सधे हुए कदम, अनुशासन और कड़ी मेहनत, दुश्मन पर पैनी नजर, हाथों में बंदूक, निशाना सटीक और माथे पर बिंदी, सलाम कीजिए हिंदुस्तान की महिला शक्ति को जो अपना घर परिवार छोड़कर अपने दिल में जुनून और जोश लिए देश संभाल रही हैं. आज पूरी दुनिया अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस मना रही है और महिलाओं के हौसले को सलाम कर रही है. ऐसे में हम आपको हिंदुस्तान की एक ऐसी महिला शक्ति के बारे में बता रहे हैं, जिस पर पूरे हिंदुस्तान को गर्व है.
दरअसल देश में वीवीआईपी सुरक्षा को लेकर केंद्र सरकार ने हाल ही में बड़ा फैसला लिया था. केंद्र के निर्देश के बाद देश के अति महत्वपूर्ण की सुरक्षा में पहली बार सीआरपीएफ की महिला कमांडो को तैनात किया जा रहा है. GNT की टीम ने उन्हीं ३२ महिला कमांडो से बात की जिन्हें अब तक के इतिहास में पहली बार वीवीआईपी सेक्युटरी में तैनात किया गया है.
टफ ट्रेनिंग के बाद हुई तैनाती
CRPF की इन महिला कमांडोज को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, प्रियंका गांधी वाड्रा और जेड प्लस सिक्योरिटी घेरे वाले दूसरे VIP की सुरक्षा में तैनात किया जाएगा. ये साये की तरह इन हस्तियों के साथ मौजूद रहकर उनकी सुरक्षा करेंगी. साथ ही इन महिलाओं ने देश के 5 राज्यों में हुए चुनावों में भी VIP को सेक्युरिटी दी है. इन महिलाओं को इस बैच में शामिल होने के लिए ग्रेटर नोएडा के सीआरपीएफ कैंप में कड़ी ट्रेनिंग से गुजरना पड़ा. इनकी ट्रेनिंग 70 दिन की थी जिसमें फिजिकल, मेंटल और इमोशनल तीनों चीजों को ध्यान में रखते हुए ट्रेन किया गया. अब तक केवल पुरुष ही सुरक्षा में शामिल थे, लेकिन अब महिलाओं को शामिल करके इतिहास रचा जा रहा है. इन महिला कमांडो ने वीआईपी सुरक्षा दायित्वों, निहत्थे युद्ध, जामा तलाशी और विशेष हथियारों से फायरिंग में अपना 10 सप्ताह का प्रशिक्षण पूरा किया है।
साहसी और सशक्त हैं ये महिलाएं
महिलाओं को ट्रेनिंग दे रहे पुरुष ट्रेनर हेड योगेंद्र ढाले जो एसपीजी की सुरक्षा में प्रधानमंत्री मोदी के साथ भी रह चुके हैं. वे इन महिलाओं को ट्रेनिंग दे रहे हैं. वे बताते हैं कि महिलाओं को ट्रेनिंग देते वक्त कोई दिक्कत नहीं आई. हर एक महिला अपने आप में बहुत सशक्त और साहसी है. वहीं ट्रेनर जय सिंह का कहना है कि इन्हें ट्रेनिंग देते वक्त कभी महसूस नहीं हुआ कि हम महिलाओं को ट्रेनिंग दे रहे हैं. हर एक महिला पुरुषों को कड़ी टक्कर दे रही है, और हमें इस बात पर बेहद गर्व है कि अब तक जो काम पुरुष करते थे वो काम महिलाएं पहली बार करने वाली हैं.
जेड प्लस सुरक्षा कैसी होती है?
डीआईजी ग्रेटर नोएडा आरएस बिहारी बताते हैं कि जेड प्लस सुरक्षा देश की दूसरी बड़ी सुरक्षा है. इसमें कुल 36 सुरक्षाकर्मी होते है. इनमें 10 एनएसजी और SPG कमांडो होते हैं,साथ ही कुछ पुलिस भी शामिल होती है. इस बार हमारे लिए बड़े गर्व की बात है कि महिला कमांडो को जेड प्लस सिक्योरिटी में तैनात किया गया है. हमारे यहां महिला और पुरुष में बिना अंतर की ट्रेनिंग दी जाती है. यह 32 महिलाएं अपने आप में साहस, शौर्य और वीरता का परिचय दे रही हैं.
अगर घर तो देश भी संभाल सकती है महिलाएं
महिला ट्रेनर सुरेखा राणे बताती हैं कि महिलाएं कहती हैं कि जब एक महिला आगे बढ़ती है तो पूरा देश आगे बढ़ता है. यदि महिलाएं घर संभाल सकती हैं तो देश भी संभाल सकती हैं. महिला कमांडो मधुर बताती हैं कि देश में पहली बार ऐसा हो रहा है कि वीवीआइपी सिक्योरिटी के लिए महिलाओं को तैनात किया जा रहा है और यह हमारे लिए बड़े गर्व की बात है. महिला कमांडो संजुला कुमारी आज समाज हमें एक अलग नजरिए से देखता है. हजारों लाखों लड़कियां हम से प्रेरणा लेकर हिम्मत का कदम आगे बढ़ा रही है. हमारी वर्दी हमारी पहचान है जिस पर हमें नाज है.