाल होता है. लेकिन दोनों चुनावों में एक अंतर होता है. राज्यसभा चुनाव में जिस उम्मीदवार की पर्ची निकलती है, उसे मुकाबले से बाहर मान लिया जाता है और जिस उम्मीदवार की पर्ची बॉक्स में बचती है, उसे विजेता घोषित किया जाता है. लेकिन लोकसभा चुनाव में इसके विपरित होता है. लोकसभा चुनाव में अगर दो या दो से अधिक उम्मीदवारों को बराबर वोट मिलता है तो उनके नाम की पर्ची एक बॉक्स में रखी जाती है और उसमें से एक पर्ची निकाली जाती है, जिस उम्मीदवार की पर्ची निकलती है, उसे विजेता घोषित किया जाता है. राज्यसभा चुनाव में लॉटरी के तहत चुनाव संचालन नियम 1961 के रूल 75 के तहत फैसला होता है, जबकि लोकसभा चुनाव में रूल 81 के तहत लॉटरी सिस्टम से फैसला होता है.

सम्बंधित ख़बरें

इस नियम से बीजेपी को मिली जीत-
हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव में इस नियम के तहत बीजेपी उम्मीदवार हर्ष महाजन को जीत मिली है. कांग्रेस उम्मीदवार अभिषेक मनु सिंघवी और बीजेपी उम्मीदवार को चुनाव में प्रथम वरीयता के 34-34 वोट मिले. इसके बाद इस नियम के तहत एक बॉक्स में दोनों उम्मीदवारों के नाम की पर्ची रखी गई. जब पर्ची निकाली गई तो अभिषेक मनु सिंघवी के नाम की पर्ची निकली. लेकिन राज्यसभा चुनाव के नियम के मुताबिक सिंघवी को हार का सामना करना पड़ा. हर्ष महाजन की पर्ची बॉक्स में रही, इसलिए उनको विजेता घोषित किया गया.

ये भी पढ़ें: