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Explainer: क्या 2022 के अंत तक 80 लाख लोग हो जाएंगे वीगन? जानिए वेजिटेरियन से कैसे है अलग वीगन डाइट

अंग्रेजी में शाकाहारी लोगों के लिए दो शब्द बहुत ही कॉमन हैं एक वीगन दूसरा वेजिटेरियन. अंग्रेजों में भी अब वीगन भोजन का चलन धीरे-धीरे बढ़ता जा रहा है. इसका अनुमान इस बात से ही लगाया जा सकता है कि जनवरी का महीना एनुअल वीगनरी चैलेंज के लिए जाना जाता है.

Difference between Vegan and vegetarian diet (Source: Unsplash) Difference between Vegan and vegetarian diet (Source: Unsplash)
हाइलाइट्स
  • ब्रिटेन में बढ़ रहा है वीगन डाइट का चलन

  • इस साल के अंत तक 80 लाख लोग हो जाएंगे वीगन

अंग्रेजी में शाकाहारी लोगों के लिए दो शब्द बहुत ही कॉमन हैं एक वीगन दूसरा वेजिटेरियन. अंग्रेजों में भी अब वीगन भोजन का चलन धीरे-धीरे बढ़ता जा रहा है. इसका अनुमान इस बात से ही लगाया जा सकता है कि जनवरी का महीना एनुअल वीगनरी चैलेंज के लिए जाना जाता है. दरअसल जनवरी के महीने में लोग इसे चैलेंज के तौर पर लेते हैं कि इस महीने में सिर्फ शाकाहारी भोजन करेंगे और खाने में मीट, मछली, चिकन, दूध, दही आदि को शामिल नहीं करेंगे.

क्यों कंफ्यूज हुए लोग ?
लेकिन अक्सर कई लोगों को इस बात को लेकर कंफ्यूजन में रहते हैं कि वेगन और वेजिटेरियन एक ही चीज हैं. यह मु्द्दा तब ज्यादा उठा था जब एक फैन ने विराट कोहली से उनकी डाइट के बारे में पूछा था. इस बात का जवाब देने में विराट ने जिन चीजों का नाम लिया उसमें अंडा भी शामिल था. इसके बाद से ही इस बात पर सवाल उठने लगे कि विराट अपने आपको वीगन बताते हैं तो अंडा कैसे खा सकते हैं. मामले को बढ़ता देख विराट ने अगले ही पल लोगों की सारी कंफ्यूजन दूर की और कहा कि वो वीगन नहीं बल्कि वेजिटेरियन हैं. तो चलिए आपको बताते हैं क्या है असल में वीगन और वेजिटेरिन डाइट में क्या फर्क होगा.

क्या होती है वीगन डाइट?
दरअसल वीगन का मतलब होता है ऐसी किसी भी चीज का सेवन करने से होता है,जो किसी जानवर से उपलब्ध होता हो. वीगन डाइट में अंडा, मांस, शहद, दूध और डेयरी प्रोडक्ट्स नहीं लिए जाते हैं. इसका मतलब लोग वेजिटेरियन समझते हैं लेकिन ये उससे काफी अलग है. इसमें फल, सब्जियां, होल ग्रेन्स, दाल, नट्स और सीड्स खाया जाता है. वीगन लोग ज्यादातर कच्चे फूड्स खाते हैं, जिनमें फैट की मात्रा काफी कम होती है.

ब्रिटेन में बढ़ रहा है वीगन डाइट का चलन
साल 2014 के जनवरी में ब्रिटेन के लोगों ने इस चैलेंज में हिस्सा लेना शुरू किया था, जिसके अंतर्गत साल 2021 तक 6 लाख लोग वीगन हो चुके थे. 2014 की तुलना में इस संख्या में 400% की बढ़त दर्ज हुई. लोग इसे तेजी से अपना रहे थे. 2020 से लेकर अब तक ब्रिटेन में उन रेस्टोरेंट्स की संख्या दोगुनी हो गई, जो वीगन खाना परोसते हैं. इसमें मैक्डोनल्ड समेत ऐसे 12 हजार रेस्टोरेंट शामिल हैं जो एप के माध्यम से वीगन खाना परोसते हैं. ऐसा माना जा रहा है कि इस साल के अंत तक 20 लाख लोग वीगन हो जाएंगे, जिससे वीगन लोगों की संख्या 80 लाख हो जाएगी. धीरे-धीरे देखा देखी भारत में भी इसका चलन तेजी से बढ़ रहा है. सेलेब्रिटीज को देखकर आम लोग भी वीगन बनने की ओर बढ़ रहे हैं.

क्या कहता है अध्ययन?
ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के एक शोध के अनुसार एक व्यक्ति अगर वीगन हो जाता है तो कार्बन फुटप्रिंट में 73% की कमी कर लेता है. वहीं अगर कोई व्यक्ति एक माह के लिए वीगन होता है तो वह मीट और डेयरी उत्पादन में लगने वाले 1.26 लाख लीटर पानी की भी बचत करता है. इस तरह अगर हर व्यक्ति वीगन हो जाए तो 70 प्रतिशत कार्बन उत्सर्जन रुक सकता है. इससे ग्लोबल वार्मिंग और क्लाइमेट चेंज की समस्या से भी निजात मिलेगी.