गौहर जान मशहूर भारतीय गायिका और नर्तकी थीं. वह भारत में 78 आरपीएम रिकॉर्ड पर संगीत रिकॉर्ड करने वाली पहली कलाकारों में से एक थीं, जिसे बाद में भारत की ग्रामोफोन कंपनी ने जारी किया. उन्हें "ग्रामोफोन गर्ल" और "भारत की पहली रिकॉर्डिंग सुपरस्टार" के रूप में जाना जाता है.
गौहर नृत्य और गायन दोनों में अपने योगदान के लिए जानी जाती हैं. उनका जन्म एंजेलिना येवार्ड के रूप में 1873 में पटना में हुआ था. उनके पिता विलियम रॉबर्ट येवार्ड थे और एक अर्मेनियाई यहूदी थे. वह आजमगढ़ में एक बर्फ फैक्ट्री में काम करते थे.
एंजेलिना से बनी गौहर जान
गौहर की मां विक्टोरिया हेमिंग थीं, जिनका जन्म और पालन-पोषण भारत में हुआ था और वे भारतीय संगीत और नृत्य को अच्छी तरह जानती थीं. एंजेलिना उनकी इकलौती संतान थी. दुर्भाग्य से, विलियम और विक्टोरिया की शादी ज्यादा टिकी नहीं. तलाक के बाद, विक्टोरिया ने इस्लाम अपना लिया और बड़ी मलका जान के नाम से जानी जाने लगीं.
इसके बाद एंजेलिनी का नाम गौहर जान रखा गया. बनारस के सांस्कृतिक जीवंत वातावरण में गौहर जान की संगीत, नृत्य और कविता में जन्मजात प्रतिभा खिल उठी. नवाब वाजिद अली शाह के कलकत्ता में निर्वासन के साथ, यह शहर पूरे उत्तर भारत के कलाकारों का ठिकाना बन गया. बड़ी मलका भी गौहर के साथ कलकत्ता चली गईं और वे नवाब वाजिद अली शाह के दरबार में संगीतकार बन गईं.
अपने करियर में दर्ज किए 600 रिकॉर्ड
कलकत्ता के कुलीनों और संरक्षकों के समर्थन से, उन्हें शहर के सबसे प्रसिद्ध तवायफों या दरबारियों में गिना जाने लगा. इसलिए इस बात में कोई आश्चर्य नहीं कि जब जीटीएल कंपनी "देशी" आवाजों को रिकॉर्ड करने के लिए आया, तो गौहर जान उनके शुरुआती आर्टिस्ट्स में से एक थी. गौहर ने रिकॉर्डिंग सेशन के लिए 3,000 रुपये की मांग की.
अपने शानदार करियर में, गौहर ने 10 से अधिक भाषाओं में लगभग 600 रिकॉर्ड दर्ज किए. उनके प्रदर्शनों की सूची लंबी थी और ख्याल से लेकर हिंदुस्तानी संगीत के हल्के रूपों जैसे ठुमरी, दादरा, काजरी, होरी, चैती और भजन तक में उन्हें महारत हासिल थी.
सुनें उनके कुछ रिकॉर्ड्स
1. गौहर जान: अलवर के कन्हैया