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भारत बायोटेक का दावा, हर वेरिएंट के खिलाफ सुरक्षित और इम्यूनोजेनिक है कोवैक्सिन बूस्टर डोज

Covaxin उन तीन टीकों में से एक है, जिन्हें भारत के दवा नियामक से आपातकालीन उपयोग के लिए अधिकार प्राप्त है और इसका उपयोग राष्ट्रव्यापी टीकाकरण कार्यक्रम में Covishield और Sputnik V के साथ किया जा रहा है.

कोवैक्सिन बूस्टर डोज कोवैक्सिन बूस्टर डोज
हाइलाइट्स
  • कोरोना के डर के बीच बूस्टर डोज की चर्चा तेज

कोरोना के नए वेरिएंट ओमीक्रॉन के खतरे के बीच बूस्टर डोज की चर्चा तेज हो गई है. इसी बीच कोवैक्सिन ने भी अपनी बूस्टर डोज को सुरक्षित और सभी वेरिएंट के खिलाफ अत्यधिक इम्यूनोजेनिक बताया है.  एक रिसर्च स्टडी सामने आई है, जिसके अनुसार बूस्टर डोज के बाद न्यूट्रलाइजेशन एंटीबॉडी फिटर, 2 खुराक के बाद की तुलना में 5 गुना अधिक थे. 

एंटीबाडी बनाने में कामयाब है COVAXIN - भारत बायोटेक

बूस्टर डोज ने सीडी4 और सीडी8 प्रतिक्रियाओं में स्पष्ट वृद्धि की. यह COVAXIN को गंभीर SARS-CoV-2 के खिलाफ लॉग टर्म प्रोटेक्टिव इफिशिएंसी देता है. कोवैक्सीन की बूस्टर डोज (Covaxin booster jabs) लगवाने वाले 90 फीसद प्राप्तकर्ताओं में कोरोना के खिलाफ लड़ने योग्य एंटीबाडी प्रतिक्रिया देखी गई. 

Covaxin उन तीन टीकों में से एक है, जिन्हें भारत के दवा नियामक से आपातकालीन उपयोग के लिए अधिकार प्राप्त है और इसका उपयोग राष्ट्रव्यापी टीकाकरण कार्यक्रम में Covishield और Sputnik V के साथ किया जा रहा है. भारत बायोटक ने इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) और पुणे स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) के साथ मिलकर कोवैक्सीन को डेवलप किया है.

किशोरों को भी लग रहा कोवैक्सिन का टीका 

भारत बायोटेक की कोवैक्सिन से ही 15 से 18 साल के किशोरों का टीकाकरण किया जा रहा है. हाल ही में भारत बायोटेक ने कहा था कि दूसरे और तीसरे चरण के अध्ययन में उसकी कोवैक्सीन दो से 18 वर्ष आयुवर्ग में सुरक्षित, अच्छी तरह सहन करने योग्य और इम्युनिटी बढ़ाने वाली पाई गई है. 

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