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Woolen clothes while sleeping: सर्दियों में सोते वक्त आप भी पहनते हैं स्वेटर? इन बीमारियों का हो सकते हैं शिकार

अगर आप लगातार रात में ऊनी कपड़ें पहनकर सोते हैं तो आपको एलर्जिक रिएक्शन और खुजली की समस्या भी हो सकती है. ड्राई स्किन वाले लोगों में ये समस्या ज्यादा देखने को मिलती है.

wearing sweater to sleep in winter wearing sweater to sleep in winter
हाइलाइट्स
  • एलर्जिक रिएक्शन की हो सकती है दिक्कत

  • रात में स्वेटर पहनकर सोने की भूल न करें

कड़ाके की ठंड (Winters) में खुद को गर्म रखने के लिए लोग कई लेयर वाले गर्म कपड़े पहनते हैं. ऊनी कपड़े (Woollen Clothes) हीट कंडक्टर (Heat Conductor) का काम करते हैं. ये शरीर से निकलने वाली गर्मी को रोकते हैं और इससे आपका शरीर गर्म महसूस होता है. कई लोग तो रात में स्वेटर या ऊनी मोजे भी पहनकर सोना पसंद करते हैं. हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो ये आदत आपकी सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकती है क्योंकि स्वेटर या ऊनी कपड़े पहनकर सोने से शरीर पर कई तरह के साइड इफेक्ट्स होते हैं. अगर आप भी सर्दी से बचने के लिए रात को स्वेटर पहनकर सोते हैं तो तुरंत इस आदलत को बदल लीजिए.

ब्लड सर्कुलेशन में होती है परेशानी
सर्दी के मौसम में ब्लड वेसल्स सिकुड़ जाती हैं और ऊनी कपड़े पहनकर सोने से बेचैनी, घबराहट और लो बीपी जैसी समस्याएं हो सकती हैं. इससे बचने के लिए आपको सूती और आरामदायक कपड़े ही पहनकर सोना चाहिए. सर्दियों में रात के समय गर्म कपड़े पहनकर नहीं सोना चाहिए क्योंकि इससे ब्लड सर्कुलेशन भी सही से नहीं हो पाता है.

एलर्जिक रिएक्शन की हो सकती है दिक्कत
इसके अलावा अगर आप लगातार रात में ऊनी कपड़ें पहनकर सोते हैं तो आपको एलर्जिक रिएक्शन और खुजली की समस्या भी हो सकती है. ड्राई स्किन वाले लोगों में ये समस्या ज्यादा देखने को मिलती है. इसलिए सलाह दी जाती है कि आप बिस्तर पर जाने से पहले अपने पूरे शरीर पर बॉडी लोशन लगाएं क्योंकि स्किन नम होने पर एलर्जी की संभावना कम हो जाती है.

इन लोगों के लिए ठीक नहीं है स्वेटर पहनकर सोना
अगर आप दिल के मरीज हैं तो आपको रात में ऊनी कपड़े पहनकर सोने से भी बचना चाहिए. ऊनी कपड़ों के रेशे सूती कपड़ों की तुलना में ज्यादा मोटे होते हैं और इनमें कई छोटे एयर पॉकेट होते हैं जो इन्सुलेटर की तरह काम करते हैं. जब हम सर्दियों में रजाई या कंबल में सोते हैं तो इनमें मौजूद रेशे हमारे शरीर की गर्मी को रोक लेते हैं. ये गर्मी डायबिटीज के लोगों और हार्ट पेशेंट के लिए खतरनाक हो सकती है. अगर सांस से संबंधित बीमारी है तो भी आपको स्वेटर पहनकर सोने से बचना चाहिए.

शरीर का तापमान रेगुलेट नहीं हो पाता
सोते समय शरीर का तापमान नॉर्मल होना चाहिए. जब हम स्वेटर पहनते हैं तो शरीर का ऊपरी तापमान तो कम हो जाता है लेकिन अंदरूनी तापमान रेगुलेट नहीं हो पाता है. इसलिए अगर बहुत ज्यादा ठंड है, तो पहले सूती कपड़े पहनें और उसके ऊपर ऊनी कपड़े पहनें. लेकिन ऐसा तभी करें जब जरूरत से ज्यादा सर्दी हो. अगर आप भी रात को सोते वक्त स्वेटर और दूसरे कपड़े पहनकर सोते हैं तो आपको अपनी इस आदत को बदलने की जरूरत है.