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कुलभूषण जाधव को मिली बड़ी राहत, रिहाई के लिए ऊपरी अदालतों में कर सकेंगे अपील

भारतीय नौसेना के सेवानिवृत्त अधिकारी कुलभूषण जाधव को अप्रैल 2017 में पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने जासूसी और आतंकवाद का दोषी ठहराते हुए अपना कैदी बना लिया था. अू अंतरराष्ट्रीय कोर्ट के दबाव की वजह से पाक की पार्लियामेंट ने इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस ने ऑर्डिनेंस 2020’ को मंजूरी दे दी है.

कुलभूषण जाधव कुलभूषण जाधव
हाइलाइट्स
  • कुलभूषण जाधव को अपील करने का अधिकार मिला

  • इंटरनेशनल कोर्ट का आदेश मानेगा पाकिस्तान

कुलभूषण मामले में अंतरराष्ट्रीय कोर्ट के दबाव के चलते पाकिस्तान आखिर झुक गया है. कुलभूषण पाकिस्तानी मिलिट्री कोर्ट से मिली सजा-ए-मौत के खिलाफ अपील कर सकेंगे. पाकिस्तान के उच्च सदन में इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस ने ऑर्डिनेंस 2020’ को मंजूरी दे दी है. राष्ट्रपति के हस्ताक्षर  होते ही यह बिल कानून की शक्ल ले लेगा. 

इस बिल से होगें ये फायदे

इस बिल के पास होने से पाक की जेल में सजा काट रहे विदेशी कैदी ऊपरी अदालतों में अपील कर सकेंगे. अब तक  पाकिस्तानी जेलों में बंद विदेशी कैदी जिन्हें सैन्य अदालतों ने सजा सुनाई है, वे ऊपरी अदालतों में अपील नहीं कर पाते थे. पिछले दिनों कुलभूषण जाधव के मामले में सुनवाई करते हुए इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस (ICJ) ने पाकिस्तान से इस कानून में  सुधार करने को कहा था. इससे भारत को कुलभूषण मामले में बड़ा फायदा हो सकता है. 
 
पाकिस्तान ने कुलभूषण पर लगाए थे जासूसी के आरोप

कुलभूषण जाधव  पर पाकिस्तान सरकार ने  3 मार्च 2016 को गिरफ्तार किया गया था, और ये इल्जाम लगाए थे कि कुलभूषण जाधव पूर्व भारतीय नौसैनिक हैं और पाकिस्तान में कई खतरनाक गतिविधियों में शामिल थे. मामले पर भारत सरकार का कहना है कि कुलभूषण जाधव पूर्व नौसैनिक है जो नैसेना से रिटायरमेंट ले चुके हैं. अब एक व्यापारी के तौर पर ईरान गए थे जहां उन्हे पाकिस्तान ने अगवा कर लिया.