आम जनता पर लगातार महंगाई की मार जारी है. पेट्रोल-डीजल तथा घरेलू गैस के बाद अब सामान्य दवाइयां भी महंगी होने जा रही हैं. बताया जा रहा है कि अगले महीने से जरूरी दवाओं की कीमतें बढ़ जाएंगी.
दरअसल, नेशनल फार्मा प्राइजिंग अथारिटी (एनपीपीए) ने फार्मा कंपनियों को शेड्यूल दवाओं के लिए कीमतों में 10.7 फीसदी की बढ़ोतरी की अनुमति दे दी है. जिसके बाद अब 800 से ज्यादा दवाओं की कीमत बढ़ेगी.
01 अप्रैल से बढ़ेंगे दवाओं के दाम:
एनपीपीए के नोटिस के मुताबिक आर्थिक सलाहकार, वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के कार्यालय द्वारा उपलब्ध कराए गए थोक मूल्य सूचकांक (डब्ल्यूपीआई) आंकड़ों के आधार पर दवाओं के मुल्य बढ़ाए गए हैं.
बताया जा रहा है कि फार्मा इंडस्ट्रीज ने दवाइयों के दाम 20 फीसदी तक बढ़ाने के लिए अपील की थी लेकिन एनपीपीए ने 10 से 12 फीसदी तक ही दवाइयों के दाम बढ़ाने पर सहमति जताई. अगले महीने से अब बुखार, संक्रमण, हृदय रोग, उच्च रक्तचाप, त्वचा रोग और एनीमिया के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाओं के दाम बढ़ जाएंगे.
इनमें पेरासिटामोल, फेनोबार्बिटोन, फ़िनाइटोइन सोडियम, एज़िथ्रोमाइसिन, सिप्रोफ्लोक्सासिन हाइड्रोक्लोराइड और मेट्रोनिडाज़ोल जैसी दवाएं शामिल हैं.