
साल 2024 भारतीय राजनीति के लिए बेहद खास रहा. किसान आंदोलन और मणिपुर हिंसा जैसे घटनाक्रम जहां सत्ता के लिए चुनौती बने, वहीं लगातार तीसरी बार नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री की शपथ भी ली. राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा ने मुहब्बत की दुकान को हिट कराया तो प्रियंका गांधी भी पहली बार लोकसभा सदस्य बनीं. आइए डालते हैं 2024 के बड़े राजनीतिक घटनाक्रमों पर नजर.
1. तीसरी बार प्रधानमंत्री बने नरेंद्र मोदी
साल 2024 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी ने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में लगातार तीसरी बार सत्ता हासिल की. अगर देखा जाए तो इस बार मुकाबला पहले से ज्यादा कठिन था क्योंकि विपक्षी दलों ने एकजुट होकर 'इंडिया' ब्लॉक के तहत चुनाव लड़ा था. इस चुनाव में कांग्रेस ने 99 सीटें जीतकर अपनी ताकत दिखाई थी.
प्रधानमंत्री मोदी देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के बाद दूसरे नेता हैं जो लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बने. हालांकि 2014 और 2019 के चुनाव में बीजेपी अकेले बहुमत हासिल कर सत्ता पर काबिज हुई थी, जबकि 2024 के चुनाव में उसे सहयोगियों के भरोसे सरकार चलानी पड़ रही है.
2. महाराष्ट्र-हरियाणा में बीजेपी की जीत
विधानसभा चुनावों में भी बीजेपी का प्रदर्शन शानदार रहा. जहां हरियाणा में बीजेपी ने जीत की हैट्रिक लगाई, वहीं बीजेपी के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन ने महाराष्ट्र में बड़ी जीत दर्ज की और देवेंद्र फडणवीस दोबारा मुख्यमंत्री बने. विपक्षी महाविकास अघाड़ी को इस चुनाव में भारी नुकसान उठाना पड़ा.
3. आबकारी घोटाले में केजरीवाल को जेल
कथित आबकारी नीति घोटाले के कारण दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जेल जाना पड़ा. केजरीवाल ने जेल में रहते हुए मुख्यमंत्री पद अपने पास ही रखा. और सलाखों के पीछे से राष्ट्रीय राजधानी की सरकार चलाई. हालांकि जब केजरीवाल जेल से लौट आए तो उन्होंने इस्तीफा दे दिया और उनके इस्तीफे के बाद आतिशी ने मुख्यमंत्री पद संभाला. सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिलने तक केजरीवाल सात महीने तक सलाखों के पीछे रहे.
4. झारखंड में जेएमएम की दोबारा जीत
केजरीवाल की तरह ही झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को भी कथित जमीन घोटाले केस में जेल में डाल दिया गया था. इसके बाद चंपई सोरेन को झारखंड का मुख्यमंत्री बना दिया गया. हालांकि बाद में हेमंत को हाईकोर्ट से जमानत मिल गई और उन्होंने दोबारा झारखंड के मुख्यमंत्री का पद संभाला.
इसके बाद झारखंड में विधानसभा चुनाव हुए. हेमंत ने अपनी 'मूलनिवासी' अस्मिता और जेल में बिताए गए समय को चुनाव प्रचार में इस्तेमाल किया. शायद इसी की बदौलत जेएमएम की अगुवाई में इंडिया अलायंस ने 81 में से 56 सीटों पर बाजी मारी. इस तरह सोरेन पुनः झारखंड के मुख्यमंत्री बने.
5. 370 हटने के बाद पहली बार जम्मू-कश्मीर में चुनाव
साल 2019 में अनुच्छेद 370 को समाप्त कर जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त कर दिया गया था. इसके बाद राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया गया. जम्मू-कश्मीर और लद्दाख. जम्मू और कश्मीर में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद पहली बार विधानसभा चुनाव हुए. इसमें नेशनल कॉन्फ्रेंस प्रमुख पार्टी के रूप में उभरी और उमर अब्दुल्ला ने मुख्यमंत्री पद की कमान संभाली.
6. प्रियंका गांधी की लोकसभा में एंट्री
गांधी-नेहरु परिवार की एक और सदस्य प्रियंका गांधी वाड्रा ने इस साल राजनीति में बाकायदा एंट्री कर ली. लोकसभा चुनाव में राय बरेली और वायनाड दोनों सीटों पर जीत के बाद राहुल गांधी ने वायनाड सीट छोड़ दी थी. वायनाड की सीट जब खाली हुई तो उसपर उपचुनाव आयोजित किए गए.
वायनाड लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में कांग्रेस ने प्रियंका गांधी को प्रत्याशी के तौर पर उतारा. प्रियंका ने जीत हासिल की और पहली बार बतौर सांसद लोकसभा पहुंचीं.
7. सरकारी परीक्षाओं में पेपर लीक
साल 2024 में कई बड़ी परीक्षाओं में पेपर लीक हुए. इसकी शुरुआत टॉप मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन के लिए होने वाली नीट-यूजी परीक्षा (NEET-UG Paper Leak) से हुई. इसके बाद कई परीक्षाओं के पेपर लीक हुए और छात्रों को सड़कों पर प्रदर्शन करते हुए देखा गया. यूपीपीएससी की रिव्यू ऑफिसर और असिस्टेंट रिव्यू ऑफिसर भर्ती परीक्षा में भी पेपर लीक की घटना सामने आई थी.
बिहार में 70वीं कंबाइंड परीक्षा में भी पेपर लीक होने के आरोप लगते नजर आए हैं. बीपीएससी के अभ्यर्थी पिछले दो हफ्ते से प्रदर्शन कर रहे हैं. पेपर लीक इस साल एक बड़ा राजनीतिक मुद्दा बना रहा. और नए साल में प्रवेश करते हुए भी बिहार के पटना में पेपर लीक के खिलाफ बीपीएससी अभ्यर्थियों का धरना प्रदर्शन जारी है.