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पीएम मोदी ने गंगा एक्सप्रेस-वे का किया शिलान्यास, नया नारा दिया-UP+YOGI= बहुत है UPYOGI

36,230 करोड़ रुपये की लागत से बना यह गंगा एक्सप्रेसवे 594 किलोमीटर लम्बा है. इसकी मंजूरी राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 नवंबर 2020 को दी थी. इसे अडानी इंटरप्राइजेज और आईआरबी इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपर्स द्वारा बनाया जाएगा.

जनसभा को संबोधित करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जनसभा को संबोधित करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
हाइलाइट्स
  • 36 हजार करोड़ रुपये का प्रोजेक्ट

  • UP का सबसे बड़ा एक्सप्रेस-वे

  • राज्य के 12 जिलों से होकर गुजरेगा एक्सप्रेस-वे

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को शाहजहांपुर जिले में गंगा एक्सप्रेस-वे(Ganga Expressway) की आधारशिला रखी. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि गंगा एक्सप्रेस वे यूपी की प्रगति के नए द्वार खोलेगा. पहले यूपी में क्या होता था जनता ने सब देखा है. लेकिन, अब यूपी में विकास की धारा बह रही. इस दौरान पीएम ने नया नारा दिया UP+YOGI= बहुत है UPYOGI(उपयोगी).

डबल इंजन की सरकार ही कर सकती है यूपी का विकास
पीएम मोदी ने कहा कि एक्सप्रेस वे पर 36 हजार करोड़ खर्च होंगे. एक्सप्रेस वे रोजगार की नई संभावनाओं का द्वार खुलेगा. इतने बड़े राज्य को चलाने के लिए जिस दमखम की जरूरत है वो डबल इंजन की सरकार ही दे सकती है. इसकी पहचान सबसे आधुनिक राज्य की होगी. पीएम ने कहा कि पहले ऐसी परियोजनाएं कागज पर इसलिए शुरु होती थीं, ताकि वो लोग अपनी तिजोरी भर सकें आज ऐसी परियोजनाओं पर इसलिए काम हो रहा है, ताकि यूपी के लोगों का पैसा बचे. यूपी में आज जो आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण हो रहा है वो ये दिखाता है कि संसाधनों का सही उपयोग कैसे किया जाता है.

सभी मेगा प्रोजेक्ट पर तेजी से चल रहा काम
पीएम ने कहा कि पहले जनता के पैसे का क्या-क्या इस्तेमाल हुआ है ये लोगों ने भली-भांति देखा है. पूर्वांचल एक्सप्रेस वे हो या फिर दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस वे, कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट हो या फिर डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के महत्वपूर्ण फेज जैसे अनेक प्रोजेक्ट, जनसेवा के लिए सारे कार्य पूरे किए. मोदी ने कहा कि जब पूरा यूपी एक साथ बढ़ता है तो देश आगे बढ़ता है. डबल इंजन की सरकार का फोकस यूपी के विकास पर है. यूपी में सभी मेगा प्रोजेक्ट पर तेजी से काम चल रहा है. एक्सप्रेस-वे बन जाने से अब दिल्ली, हरियाणा और बिहार के साथ राज्य की कनेक्टिविटी और बेहतर हो सकेगी और पश्चिम से पूर्व क्षेत्र को जोड़ने में भी मदद मिलेगी.

36 हजार करोड़ रुपये का प्रोजेक्ट 
36,230 करोड़ रुपये की लागत से बना यह गंगा एक्सप्रेसवे 594 किलोमीटर लम्बा है. इसकी मंजूरी राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 नवंबर 2020 को दी थी. इसे अडानी इंटरप्राइजेज और आईआरबी इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपर्स द्वारा बनाया जाएगा.

UP का सबसे बड़ा एक्सप्रेस-वे 
बता दें, इसे यूपी का सबसे बड़ा एक्सप्रेस-वे बताया रहा है. यह मेरठ के बिजोली जिले से शुरू होगा. यूपी के दूसरे एक्सप्रेस-वे की तरह इस एक्सप्रेस-वे पर भी विमान की इमरजेंसी टेक-ऑफ और लैंडिंग हो सकेगी. इसके लिए 3.5 किमी लंबी हवाई पट्टी बनाई जाएगी. डिजाइन के मुताबिक इस हवाई पट्टी को शाहजहांपुर में बनाया जाएगा.

सोलर एनर्जी से होगा बिजली का उत्पादन 
गंगा एक्सप्रेस वे पश्चिमी यूपी को पूर्वी यूपी से जोड़ेगा और दिल्ली, हरियाणा और बिहार जैसे राज्य आसानी से इस एक्सप्रेस-वे के माध्यम से जुड़ सकेंगे. यूपी सरकार के मुताबिक पिछले एक साल में एक्सप्रेस-वे के लिए 94 फीसदी जमीन किसानों से खरीदी गई है. गौरतलब है कि डिजाइन के मुताबिक एक्सप्रेसवे पर पर्यावरण संरक्षण के लिए 18,55,000 पौधे भी लगाए जायेंगे. वहीं इसपर सोलर एनर्जी की मदद से बिजली का उत्पादन किया जाएगा. 

राज्य के 12 जिलों से होकर गुजरेगा एक्सप्रेस-वे 
गंगा एक्सप्रेस-वे राज्य के 12 जिलों, जिसमें मेरठ, हापुड़, बुलंदशहर, अमरोहा, संभल, बदायूं, शाहजहांपुर, हरदोई, उन्नाव, रायबरेली, प्रतापगढ़ और रायबरेली शामिल हैं, से होकर गुजरेगा. इसके अलावा 519 गांवों को भी इससे जोड़ा जाएगा, गंगा एक्सप्रेस-वे पर 9 जन सुविधा केंद्र, सात रेलवे ओवर ब्रिज, 14 बड़े ब्रिज, 126 छोटे ब्रिज और 381 अंडरपास बनाए जाएंगे.