अगर आप भी संगीत प्रेमी है तो एक गुड न्यूज है. जल्द ही आपको एयरपोर्ट और फ्लाइट में भारतीय संगीत सुनने को मिल सकता है. हाल ही में नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने भारतीय हवाई अड्डों और एयरलाइन्स को इसके लिए पत्र लिखा है. दरअसल, भारतीय सांस्कृतिक अनुसंधान परिषद (ICCR) ने कुछ दिन पहले इस संदर्भ में मंत्रालय को पत्र लिखा था. इसमें फ्लाइट और एयरपोर्ट परिसर में भारतीय संगीत बजाने का अनुरोध किया गया था.
नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने लिखा पत्र
नागरिक उड्डयन मंत्रालय की जॉइंट सेक्रेटरी उषा पाधी ने अपने पत्र में लिखा, “दुनिया भर में अधिकांश एयरलाइनों द्वारा बजाया जाने वाला संगीत उस देश का होता है, जिससे एयरलाइन ताल्लुक रखती हैं. उदाहरण के लिए, अमेरिकी एयरलाइंस में जैज़ या ऑस्ट्रियाई एयरलाइंस में मोजार्ट और मध्य पूर्व की एक एयरलाइन में अरब संगीत बजता है. लेकिन, भारतीय एयरलाइंस शायद ही कभी फ्लाइट में भारतीय संगीत बजाती हैं. जबकि, हमारे संगीत की एक समृद्ध विरासत और संस्कृति है और यह उन कई चीजों में से एक है, जिस पर हर भारतीय के पास वास्तव में गर्व करने का एक कारण है.”
ICCR ने किया था संगीत के लिए अनुरोध
भारत सरकार के एक स्वायत्त संगठन आईसीसीआर ने 23 दिसंबर को नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया से भारतीयों द्वारा चलाई जा रही उड़ानों में भारतीय संगीत को बढ़ावा देने का अनुरोध किया था. सिंधिया को पिछले हफ्ते राज्यसभा सांसद और आईसीसीआर के अध्यक्ष विनय सहस्रबुद्धे ने ये पत्र सौंपा था. जिसके बाद केंद्रीय मंत्री ने 23 दिसंबर को आईसीसीआर के मुख्यालय का दौरा किया था, जहां उड़ानों में भारतीय संगीत को बढ़ावा देने सहित विभिन्न सुझाव दिए गए थे.
फ्लाइट में बजता है स्टैंडर्ड पाइप्ड म्यूजिक
गौरतलब है कि एयरलाइंस आमतौर पर यात्रियों के बोर्डिंग और डी-बोर्डिंग के समय फ्लाइट में स्टैंडर्ड पाइप्ड म्यूजिक ही बजाती है. कुछ एयरलाइंस विशेष रूप से डिजाइन किए गए ब्रांड ट्यून या गाने भी बजाती हैं.
अपने पत्र में, ICCR ने केंद्रीय मंत्री सिंधिया को लिखा: “यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि भारत में अधिकांश एयरलाइंस, प्राइवेट और सरकारी स्वामित्व वाली, साथ ही डोमेस्टिक और इंटरनेशनल दोनों, शायद ही कभी, भारतीय संगीत बजाती हैं. हमारा संगीत हमारी समृद्ध विरासत और संस्कृति को दर्शाता है.”
आपको बता दें, 23 दिसंबर की बैठक के दौरान अनु मलिक, कौशल एस इनामदार, मालिनी अवस्थी, शौनक अभिषेकी, मंजूषा पाटिल के, संजीव अभ्यंकर, रीता गांगुली और वसीफुद्दीन डागर सहित कलाकार और संगीतकार भी मौजूद थे और पत्र पर साइन करने वाले सभी लोग भी इस बैठक में शामिल हुए थे.
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