गर्मियों (Summer Season) में फूड पॉइजनिंग और पीलिया (Jaundice) जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है. इस मौसम में गलत खानपान के चलते पेट से जुड़ी समस्या भी होने लगती है. पीलिया यानी Jaundice इस मौसम में होने वाली सबसे कॉमन लेकिन गंभीर बीमारी है.
आंखों और त्वचा का पीला पड़ना पीलिया के दो सबसे आम लक्षण हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि आखिर पीलिया होता क्या है? पीलिया होने पर हमारे शरीर में मौजूद लाल रक्त कोशिकाएं बिलीरुबिन बन जाती हैं, जोकि पीले रंग की होती है. बिलीरुबिन जब जरूरत से ज्यादा उत्सर्जित होता है और मल के रास्ते बाहर नहीं जा पाता तो शरीर में जमा होने लगता है. इसे ही पीलिया कहते हैं.
बच्चों और एडल्ट में पीलिया के कारण
समय से पहले जन्मे बच्चे पीलिया से प्रभावित हो जाते हैं क्योंकि बच्चे का लीवर पूरी तरह से विकसित नहीं होता है लेकिन बड़े बच्चों और वयस्कों में पीलिया के लिए कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं. लीवर संक्रमण, गिल्बर्ट सिंड्रोम, कोलेस्टेसिस, गंदा पानी या खराब खाने का सेवन इसके कुछ अहम कारण हैं. पीलिया क्यों हुआ है इसका कारण जानना जरूरी है ताकि बीमारी का इलाज ठीक से किया जा सके. अक्सर सड़क पर मिलने वाले खाने और जूस पीने से पीलिया होता है. यह बीमारी गर्मी के महीने में बढ़ जाती है क्योंकि गर्मी में खाना जल्दी खराब हो जाता है और लोग जाने अनजाने में इसका सेवन कर लेते हैं.
पीलिया के लक्षण
लगातार बुखार
भूख न लगना
वजन घटना
आंखों और नाखूनों में पीलापन
पेशाब का पीला होना
मिचली और उल्टी
लाइफस्टाइल में बदलाव से ठीक किया जा सकता है पीलिया
हेल्दी डाइट, फल और गन्ने का जूस लेने से पीलिया के इलाज में मदद मिलती है. लक्षण कम होने तक रोगी को बिस्तर पर आराम करना चाहिए. सूजी या दलिया दलिया, नरम कस्टर्ड, दही चावल जैसे फूड आसानी से पच जाते हैं. नींबू, अंगूर, नाशपाती, टमाटर, गाजर, चुकंदर गन्ने का जूस पीलिया के मरीज पी सकते हैं. एंटीबायोटिक्स दवाओं के सहारे इन्फेक्शन को कंट्रोल किया जाता है. अगर पीलिया के लक्षण दिख रहे हैं तो लापरवाही न करें. तुरंत डॉक्टर की सलाह लें और ट्रीटमेंट लें.
पीलिया से बचाव
गर्मियों में शराब के सेवन से बचें.
बहुत ज्यादा तला-भुना और मसालेदार खाना खाने से बचें.
ताजा और साफ पानी पिएं.