ओडिशा के आदिवासी प्रांत मयूरभंज जिला के एक किसान ने सौर ऊर्जा से चलने वाली 1920 अमेरिकी फोर्ड मॉडल पर आधारित अनोखा इको-फ्रेंड्ली कार तैयार की है. सुशील कुमार अग्रवाल नाम के ये शख्स एक किसान भी हैं व्यापारी भी. दरअसल, भारत में प्रदूषण रहित निर्मित अमेरिकी फोर्ड मॉडल की कार लोगों के बीच चर्चा का विषय बनी हुई है.
सुशील द्वारा बनाई गयी इस कार में दो बैटरी लगाई गई हैं, जिसे एक बार फुल चार्ज करने पर 300-350 किलोमीटर का सफर तय कर सकेंगे. साथ ही इस इको-फ्रेंडली कार में 6 लोगों की बैठने की जगह बनाई गई है. आने वाले दिनों में अमेरिकी फोर्ड मॉडल कार को पूरे देश भर निर्यात करने की योजना है.
शुरू से ही बनाना चाहते थे इको-फ्रेंडली कार
दरअसल, सुशील कुमार अग्रवाल मयूरभंज जिले के करंजिया शहर के निवासी हैं. उन्होंने लम्बे समय तक ऑटो का व्यापार किया, साथ ही वह ऑटोमोबाइल पार्ट्स का एक गैराज भी चलाते थे. सुशील बताते हैं कि वे हमेशा बिना पेट्रोल व डीजल से चलने वाली गाड़ी के बारे में सोचा करते थे. हालांकि, कोरोना महामारी के दौरान यातायात की सुविधा ठप हो गई. जिसके बाद सुशील ने अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए सौर ऊर्जा से चलने वाली इको-फ्रेंडली 1920 अमेरिकी फोर्ड मॉडल कार बनाने का फैसला किया.
आजतक से खास बातचीत में सुनील ने कहते हैं, “मैंने सौर ऊर्जा से संचालित एक 1920 अमेरिकी फोर्ड मॉडल कार बनाई है. ये कार 1920 के समय में काफी लोकप्रिय मानी जाती थी. उस समय अमेरिकी फोर्ड कार पेट्रोल व डीजल से इंजन द्वारा चलाई जाती थी. लेकिन मैंने इस कार को सौर ऊर्जा से चलने वाली बनाई है, जो पूरी तरह से इको-फ्रेंडली है.”
8 घंटे में होती है पूरी बैटरी चार्ज
सुनील ने आगे बताया कि इस कार में दो बैटरी लगाई गई हैं. इंजन की जगह पर पानी पंप का मोटर लगाया गया है, जो एसी (AC) को डीसी (DC) पावर में कन्वर्ट करता है. इस कार को 48 वोल्ट में संचालित किया जाता है. साथ ही कार के सभी पहियों में डिस्क ब्रेक लगाया गया है. इको-फ्रेंडली कार की बैटरी को पूरी तरह चार्ज करने के लिए करीब 8 घंटा का समय लगता है. इस कार को सड़क पर चलाने के लिए किसी भी प्रकार के प्रदूषण प्रमाण पत्र (Pollution Certificate) की जरूरत नहीं है.
कार बनाने में लगा 6 महीने का समय
इस कार को बनाने के लिए सुशील की मदद उनके दोस्तों ने भी की. वह कहते हैं, “सौर ऊर्जा द्वारा संचालित इको-फ्रेंडली कार को बनाने के लिए के लिए मैंने अपने दो दोस्तों का मदद ली. दोस्तों के साथ मिलकर सौर ऊर्जा प्लेट और कार के अन्य पार्ट्स को गैराज में इकट्ठा किया. जिसके बाद गैराज में व्यवस्थित ढंग वेल्डिंग कर इको-फ्रेंडली 1920 अमेरिकी फोर्ड मॉडल कार का निर्माण किया. इस मॉडल को तैयार करने में मुझे करीब 6 महीनों का समय लगा है।.
कहां बिकेगी कार?
सुनील ने बताया कि इस अमेरिकी फोर्ड इको-फ्रेंडली कार को वे अपने जिले में बेचने की तैयारी कर रहे हैं. जिसके बाद वे इसे पूरे देश में निर्यात करने की योजना बना रहे हैं. इसके लिए उन्होंने क्षेत्रीय स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के वरिष्ठ पदाधिकारी से भी बातचीत की है. सुनील कहते हैं, “मैं भारत सरकार से अनुरोध करता हूं कि इस कार को बड़े पैमाने पर बनाने की स्वीकृति प्रदान करें. साथ ही एआरएआई (ऑटो रिसर्च एसोसिएशन ऑफ इंडिया) जैसे केंद्रीय परिवहन विभाग से मंजूरी दिलाने में सहयोग करें.”
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