जहां एक ओर शहर में डेंगू के बढ़ते मामलों और प्लेटलेट बढ़ाने के लिए बकरी के दूध की मांग के चलते दूध की कीमते बढ़ाई जा रही हैं, वहीं कुछ ऐसे लोग भी हैं जो इसे फ्री में दे रहे हैं. जी हां, प्रयागराज के चैथम लाइन्स के निवासी संजय सरन उर्फ गुड्डू भाई जैसे कुछ अच्छे लोग भी हैं, जो हर सुबह लगभग 50 से 70 लोगों को अपनी आधा दर्जन से अधिक बकरियों का दूध मुफ्त में उपलब्ध करा रहे हैं.
बढ़ती मांग को देखते हुए शहर में बकरी के दूध की कीमतों में 500 रुपये प्रति लीटर तक की बढ़ोतरी की गयी है. वहीं गुड्डू भाई फ्री में लोगों की मदद कर रहे हैं. बता दें, प्रयागराज में अब तक लगभग 891 डेंगू के मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें से 643 शहरी इलाकों से जबकि बाकी 248 ग्रामीण इलाकों से सामने आए हैं.
कौन हैं संजय सरन?
दरअसल, गुड्डू नाम के ये शख्स ईश्वर सरन डिग्री कॉलेज के पास में ही एक चाय की दुकान चलाते थे. लेकिन कोरोना महामारी की वजह से वह दुकान बंद करनी पड़ी. हालांकि, इन सभी चुनौतियों के बावजूद उन्होंने पैसा कमाने के लिए बकरियों का दूध बेचना शुरू किया.
36 वर्षीय गुड्डू कहते हैं, “पहले मेरे पास लगभग 100 बकरियां हुआ करती थीं, लेकिन अब यह संख्या घटकर केवल सात रह गई है, लेकिन ये सभी दूध दे रही हैं. मैंने वही जरूरतमंदों को देने का सोचा. मैं इसके लिए कोई पैसे नहीं लेता, हालांकि, कुछ ऐसे भी हैं जो अपनी मर्जी से कुछ पैसे देते हैं, जिसे मैं अपनी बकरियों के चारे के खर्च को पूरा करने के लिए रखता हूं.”
हर दिन लगभग 70 लोगों को देते हैं फ्री में दूध
आपको बता दें, गुड्डू पिछले दो महीनों से ऐसा कर रहे हैं. जैसे-जैसे शहर में डेंगू का प्रकोप बढ़ता जा रहा है, वैसे-वैसे अधिक से अधिक लोग उनके घर दूध लेने के लिए आ रहे हैं. गुड्डू कहते हैं, "मैं हर दिन 50-70 लोगों को 100-150 मिलीलीटर दूध देता हूं क्योंकि मैं भी चाहता हूं कि बीमार व्यक्ति किसी भी तरह ठीक हो जाएं. "
दूध को उबाले बिना न करें सेवन
हालांकि, शहर के चिकित्सक डेंगू रोगियों के लिए बकरी के दूध के सेवन का समर्थन नहीं करते हैं. एमएलएन मेडिकल कॉलेज के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ मनोज माथुर कहते हैं,“डेंगू रोगियों के इलाज के मामले में, जहां तक मानक प्रोटोकॉल या प्रथा की बात है, इस बात का कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है कि प्लेटलेट काउंट बढ़ाने में बकरी के दूध फायदेमंद होता है. इसके अलावा, हम कभी भी दूध को उबाले बिना सेवन करने की सलाह नहीं देते हैं और लोगों को ऐसा करने से बचना चाहिए.”
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