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दिल्ली एनसीआर में लगातार बढ़ रहा है वायु प्रदूषण, लागू हुआ GRAP- IV, जानिए इसके तहत क्या हैं नियम

दिल्ली-NCR में एयर क्वालिटी को देखते हुए GRAP स्टेज IV लागू कर दिया गया है. यह स्टेज वायु की गुणवत्ता 'गंभीर+' श्रेणी में आने पर लागू की जाती है. जानिए क्या-क्या होंगी पाबंदियां.

Delhi swamped with toxic smog, impacting visibility and causing difficulty in breathing. (Photo Credit: Arun Kumar_India Today) Delhi swamped with toxic smog, impacting visibility and causing difficulty in breathing. (Photo Credit: Arun Kumar_India Today)

दिल्ली और एनसीआर में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 'गंभीर' श्रेणी में पहुंच गया है और इस कारण, कमिशन फॉर एयर क्वालिटी इंडेक्स (CAQM) ने ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के तहत स्टेज-IV (गंभीर+) की कार्रवाई लागू की है. हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार से जवाब मांगा है कि GRAP Stage IV को लागू करने में देरी क्यों की गई क्योंकि दिल्ली में स्मॉग और वायु प्रदूषण के लेवल्स बहुत ज्यादा हाई हैं. कोर्ट का कहना है कि एयर क्वालिटी के सुधरने का इंतजार करने की बजाय ग्रैप स्टेज-IV लागू कर देना चाहिए था. 

साथ ही, यह भी कहा कि इलाके में AQI अगर 450 से नीचे आ जाता है तब भी स्टेज IV लागू रहना चाहिए. आज हम आपको बता रहे हैं कि आखिर GRAP क्या है और इसके तहत किन बातों का ख्याल रखना बहुत जरूरी है. 

क्या है GRAP:
दिल्ली-NCR के इलाके में जब हवा की क्वालिटी एक निश्चित सीमा तक गिर जाती है तो इसे और खराब होने से रोकने के लिए कुछ इमरजेंसी उपाय हैं.  2016 में सुप्रीम कोर्ट ने इन उपायों को एप्रुव किया था और 2017 में अधिसूचित किया गया. यह योजना राज्य सरकार के प्रतिनिधियों और विशेषज्ञों के साथ पर्यावरण प्रदूषण (रोकथाम और नियंत्रण) प्राधिकरण (ईपीसीए) की कई बैठकों के बाद तैयार की गई थी. 

एयर क्वालिटी के लेवल्स के अनुसार इन उपायों को अलग-अलग स्टेज में बांटा गया है. GRAP का स्टेज I तब सक्रिय होता है जब AQI 'खराब' श्रेणी (201 से 300) में होता है, स्टेज II तब सक्रिय होता है जब यह 'बहुत खराब' श्रेणी (301-400) में होता है, स्टेज III तब सक्रिय होता है जब AQI 'गंभीर' होता है 'श्रेणी (401-450) और आखिर में स्टेज IV तब होता है जब यह 'गंभीर+' श्रेणी (450 से अधिक) तक पहुंच जाता है. 

GRAP स्टेज IV के नियम:

  • दिल्ली में ट्रक ट्रैफिक को रोकना, इसमें सिर्फ उन ट्रक्स को दिल्ली में आने-जाने की परमिशन मिलती है जो जरूरी सामान ट्रांसपोर्ट करते हैं या जरूरी सर्विसेज देते हैं. हालांकि, सभी LNG/CNG/इलेक्ट्रिक/BS-VI डीजल ट्रक्स को दिल्ली में आने की अनुमति है. 
  • दिल्ली से बाहर रजिस्टर लाइट कमर्शियल वाहनों को दिल्ली में आने से रोकना. हालांकि, EVs/CNG/BS-VI डीजल वाहनों को दिल्ली में एंट्री है. साथ ही, जरूरी सामान और जरूरी सर्विसेज देने वाले वाहन एट्री कर सकते हैं.
  • जरूरी वस्तुओं को ले जाने वाले/जरूरी सेवाएं देने वाले वाहनों को छोड़कर, दिल्ली में रजिस्टर्ड BS-IV और इससे नीचे डीजल से चलने वाले मीडियम गुड्स व्हीकल (MGVs) और हैवी गुड्स व्हीकल (HGVs) को चलाने पर सख्त प्रतिबंध लागू करें. 
  • GRAP स्टेज-III की तरह, राजमार्गों, सड़कों, फ्लाईओवरों, ओवरब्रिजों, पावर ट्रांसमिशन, पाइपलाइनों, टेलीकम्यूनिकेशन्स आदि जैसे पब्लिक प्रोजक्ट्स के लिए भी निर्माण और विध्वंस गतिविधियों पर प्रतिबंध लगाएं. 
  • एनसीआर में आने वाले राज्यों की सरकारें और दिल्ली सरकार छठी-नौवीं और ग्यारहवीं कक्षा के लिए भी फिजिकल क्लासेज बंद करके ऑनलाइन मोड में कक्षाएं संचालित करने पर निर्णय ले सकती हैं. 
  • एनसीआर की राज्य सरकारें/दिल्ली सरकार सार्वजनिक, नगरपालिका और निजी कार्यालयों में आधे लोगों को ऑफिस और बाकी को घर से काम करने की अनुमति देने पर फैसला ले सकती हैं. 
  • केंद्र सरकार केंद्रीय सरकारी कार्यालयों में कर्मचारियों के लिए घर से काम करने की अनुमति देने पर सही फैसला कर सकती है. 
  • राज्य सरकारें कॉलेजों/शैक्षिक संस्थानों को बंद करने और नॉन-इमरजेंसी कमर्शियल एक्टिविटीज बंद करने, रजिस्ट्रेशन नंबर के सम-विषम (इवन-ऑड) आधार पर वाहनों को चलाने की अनुमति देने आदि जैसे अतिरिक्त आपातकालीन उपायों पर विचार कर सकती हैं. 

इन उपायों को सफल बनाने के लिए नागरिकों का सहयोग बहुत जरूरी है. ऐसे में, लोगों को सिटिजन चार्टर का पालन करना चाहिए ताकि GRAP  के उपायों से कोई फायदा मिल सके. छोटे बच्चों और बुजुर्गों को घर में ही रहने की सलाह दी जाती है.