बिहार के लोगों का बंगाल जाना बहुत आम है. आज भी बिहार के कई लोगों का नाता कहीं ना कहीं बंगाल से जुड़ा है. इसी को आसान बनाते हुए एक नई पहल की शुरुआत की गई है. दोनों राज्यों में अलग-अलग शहरों से आने जाने के लिए 45 रुटों पर बसें चलाई जाएंगी. इनमें से 14 रुट ऐसे हैं जहां के लिए परमिट का कोटा है लेकिन फिर भी ये खाली पड़े हैं. इन रुटों पर फिर से परिचालन चालू करने के लिए 27 जनवरी तक वाहन मालिकों से ऑनलाइन आवेदन मांगे गए हैं. इसके बाद संबंधित कार्यालय में कागजात जमा करना होगा.
बता दें कि बस सेवा में वृद्धि करने के लिए परमिट जारी करने का फैसला लिया गया है. नए रुटों पर परिचालन शुरू करने के साथ-साथ जिन जगहों पर बसों की संख्या कम है वहां के लिए भी आवेदन मांगा गया है ताकि बसों की संख्या बढ़ाई जा सके. परमिट के लिए मिले आवेदनों पर सहमति देने के लिए राज्य परिवहन प्राधिकार की बैठक 14 फरवरी को होगी.
कहां चलेंगी बसें?
जिन नए रुटों पर बसों का परिचालन किया जाएगा उनमें मुजफ्फरपुर-हावड़ा वाया धनबाद, छपरा-सिलीगुड़ी, भागलपुर-कोलकाता वाया दुमका,औरंगाबाद-कोलकाता वाया धनबाद, पटना-दुर्गापुर वाया धनबाद, मोतिहारी-सिलीगुड़ी, छपरा-सिलीगुड़ी, सिवान-सिलीगुड़ी, पूर्णिया-गलगलिया और पूर्णिया से रायगंज शामिर हैं. वहीं 10 रुटों पर बसों की संख्या बढ़ाए जाने पर भी सहमति बनी है. इसमें पटना-हावड़ा, मुजफ्फरपुर-सिलीगुड़ी, बिहारशरीफ-कोलकाता, पटना से सिलीगुड़ी, कटिहार-बुलरघाट, सहरसा-सिलीगुड़ी, भागलपुर-रामपुरहाट, दरभंगा-सिलीगुड़ी, मधुबनी-सिलीगुड़ी, भागलपुर-दुर्गापुर आते हैं.