उत्तर प्रदेश में मंदिर के आकार के बहुमंजिला बिल्डिंग का निर्माण जल्द ही होगा. काशी में अंतर्राष्ट्रीय मानक की दो बिल्डिंग तैयार होने जा रही है. जिसमें वाराणसी मंडल के सभी कार्यालय और अन्य विभागीय दफ्तर होंगे. प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में एक ही परिसर में 59 कार्यालयों के लिए भव्य बिल्डिंग बनाने की तैयारी है. खास बात यह है कि ये अत्याधुनिक बिल्डिंग पूर्वांचल के प्रशासनिक हेडक्वॉर्टर के तौर पर तो काम करेगी. इसके साथ ही सभी विभागों के ऑफिस भी इसी भवन में होंगे. जल्द ही ये यूपी की सबसे आधुनिक और आयकॉनिक बिल्डिंग में शुमार होगी.
मंदिर के आकार का भवन-
उत्तर प्रदेश में मंदिर के आकार के भवन बनाने में एक और कड़ी जुड़ने जा रही है. अयोध्या में मर्यादा पुरुषोत्तम इंटरनेशनल एयरपोर्ट और रेलवे स्टेशन का निर्माण मंदिर के आकार का किया गया है. वहीं अब काशी में मंदिर का लुक लिए एक प्रशासनिक भवन बनाने की तैयारी है. योगी सरकार काशी में मंदिर के स्वरूप में एकीकृत बिल्डिंग बनाने वाली है. इस परिसर और भवन में एकीकृत मंडलीय कार्यालय होगा. यानि पूर्वांचल की समस्त प्रशासनिक गतिविधियाँ यहीं से संचालित और मॉनिटर होंगी.
प्रशासनिक के साथ कारोबारी काम को मिलेगी रफ्तार-
ख़ास बात ये है कि ये दो बिल्डिंग एक ही भवन के दो हिस्से होंगे. 10-10 मंजिल के दो टॉवर बनाए जाएंगे. जिसमें मंडल स्तर के सभी कार्यालय होंगे. इससे न सिर्फ वाराणसी, बल्कि पूर्वांचल के अन्य जिलों के समस्त कार्यलय जुड़े होंगे. इससे एक ही जगह पर सभी काम आसानी से हो जाएगा. कॉरपोरेट कार्यालय की तर्ज पर यह अत्याधुनिक बिल्डिंग कमिश्नरी परिसर में प्रस्तावित है. इसमें सभी सरकारी कार्यालय होंगे. हालाँकि इसमें कुछ व्यावसायिक गतिविधियों के लिए भी स्पेस होगा. खास बात ये है कि इस ग्रीन बिल्डिंग में पर्यावरण संरक्षण के अंतर्राष्ट्रीय मानकों का ध्यान रखा जाएगा. वाराणसी डिवेलपमेंट अथॉरिटी के उपाध्यक्ष अभिषेक गोयल ने बताया कि यहां कुछ आवश्यक व्यावसायिक गतिविधियां भी प्रस्तावित हैं, जिससे यहाँ सरकारी कामकाज के लिए आने वालों को इसी परिसर में ये सारी सुविधाएँ मिलें.
कर्मचारियों के लिए कैंपस में सुविधाएं-
प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र काशी का विकास लगातार हो रहा है. साथ ही यहाँ व्यावसायिक गतिविधियों के लिए भी कई योजनाएँ बनायी गयी हैं. लेकिन कमिश्नर ऑफिस के साथ सभी प्रशासनिक 59 कार्यालयों का एक जगह होने से लोगों को सुविधाएं मिलेंगी. साथ ही पूरे पूर्वांचल को आर्थिक रफ्तार भी मिलेगी. इस भवन के लिए ले आउट तैयार करने में इस बात का भी ध्यान रखा गया है कि कैफेटेरिया और कर्मचारियों के लिए जिम हो. इस भवन को अंतरराष्ट्रीय मानक के अनुरूप बनाया जाएगा. लोकसभा चुनाव से पहले ही इसका काम शुरू हो जाएगा. करीब 6.5 एकड़ में ग्राउंड प्लस, 10-10 मंजिल के दो टावर टावर प्रस्तावित हैं. भवन में मंडलीय स्तर के लगभग 59 कार्यालय प्रस्तावित हैं. माना जा रहा है कि ये उत्तर प्रदेश की सबसे अत्याधुनिक और आइकॉनिक बिल्डिंग होगी.
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