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Cancer Research: 50 साल से कम उम्र के लोगों में बढ़ रहा कैंसर का खतरा, स्टडी में खुलासा

कैंसर को लेकर एक नई स्टडी हैरान करने वाले तथ्य सामने आए हैं. स्टडी के मुताबिक पिछले 3 दशकों में 50 साल से कम उम्र के लोगों में कैंसर के नए मामलों में 79 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. रिपोर्ट के मुताबिक साल 2030 तक नए शुरुआती कैंसर के मामलों में 31 फीसदी की बढ़ोतरी होगी. इसमें सबसे ज्यादा खतरा 40 साल से अधिक उम्र के लोगों को है.

50 साल से कम उम्र के लोगों में बढ़ रहा कैंसर का खतरा 50 साल से कम उम्र के लोगों में बढ़ रहा कैंसर का खतरा

कैंसर को लेकर एक हैरान करने वाली स्टडी सामने आई है. पिछले 30 सालों में 50 साल से कम उम्र के लोगों में कैंसर के मामलों में 79 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. आपको बता दें कि साल 1990 में इस उम्र के कैंसर मरीजों की संख्या 18.2 लाख थी, जो साल 2019 में बढ़कर 32.6 लाख हो गई. रिसर्च के मुताबिक इस दौरान मरने वालों की संख्या में 28 फीसदी की बढ़ोतरी हुई. ये रिसर्च ब्रिटिश मेडिकल जर्नल में प्रकाशित हुई है. 

204 देशों के आंकड़ों पर आधारित है रिपोर्ट-
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक ये स्टडी 204 देशों के आंकड़ों पर आधारित है. ये रिपोर्ट 29 प्रकार के कैंसर को कवर करने वाली ग्लोबल बर्डन ऑफ डिजीज की 2019 की रिपोर्ट के आंकड़ों के एनालिसिस पर आधारित है. 
ब्रिटिश मेडिकल जर्नल की स्टडी के मुताबिक साल 2019 में 50 साल से कम उम्र के आयु वर्ग में स्तन कैंसर के शुरुआती मामलों की संख्या सबसे अधिक थी, लेकिन 1990 के बाद से नाक का कैंसर और प्रोस्टेट के कैंसर तेजी से बढ़े हैं.  साल 1990 और 2019 के बीच प्रारंभिक शुरुआत वाले विंड पाइप और प्रोस्टेट कैंसर में वार्षिक 2.28 फीसदी और 2.23 फीसदी की बढ़ोतरी हुई. हालांकि स्पेक्ट्रम के दूसरे छोर पर, प्रारंभिक शुरुआत वाले लीवर कैंसर में 2.88 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई.

वैक्सीनेशन से लीवर कैंसर में आई कमी-
रिपोर्ट के मुताबिक मेदांता इंस्टीट्यूट ऑफ डाइजेस्टिव एंड हेपेटोबिलरी साइंसेज के चेयरमैन डॉ. रणधीर सूद ने बताया कि वैक्सीनेशन कार्यक्रम में हेपेटाइटिस बी वैक्सीनेशन की शुरुआत ने लीवर कैंसर में कम करने में अहम भूमिका निभाई है. डॉक्टर का कहना है कि मुझे लगता है कि गैर-अल्कोहलिक फैटी लीवर रोग की घटनाओं में बढ़ोतरी की वजह से इससे मिलने वाला फायदा व्यर्थ हो सकता है. जिससे लीवर कैंसर हो सकता है. उनका कहना है कि पाचन तंत्र के कैंसर भी बढ़ गए हैं.

40 साल से अधिक उम्र के लोगों को सबसे ज्यादा खतरा-
पिछले 3 दशकों के रुझानों के आधार पर रिसर्चर्स ने अनुमान लगाया कि साल 2030 तक नए शुरुआती कैंसर के मामलों और संबंधित मौतों की ग्लोबल संख्या में 31 फीसदी और 21 फीसदी की बढ़ोतरी हो सकती है. इसमें सबसे ज्यादा खतरा 40 साल से अधिक उम्र वाले लोगों को है.

2025 तक 15.7 लाख हो जाएंगे कैंसर मरीज-
कैंसर के मामले बढ़ने के पीछे आनुवंशिक कारणों की भूमिका होने की आशंका है. लेकिन रिसर्चर्स का कहना है कि डाइट में लाल मांस और नमक की मात्रा अधिक और फल-दूध की मात्रा कम होती है. शराब और तंबाकू का इस्तेमाल 50 से कम उम्र के लोगों में कैंसर के लिए सबसे बड़ा रिस्क फैक्टर हैं. रिसर्चर्स का कहना है कि शुरुआती कैंसर के लिए बेहतर इलाज की रणनीति के साथ रोकथाम और इसका जल्द पता लगाने के उपायों की फौरन जरूरत है. जिसमें युवा मरीजों की देखभाल के लिए एक समग्र एप्रोच की जरूरत है. साल 2022 में भारत में करीब 14.6 लाख कैंसर के मरीज हैं. जबकि साल 2025 तक ये संख्या 15.7 लाख तक पहुंचने का अनुमान है.

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