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अब कम हो जाएगी दिल्ली से मुंबई की दूरी, न्यू दादरी से एमएमएलएच को जोड़ने के लिए रेलवे लाइन बोर्ड से मिली मंजूरी

रेलवे लाइन को छोड़कर बाकी काम आईआईटीजीएनएल कराएगा. बृहस्पतिवार को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के बोर्ड रूम में हुई आईआईटीजीएनएल की बोर्ड बैठक में इसकी अनुमति मिल गई है. आईआईटीजीएनएल के एमडी व ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ सुरेन्द्र सिंह की तरफ से यह प्रस्ताव रखा गया.

3.5 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन बनाने में 814 करोड़ खर्च होगा 3.5 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन बनाने में 814 करोड़ खर्च होगा

ग्रेटर नोएडा में डी एम आई सी इंटीग्रेटेड इंडस्ट्रियल टाउनशिप ग्रेटर नोएडा लिमिटेड (आईआईटीजीएनएल) की मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब परियोजना को न्यू दादरी से जोड़ने के लिए 3.5 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन बनाई जाएगी.  इस पर करीब 814 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है. इसका पूरा खर्चा आईआईटीजीएनएल करेगा, जबकि इसका निर्माण डीएफसीसी करेगा. बृहस्पतिवार को आईआईटीजीएनएल की बोर्ड बैठक में इस पर सहमति बन गई है. 

मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट हब की तैयारी

ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ सुरेंद्र सिंह ने बताया कि "भारत सरकार की संस्था नेशनल इंडस्ट्रियल कॉरिडोर डेवलपमेंट एंड इंप्लीमेंटेशन ट्रस्ट (निकडिट) और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के संयुक्त उपक्रम डी एम आई सी इंटीग्रेटेड इंडस्ट्रियल टाउनशिप ग्रेटर नोएडा लिमिटेड की तरफ से दादरी, चिटेहरा, जुनपत, कटहेड़ा, पल्ला, पाली, बोड़ाकी व थापखेड़ा गांव की 478 हेक्टेयर जमीन पर मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट व लॉजिस्टिक हब परियोजना को अंजाम दिया जाएगा, 333 हेक्टेयर एरिया पर मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब व 145 हेक्टेयर पर मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट हब विकसित किया जा रहा है. मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब परियोजना का जिक्र दो बार प्रधानमंत्री भी अपने भाषण में कर चुके हैं. लॉजिस्टिक हब के बनने से नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना प्राधिकरण क्षेत्र के लोगों को माल ढुलाई में आसानी हो जाएगी. 

केंद्र सरकार ने  दिसंबर 2020 में किया था अप्रूव

ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ सुरेंद्र सिंह ने बताया कि "नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना प्राधिकरण के उद्योगों  से जुड़े लोगों के लिए यह परियोजना बेहद अहम है.  फिल्हाल मुंबई, गुजरात, कोलकाता जैसी जगहों पर जाने में चार से पांच दिन लगता है, इसके शुरू होने के बाद माल चौबीस घंटे से भी कम समय में पहुंच सकेगा. इसके लिए डीपीआर तैयार हो गई है साथ ही  केंद्र सरकार ने  दिसंबर 2020 में इसे अप्रूव भी कर दिया है.  लॉजिस्टिक हब को न्यू दादरी रेलवे स्टेशन से गुजर रही ईस्टर्न एवम वेस्टर्न डीएफसीसी की रेलवे लाइन से जोड़ने के लिए करीब 3.5 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन भी बनाई जाएगी. लॉजिस्टिक हब में 16 रेलवे प्लेटफॉर्म बनाए जाएंगे. 

अगले तीन साल में पूरा हो जाएगा प्रोजेक्ट

रेलवे लाइन को छोड़कर बाकी काम आईआईटीजीएनएल कराएगा. बृहस्पतिवार को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के बोर्ड रूम में हुई आईआईटीजीएनएल की बोर्ड बैठक में इसकी अनुमति मिल गई है. आईआईटीजीएनएल के एमडी व ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ सुरेन्द्र सिंह की तरफ से यह प्रस्ताव रखा गया, जिस पर बोर्ड के सभी सदस्यों ने सहमति दे दी है. इस परियोजना को अगले तीन साल में पूरा करने का लक्ष्य है. एमएमएलएच लॉजिस्टिक हब के साथ ही वाणिज्यिक गतिविधियों के केंद्र के रूप में भी विकसित होगा.  एमएमएलएच को पीपीपी मॉडल पर विकसित करने के प्रस्ताव पर भी विचार किया जा रहा है.