देश में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच भारतीय बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (IRDAI) ने बीते साल सभी बीमा कंपनियों से स्वास्थ्य बीमा के रूप में अलग-अलग लाभ के साथ 'कोरोना कवच' और 'कोरोना रक्षक' पॉलिसी लाने को कहा था. अब बीमा नियामक इरडा ने बीमा कंपनियों को मार्च 2022 तक अल्प अवधि के लिए कोविड केंद्रित स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी बेचने और उनके नवीनीकरण की इजाजत दी है.
स्वास्थ्य बीमा पॉलिसियों की तुलना
कई बीमा कंपनियां अल्पकालिक उत्पाद लेकर आई थीं, जो नियमित स्वास्थ्य बीमा पॉलिसियों की तुलना में कम प्रीमियम के कारण लोकप्रिय हो गईं. नियामक ने एक परिपत्र में कहा कि सभी बीमा कंपनियों को 31 मार्च 2022 तक अल्प अवधि वाले कोविड से जुड़ी स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी पेश करने और उसके नवीनीकरण की अनुमति है.
भारतीय बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (IRDAI) ने संपत्ति खरीदने वालों को गलत दस्तावेज से सुरक्षा देने के लिये कदम उठाया है. उसने साधारण बीमा कंपनियों से संशोधित प्रारूप में संपत्ति खरीद से जुड़े दस्तावेज यानी बैनामा के जोखिम से बचाव के लिए जल्द ही बीमा पॉलिसी पेश करने को कहा है. बैनामा बीमा क्षतिपूर्ति बीमा का एक रूप है. यह संपत्ति के संभावित मालिक को वास्तविक संपत्ति के बैनामा में गड़बड़ियों के कारण वित्तीय नुकसान से बचाता है.
क्या है कोरोना कवच प्रोडक्ट?
कोरोना कचव प्रोडक्ट इंडेमिनिटी हेल्थ इंश्योरेंस प्रोडक्ट है. इनमें हॉस्पिटल का खर्च कवर होता है. बेसिक कवर में बीमा राशि 50 हजार से 5 लाख रुपए तक हो सकती है. पॉलिसी में कवर साढ़े तीन महीने, साढ़े छह महीने और साढ़े नौ महीने के लिए होता है. नई पॉलिसी पर वेटिंग पीरियड 15 दिन का है. कोरोना कवच प्रोडक्ट्स को 18 से 65 साल की उम्र का कोई भी व्यक्ति खरीद सकता है.
कार्यकारी समूह का गठन
भारतीय बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण ने गलत बैनामे के कारण नुकसान को लेकर कंपनियों (डेवलपर) के साथ-साथ व्यक्तियों की विधि के अनुसार देनदारी को 'कवर' करने के लिये बैनामा बीमा उत्पाद लाने के बारे में सुझाव देने को लेकर कार्यकारी समूह का गठन किया था. समूह की सिफारिश के आधार पर इरडा ने साधारण बीमा कंपनियों से संपत्ति की खरीद दस्तावेज को लेकर बीमा पॉलिसी लाने को कहा है.